बिहार में मात्र एक जिले में 7 माह में 3453 शराबी गिरफ्तार,कैसे?

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बिहार शराब कांड पर राज्यसभा में BJP सांसदों का हंगामा

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

बिहार में कहने को तो पूरी तरह से शराब बैन है, लेकिन इसके बावजूद शराब पीने और शराब पीकर गाड़ी चलाने का मामला थमने का नाम नहीं ले रहा है। इसी को लेकर अब पुलिस ने कार्रवाई तेज कर दी है और शराब पीते पकड़े जाने वाले आरोपितों को आधार कार्ड नंबर से चिह्नित कर रही है। प्रदेश के केवल एक जिले के सात माह के आंकड़े इसकी सच्चाई को बयां करने के लिए काफी हैं।

हाल ही में भोजपुर जिले में करीब 20 लोगों को दूसरी बार शराब पीने के आरोप में चिह्नित किया गया। नए संशोधित शराबबंदी कानून के तहत उन पर एक साल के लिए जेल भेजने के लिए न्यायालय में मामला चल रहा है। दूसरी ओर अवैध शराब तस्करों के साथ-साथ पुलिस तस्करी में इस्तेमाल किए जाने वाले गाड़ियों के मालिकों की भी कमर तोड़ने में जुट गई है।

करीब सात महीने के अंदर तस्करी में इस्तेमाल की जाने वाली करीब 450 गाड़ियां जब्त हुई हैं। जबकि, दो सौ गाड़ियों और 30 जमीन व घर के अधिग्रहण का प्रस्ताव जिलाधिकारी के पास भेजा गया है। जब्त गाड़ियों में सर्वाधिक दुपहिया 300, तीन पहिया 100 व चार पहिया और भी ट्रक शामिल हैं।

शराबियों और तस्करों पर दो-तरफा कार्रवाई

प्रदेश में सख्ती के बावजूद बढ़ते शराब के मामले को लेकर जिला पुलिस और उत्पाद विभाग दोनों की तरफ से कार्रवाई चल रही है। एक अगस्त से उत्पाद विभाग ने एलटीएफ से गाड़ियों को हटाकर वापस कर लिया था। हालांकि, इसका प्रभाव जिला पुलिस पर नहीं दिख रहा है। एसपी संजय कुमार सिंह लगातार प्रयासरत हैं। इसी के साथ अक्टूबर और नवंबर महीने में सबसे ज्यादा मामले दर्ज और गिरफ्तारी की गई है।

दूसरी ओर, जिला उत्पाद विभाग ने भी अक्टूबर-नवंबर महीने में शराब पीने और बेचने वाले 796 लोगों को पकड़ा है। उत्पाद विभाग व जिला पुलिस ने करीब 20 लोगों को दूसरी बार शराब पीते पकड़ा है। जिनके खिलाफ एक साल के लिए जेल भेजने को लेकर सुनवाई चल रही है। नए कानून के तहत पहली बार शराब पीते हुए पकड़े जाने पर दो से छह हजार रुपये के जुर्माने का प्रवधान है।

वहीं दूसरी बार ऐसा पाए जाने पर सजा का नियम है। सहायक उत्पाद आयुक्त नीरज कुमार रंजन ने बताया कि नवंबर महीने में उत्पाद विभाग ने 545 लोगों को शराब पीते हुए पकड़ा, जबकि 122 को शराब की बिक्री करते हुए। वहीं दिसंबर महीने के आंकड़ों पर नजर डालें तो करीब सवा सौ अधिक शराब पीने वाले पकड़े गए, तो वहीं 50 से अधिक लोग इसक बिक्री में शामिल पाए गए।

मई से नवंबर 2022 तक के आंकड़े

माहप्राथमिकीगिरफ्तारीगाड़ियां जब्त
मई15027730
जून21443167
जुलाई28345160
अगस्त30644770
सितंबर32149268
अक्टूबर33067772
नवंबर33567879
कुल1,9393,453446

 

सारण में जहरीली शराब पीने से अब तक 45 लोगों की मौत

शराबबंदी वाले राज्य बिहार में जहरीली शराब पीने से हुई मौतों का बुधवार को शुरू हुआ सिलसिला गुरुवार को भी जारी रहा। यहां अब तक 45 लोगों की मौत हो चुकी है। सारण जिले में जहरीली शराब पीने से मौत का यह आंकड़ा अभी और बढ़ सकता है। बीते रोज सबसे अधिक मसरख के 10 लोगों की मौत हुई थी। बीमार पड़ रहे लोगों ने आंखों की रोशनी कम होने की भी शिकायत की थी।

जो शराब पीयेगा वो तो मरेगा ही, कोई नई बात नहीं है : नीतीश कुमार

बिहार के छपरा जिले में जहरीली शराब (Chhapra Hooch Tragedy) से मरने वालों की संख्या 45 तक पहुंच गई है। इधर, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) ने इस मामले में गुरुवार को जो बयान दिया, वह लोगों के गले नहीं उतर रहा है। उन्होंने विधानसभा के बाहर पत्रकारों के सवालों का जवाब देते हुए कहा कि जो शराब पीयेगा, वो मरेगा ही। बिहार में जहरीली शराब से मौत कोई नई बात नहीं है।

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार इतने पर ही नहीं रुके। उन्होंने यह भी कहा कि देशभर में लोग जहरीली शराब से मरते हैं। विपक्ष शराब के मुद्दे पर केवल राजनीति कर रहा है। जब बिहार में शराबबंदी नहीं थी, तब भी अन्य राज्यों में लोगों की मौत होती थी। लोगों को खुद सतर्क रहना चाहिए। चूंकि यहां शराबबंदी है तो कुछ न कुछ नकली बिकेगा, जिससे जान जाएगी। शराब खराब है और इसका सेवन नहीं करना चाहिए।

सारण संदिग्ध जहरीली शराब से मरने वाले मृतकों की सूची

क्रम संख्या -मृतक -पिता -पता

1-विजेन्द्र राय -नरसिंग राय-डोइला,इसुआपुर

2-हरेंद्र राम – गणेश राम -मशरख तख़्त,मशरक

3-रामजी साह-गोपाल साह -मशरख

4-अमित रंजन – दीवेद्र सिन्हा – डोइला इसुआपुर

5-संजय सिंह पिता वकील सिंह – डोइला,इसुआपुर

6-कुणाल सिंह- यदु सिंह -यदु मोड़ मशरख

7- अजय गिरी- सूरज गिरी-बहरौली,मशरक

8-मुकेश शर्मा- बच्चा शर्मा-मशरक

9-भरत राम- मोहर राम-मशरक तख्त, मशरक थ

10-जयदेव सिंह- बिंदा सिंह-बेन छपरा, मशरक

11-मनोज राम- लालबाबू राम-दुरगौली, मशरक

12-मंगल राय,पिता गुलज़ार राय, मशरक

13-नासिर हुसैन-शमसुद्दीन-मशरक

14-रमेश राम-कन्हैया राम,मशरक

15-चन्द्रमा राम- हेमराज राम-मशरक

16-विक्की महतो-सुरेश महतो- लालापुर मढ़ौरा

17-गोविंद राय-घिनावन राय-पचखंडा,मशरक

18-ललन राम- करीमन राम-मशरक पश्चिम टोला

19-प्रेमचंद साह-बुन्नीलाल साह-रामपुर अटौली, इसुआपुर

20-दिनेश ठाकुर-असर्फी ठाकुर-महुली,मशरक

21-सीताराम-सिपाही राय-बहरौली, मशरक

22-विश्वकर्मा पटेल-श्रीनाथ पटेल,बस स्टैंड,मशरख

23-जयप्रकाश सिंह-शशिभूषण सिंह-गोपालवाड़ी मशरख

24-सुरेन साह- जतन साह-घोघिया,मशरक

25- जतन साह-कृपाल साह-घोघिया,मशरक

जतन साह के पुत्र है सुरेन साह (बाप -बेटा)

26-विक्रम राज- स्व नारायण प्रसाद-खरौनी,मढ़ौरा

27-दशरथ महतो- केसर महतो-डोइला, इसुआपुर

28-चंद्रशेखर शाह-भिखारी शाह-बहरौली मशरख

29-जगलाल शाह- भरत शाह -बहरौली मशरख

30-अनिल ठाकुर-परमा ठाकुर -बहरौली मशरख

31- एकराकुल हक़-मकुसाद अंसारी -बहरौली मशरख

32-शैलेन्द्र राय -दिन दयाल राय -बहरौली मशरख

33-उमेश राय-शिव पूजन राय-अमनौर

34-उपेंद्र राय-अक्षय राय-अमनौर

35- रंगीला महतो उर्फ सुरेंद्र महतो -यमुना महतो -लालापुर मढ़ोरा

36-दूधनाथ तिवारी-महावीर तिवारी- बहरौली मशरख

37-भरत शाह- गोपाल शाह -शास्त्री टोला मशरख

38-सालाऊदीन मिया- वकील मिया- अमनौर

39.सुरेंद सिंह -स्व.सच्चिदानंद सिंह -मणीसिरिया हुस्सेपुर अमनौर

40-जयनारायण राय- स्व जगन्नाथ राय -मणीसिरिया हुस्सेपुर अमनौर

41-हरेराम सिंह -राजेंद्र सिंह-घोघिया मशरक

42-मोहन प्रसाद यादव -रामजतन प्रसाद-घोघिया मशरक

43-कन्हैया सिंह- रामलाल सिंह -गोपालबाड़ी मशरक

44-विक्की महतो-लालबाबू महतो-चहपुरा इसुआपुर

45-रमेश महतो- यमुना महतो- लालापुर मढ़ौरा

बिहार शराब कांड पर राज्यसभा में BJP सांसदों का हंगामा

बिहार में जहरीली शराब से हुई मौतों का मुद्दा संसद में भी उठा। इस दौरान भाजपा के लोकसभा सदस्यों ने गुरुवार को राज्य में जहरीली शराब से हुई मौतों को ‘सामूहिक हत्या’ करा दिया। इस मामले में सदस्यों ने केंद्र से इस घटना के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराते हुए मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली सरकार के खिलाफ तत्काल कार्रवाई करने का भी आग्रह किया।

संजय जयसवाल ने उठाया मुद्दा

भाजपा के पश्चिम चंपारण से सांसद संजय जयसवाल ने बिहार में जहरीली शराब से हुई मौतों का मामला लोकसभा में शून्यकाल के दौरान उठाया। इस दौरान उन्होंने दावा किया कि बिहार में शराबबंदी होने के बावजूद भी पुलिस अधिकारियों के संरक्षण में नकली शराब का कारोबार तेजी से फल-फूल रही है। उन्होंने आरोप लगाया कि मुख्यमंत्री ने इस मामले में किसी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की है। जयशवाल ने कहा कि मैं केंद्र सरकार से आग्रह करता हूं कि बिहार में मौजूदा कानून-व्यवस्था की स्थिति का संज्ञान ले और जहरीली शराब से राज्य में 37 लोगों की हत्या के लिए जिम्मेदार बिहार की महागठबंधन के खिलाफ जल्द से जल्द कार्रवाई करें।

हर घर हो रही है शराब की आपूर्ति

उन्होंने आरोप लगया कि बिहार में शराब से 37 लोगों की मौत हुई है। यह बिहार सरकार द्वारा 37 लोगों की हत्या का प्रायोजित कार्यक्रम है। उन्होंने कहा कि राज्य में शराबबंदी के बावजूद भी पुलिस की मदद और सुरक्षा से हर घर में नकली शराब की आपूर्ति की जा रही है।

सुशील कुमार सिंह ने बिहार सरकार को ठहराया जिम्मेदार

भाजपा के औरंगाबाद से सांसद सुशील कुमार सिंह ने जहरीली शराब से हुई मौतों को सामूहिक हत्या करार देते हुए इसके लिए बिहार सरकार को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने कहा, ‘बिहार सरकार से अब कोई उम्मीद नहीं है।’ मालूम हो कि सारण के जिला अधिकारी राजेश मीणा के मुताबिक, जहरीली शराब पीने से मरने वालों की संख्या बुधवार रात 21 से बढ़कर 26 हो गई है। हालांकि इस त्रासदी में मरने वालों की संख्या लगातार बढ़ रही है।

राजीव प्रताप रूडी ने केंद्रीय टीम की मांग की

सारण से भाजपा सांसद राजीव प्रताप रूडी ने इस जहरीली शराब के मुद्दे पर बिहार सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने मांग की कि इस मामले पर केंद्रीय गृह मंत्रालय राज्य में जमीनी हालात का जायजा लेने के लिए बिना किसी देरी के एक केंद्रीय टीम भेजे। उन्होंने यह भी मांगी की कि इस मामले पर गृह मंत्रालय राज्य सरकार से इस पर एक रिपोर्ट की भी मांग करे। भाजपा सांसद ने आरपो लगाते हुए कहा कि बिहार सरकार आपनी जिम्मेदारी निभाने में पूरी तरह से विफल रही है।

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