*वाराणसी में जल्द दिखने लगेगा बड़ा बदलाव, स्मार्ट सिटी के तहत मूर्त रूप लेने जा रहे ये 7 बड़े प्रोजेक्ट*
*श्रीनारद मीडिया / सुनील मिश्रा वाराणसी यूपी*
*वाराणसी* / प्रधानमंत्री मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में विकास कार्य काफी तेजी से चल रहे हैं। स्मार्ट सिटी (Varanasi Smart City) रैंकिंग में वाराणसी टॉप शहरों की लिस्ट में भी शामिल है। वाराणसी में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट की ओर से मुख्यतः सात विकास परियोजनाओं का कार्य लगभग मूर्त रुप लेने जा रही हैं। जल्द ही इनका कार्य पूरा भी हो जाएगा। इनमें वार्डों का पुनर्विकास, खिड़किया घाट का पुनर्विकास गोदौलिया मल्टी लेवल पार्किंग जैसे बड़े प्रोजेक्ट शामिल हैं। इन सभी विकास कार्यों के पूरा होने के बाद वाराणसी में काफी बड़ा बदलाव देखने को मिलेगा। साथ ही पर्यटन को भी नई ऊंचाई मिलेगी। दशाश्वमेध, गोदौलिया, बेनियाबाग और मैदागिन जैसे क्षेत्रों में जाम के झाम से भी लोगों को मुक्ति मिलेगी। स्मार्ट सिटी वाराणसी द्वारा कराये जा रहे विकास कार्य जल्द ही पूरे हो जाएंगे, जिसके लिए दिन-रात एक काम चल रहा है। 2021 के अंत या 2022 के शुरुआत तक पर्यटकों और काशी की जनता को वाराणसी का नया रुप देखने को मिलेगा वो भी इस प्राचीन शहर के पारंपरिक धरोहरों और पहचान के साथ। सभी विकास कार्यों को वाराणसी की आध्यात्म और माहात्म्य को ध्यान में रखते हुए किया जा रहा है। आइये जानते हैं वाराणसी में स्मार्ट सिटी के तहत तेजी से चल रहे इन विकास कार्यों के बारे में-1. गोदौलिया मल्टी लेवल पार्किंग-
वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा गोदौलिया चौराहे पर जी+4 लेवल सेमी आटोमेटिक पार्किंग का निर्माण कराया जा रहा है, जिसकी क्षमता 375 दो पहिया वाहनों की है। साथ ही भूतल पर 30 दुकानें जलकल पम्पिंग बूथ, पर्यटन सुविधा केंद्र, पेयजल आदि का प्रावधान है।आगमन पर गाड़ियों को व्यवस्थित ढंग से संयोजित करने के लिए क्यूइंग एरिया है ताकि वाहनों के पार्किंग तक आने में यातायात बाधित न हो। मल्टी लेवल पार्किंग का पूरा ढांचा तेज निर्माण व सुरक्षा के आशय से स्टील का रखा गया है। मल्टी लेवल पार्किंग का पूरा ढांचा अग्निशमन मानकों के अनुरुप है और आपातकालीन स्थिति में फायर स्टेयरकेस का भी प्रावधान है। बाहरी रंगरुप से आसपास कि धरोहर को परिलक्षित करने के लिए इसके फसाड को समरुप कलर स्कीम व पारंपरिक वास्तुशैली से सुसज्जित करने का प्रावधान है। इसे स्मार्ट सिटी के तहत 21.17 करोड़ की लागत से बनाया जा रहा है।इस मल्टी लेवल पार्किंग के मूर्त रुप लेने के बाद जल्द ही स्मार्ट सिटी की राह पर आगे बढ़ रहे वाराणसी को जाम की समस्या से मुक्ति तो मिलेगी ही साथ ही शहर को पहला स्मार्ट पार्किंग सिस्टम भी मिल जाएगा, जिसकी वजह से शहर को एक विशेष पहचान भी मिलेगी। 2. टाउनहॉल पार्क एवं पार्किंग-
मैदागिन क्षेत्र स्थित टाउनहॉल परिसर में वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा पार्क व अंडरग्राउंड पार्किंग का निर्माण कराया जा रहा है। इसमें पार्किंग एंट्रेंस प्लाजा व टिकट बूथ, ओपन जिम, योग गार्डेन, सैंट पिट, बच्चों के लिए खेलने की जगह, लैंडस्केपिंग, फुटपाथ-जॉगिंग ट्रैक, मेज एरिया, बैठने की जगह, वेंडिंग जोन आदि से लैस होगा। साथ ही पार्क परिसर पूर्ण रुप से दिव्यांगजन के अनुकूल होगा। अंडरग्राउंड पार्किंग 5500 वर्गमीटर निर्माणक्षेत्र, जिसमें अलग आगमन व प्रस्थान का प्रावधान है। पार्किंग की कुल क्षमता 200 दोपहिया वाहन व 150 चार पहिया की है। भविष्य में क्षमता बढ़ाने को ध्यान में रखते हुए हाइड्रोलिक स्टैक सिस्टम भी लगाया जा रहा है। 23.31 करोड़ रुपये की लागत से बन रहे पार्किंग निर्माण का कार्य जोरो से चल रहा है। इसके बनने से मणिकर्णिका घाट पर आने वाले शवदाह यात्रियों के वाहनों की पार्किंग की सुविधा होगी।3. बेनियाबाग पार्क एवं पार्किंग-
वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा बेनियागबाग क्षेत्र में पार्क व अंडरग्राउंड पार्किंग का निर्माण कराया जा रहा है। पार्किंग कुल 16500 वर्ग मीटर क्षेत्र में है, जिसकी क्षमता 470 चार पहिया व 130 दो पहिया होने वाली है। पार्क फुटबॉल ग्राउंड, एम्यूजमेंट एरिया, ओपन जिम, योग गार्डेन, वाटर स्पोर्ट्स स्थल, बच्चों को खेलने के लिए आकर्षक झूले, फूड कोर्ट, फ्लावर कोर्ट आदि से लैस होगा। 90.41 करोड़ रुपये की लागत से बन रहे पार्किंग का कार्य भी जोरो से चल रहा है। इसके बनने से गोदौलिया आने वाले लोगों को वाहनों की पार्किंग में सुविधा मिलेगी। 4. हेरिटेज साइनेज-
घाटों के माहात्म्य और पर्यटन उत्सर्जन के आशय से वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा सभी घाटों पर विभिन्न प्रकारों के साइनेज का कार्य कराया जा रहा है। कोर्टन स्टील, कंक्रीट से बना यह हेरिटेज साइनेज घाटों के नाम, सीढ़ियों पर संक्षिप्त रुप में घाटों का पौराणिक महत्व व इतिहास एवं कुछ घाटों पर बड़े इंस्टालेशन जिसमें काशी में घाटों का नक्शा, इतिहास व समय दीर्घा आदि अंकित किया जाएगा। साइनेज का उद्देश्य लोगों को जानकारी देना है। इस पर उस स्थान, जिले और उसकी खासियत के बारे में बताया जाता है। ताकि बाहर से आने वाले पर्यटकों को वहां की पूरी जानकारी मिल सके। सभी 84 घाटों पर साइनेज लगाए जा रहे हैं।5. मछोदरी स्मार्ट स्कूल-
मछोदरी क्षेत्र में वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा स्मार्ट स्कूल का निर्माण कराया जा रहा है। इसमें स्मार्ट क्लासरुम, ऑडिटोरियम, पुस्तकालय, कंप्यूटर लैब और साथ ही प्रौढ़ वर्ग, महिलाओं और तीसरे-लिंग के लिए कौशल विकास केंद्र आदि के प्रावधान हैं।स्कूल में सीसीटीवी कैमरा से निगरानी, बच्चों को शुद्ध पेयजल की व्यवस्था होगी। सीवर व्यवस्था, रेन वाटर हार्वेस्ट सिस्टम, सोलर सिस्टम व किडस प्ले एरिया आदि से परिपूर्ण यह स्कूल होगा। 14.21 करोड़ रुपये की लागत से बन रहे स्मार्ट स्कूल का काम 40 प्रतिशत से अधिक हो गया है। इसके बनने से आसपास के आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों को कांवेंट शिक्षा मिलेगी। 6. वार्डों का पुनर्विकास-
वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा वाराणसी के 5 वार्डों की पुनर्विकास कार्य कराया जा रहा है, जिसमें कामेश्वर महादेव वार्ड, दशाश्वमेध वार्ड, काल भैरव वार्ड, राजमंदिर वार्ड व जंगमबाड़ी वार्ड शामिल है। वार्डों में सीवर लाइन, वाटर लाइन को प्रतिस्थापित कर पीसीसी कराया जा रहा है और इसके बाद चौका पत्थर लगाकर वार्डों को पुनः प्राचीन रुप दिया जा रहा है। इसके अलावा दीवारों पर आकर्षक चित्रकला आदि से वार्डों का सौंदर्यीकरण भी कराया जा रहा है। 7. खिड़किया घाट का पुनर्विकास-
वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा खिड़किया घाट को पुनर्विकसित कर एक नए पर्यटन समन्वय को स्थापित करने का कार्य कराया जा रहा है। साथ ही नावों के लिए सीएनजी गैस फिलिंग स्टेशन, टूरिस्ट वाराणसी स्मार्ट सिटी द्वारा इसके अलावा एबीडी एरिया का पुनर्विकास, कल्चरल अपलिफ्टमेंट व काशी को और सुरक्षित बनाने के आशय से एडवांस सर्वेलांस कैमरा आदि पर भी विस्तृत रुप से कार्य किया जा रहा है।