बिहार में पेपर लीक पर 10 साल की सजा, 1 करोड़ का जुर्माना: एंटी-पेपर लीक विधेयक विधानसभा से पास
श्रीनारद मीडिया, स्टेट डेस्क
पटना: बिहार विधानसभा ने आज बिहार सार्वजनिक परीक्षा (पीई) (अनुचित साधनों की रोकथाम) विधेयक, 2024 को ध्वनिमत से पारित कर दिया है। यह विधेयक राज्य में सरकारी भर्ती परीक्षाओं में प्रश्न पत्र लीक और अन्य अनियमितताओं पर रोक लगाने के लिए कड़े उपायों का प्रावधान करता है।
विधेयक के मुख्य प्रावधानों में शामिल हैं:
- कठोर दंड: प्रश्न पत्र लीक करने वालों और अन्य अनियमितताओं में शामिल लोगों को तीन से दस साल तक की जेल की सजा और ₹1 करोड़ तक का जुर्माना हो सकता है।
- विशेष न्यायालय: प्रश्न पत्र लीक मामलों की त्वरित सुनवाई के लिए विशेष न्यायालयों का गठन किया जाएगा।
- अनुसंधान: प्रश्न पत्र लीक मामलों की जांच के लिए एक विशेष कार्यबल का गठन किया जाएगा।
- रोकथाम: प्रश्न पत्र लीक को रोकने के लिए कड़े सुरक्षा उपाय किए जाएंगे, जिसमें प्रश्न पत्रों के प्रिंटिंग, भंडारण और वितरण के लिए मानक संचालन प्रक्रियाएं (एसओपी) शामिल हैं।
विपक्ष का बहिष्कार: विधेयक पर बहस के दौरान, विपक्षी दलों ने आरोप लगाया कि यह सरकार की विफलताओं को छुपाने का एक प्रयास है। उन्होंने यह भी कहा कि कड़े दंड का प्रावधान अन्यायपूर्ण हो सकता है और निर्दोष लोगों को फंसा सकता है। विरोध प्रदर्शन के बाद, विपक्षी दल सदन से बाहर चले गए और विधेयक को ध्वनिमत से पारित कर दिया गया।
राज्यपाल के हस्ताक्षर के बाद, यह विधेयक राज्य में कानून बन जाएगा। यह माना जाता है कि यह विधेयक बिहार में सरकारी भर्ती परीक्षाओं में अनियमितताओं को रोकने में मदद करेगा और योग्य उम्मीदवारों को समान अवसर प्रदान करेगा।