Notice: Function _load_textdomain_just_in_time was called incorrectly. Translation loading for the newsmatic domain was triggered too early. This is usually an indicator for some code in the plugin or theme running too early. Translations should be loaded at the init action or later. Please see Debugging in WordPress for more information. (This message was added in version 6.7.0.) in /home/imagequo/domains/shrinaradmedia.com/public_html/wp-includes/functions.php on line 6121
महिलाओं के लिए पहले जैसा ही दिखा तालिबान - श्रीनारद मीडिया

महिलाओं के लिए पहले जैसा ही दिखा तालिबान

तालिबान ने अफगानिस्तान पर कब्जा जमा लिया और जल्द ही नई शासन व्यवस्था की जानकारी देने को कहा है।
तालिबान ने देश में शांति का वादा करते हुए महिलाओं के अधिकारों का सम्मान करने की भी बात कही है, लेकिन ये वादे खोखले साबित हो रहे हैं।
तालिबानी लड़ाकों ने जहां देश छोड़ने के लिए काबुल हवाई अड्डे पर पहुंचे महिला और बच्चों पर हमला करना शुरू कर दिया, वहीं बुर्का नहीं पहनने पर एक महिला की हत्या कर दी।

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow

बुर्का नहीं पहनने पर महिला को मारी गोली
न्यूयॉर्क पोस्ट के अनुसार, तालिबानी लड़ाकों ने मंगलवार को तखर प्रांत में बिना बुर्का पहले बाजार गई एक महिला की बीच बाजार गोली मारकर हत्या कर दी।
चौंकाने वाली बात यह रही कि इस दौरान महिला के परिजन भी उसके साथ थे, लेकिन वह उसे लड़ाकों से नहीं बचा सके। फॉक्स न्यूज ने महिला के खून से लथपथ शव को सड़क पर पड़े दिखाया है।
यह दिल को झंकझौर देने वाली घटना है। इससे लोग बुरी तरह डर गए हैं।

नुकीले हथियारों से किया जा रहा है महिला और बच्चों पर हमला
हिंदुस्तान टाइम्स के अनुसार, काबुल से सामने आ रही तस्वीरों और वीडियो में साफ देखा जा सकता है कि तालिबानी लड़ाके देश छोड़ने के लिए काबुल हवाई अड्डे में घुसने का प्रयास कर रही महिला और बच्चों पर नुकीले हथियारों से हमला कर रहे हैं। इतना ही लड़ाकों ने भीड़ को खदेड़ने के लिए गोलियां भी चलाई है।
लॉस एंजेलिस टाइम्स के रिपोर्टर मार्कस याम के ट्वीट के अनुसार हमले में आधा दर्जन महिला और बच्चे घायल हुए हैं।

पूर्व सरकारी कर्मचारियों की तलाश में घूम रहे लड़ाके
एक अन्य मीडिया रिपोर्ट के अनुसार तालिबानी लड़ाके काबुल और आस-पास के क्षेत्रों में घूमकर सरकारी कर्मचारियों की तलाश कर रहे हैं और खुलेआम गोलियां चला रहे हैं।
हालात इतने खराब है कि लोग डर के चले घरों में दुबके हुए हैं या फिर देश छोड़ने के लिए काबुल हवाई अड्डे की ओर भाग रहे हैं।
महिला और बच्चों में डर है कि तालिबानी लड़ाके उन पर जुल्म करेंगे और उन्हें मार देंगे। पूरे इलाके में दहशत का माहौल है।

CNN की रिपोर्ट के अनुसार, जुलाई में तालिबानी लड़ाकों ने एक गांव में नजिया का दरवाजा खटखटाया और उसे 15 लड़ाकों के लिए खाना बनाने को कहा।
उस दौरान नजिया ने अपनी गरीबी का हवाला देकर खाना बनाने में असमर्थता जताई तो लड़कों ने उसे अपनी AK-47 राइफल से पीटना शुरू कर दिया।
इतना ही नहीं उन्होंने उसके घर में ग्रेनेड से धमाका भी कर दिया। नजिया की बेटी मनिझा ने इस घटना को सोशल मीडिया पर अलोड किया था।

तालिबान के हमलों में 1,000 से अधिक लोगों की हुई मौत
पिछले सप्ताह संयुक्त राष्ट्र ने दावा किया कि तालिबान द्वारा किए गए हमलों में 1,000 से अधिक अफगान नागरिक की मौत हो चुकी है।
इसी तरह रेड क्रॉस की अंतर्राष्ट्रीय समिति (ICRC) ने के अनुसार 1 अगस्त से 15 स्वास्थ्य सुविधाओं में लगभग 4,042 घायल लोगों का इलाज किया गया है।
हालांकि, तालिबान ने हमले के दौरान आम नागरिकों को निशाना बनाने और मारने से इनकार करते हुए तमाम प्रकार के दावों का खंडन किया है।

बता दें कि तालिबान ने रविवार को अफगानिस्तान की राजधानी काबुल पर कब्जा कर लिया था। उसके बाद राष्ट्रपति अशरफ देश छोड़कर ओमान चले गए थे।
बुधवार को तालिबान ने पहली प्रेस कॉन्फ्रेंस कर अपना एक उदार चेहरा दिखाने की कोशिश की और महिलाओं को शरिया कानून के हिसाब से काम करने का अधिकार देने की बात कही।
उन्होंने कहा कि हम महिलाओं को अपनी व्यवस्था के भीतर काम करने और पढ़ने की अनुमति देंगे।

अफगानी महिलाओं ने तालिबान के वादे पर जताया संदेह
तालिबान के वादों के बाद भी कई महिलाओं ने इस पर संदेह व्यक्त किया है। अफगान लड़कियों की शिक्षा के काम करने वाली 23 वर्षीय पश्ताना दुर्रानी ने कहा कि वो केवल अभी बात कर रहे हैं, लेकिन वो ऐसा करने वाले नहीं है।
स्थानीय मीडिया रिपोर्टों में कहा गया कि तालिबान के बढ़ते कब्जे के बीच कई महिलाओं को अपनी नौकरी छोड़ने का आदेश दिया गया था। ऐसे में अब महिलाओं में बड़ी दहशह का माहौल बना हुआ है।

तालिबान के पिछले शासन में महिलाओं से हुआ था दुर्व्यवहार
बता दें कि तालिबान के पिछले शासन में महिलाओं से बड़ा दुर्व्यवहार हुआ था। लड़कियों को स्कूल जाने की अनुमति नहीं थी और महिलाओं को बाहर जाने के लिए पूरी तरह से बुर्का पहनना पड़ता था और किसी पुरुष रिश्तेदार के साथ जाना पड़ता था।

Leave a Reply

error: Content is protected !!