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मशरक की खबरें :  ट्यूशन पढ़कर घर जा रहें छात्र को बाइक सवार ने मारा टक्कर, घायल

मशरक की खबरें :  ट्यूशन पढ़कर घर जा रहें छात्र को बाइक सवार ने मारा टक्कर, घायल

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श्रीनारद मीडिया, विक्‍की बाबा, मशरक, सारण (बिहार):

मशरक थाना क्षेत्र के चरिहारा गांव से ट्यूशन पढ़ साइकिल से हंसाफीर गांव जा रहे छात्र को अनियंत्रित अज्ञात मोटरसाइकिल सवार ने टक्कर मार फरार हो गया। जिसमें साइकिल सवार छात्र घायल हो गया। घटना की सूचना मिलते ही मौके पर पहुंचे बंगरा मुखिया प्रत्याशी रंजन कुमार सिंह ने घायल छात्र को इलाज के लिए सीएचसी मशरक में भर्ती कराया। घायल छात्र की पहचान हंसाफीर गांव निवासी अशोक राय अजनबी का 14 वर्षीय पुत्र नितेश कुमार के रूप में हुई। मामलेे में परिजनों ने बताया कि छात्र सुबह में ट्यूशन पढ़ने चरिहारा गांव में गया था वही से पढाई कर घर वापस आने के दौरान सड़क दुघर्टना में घायल हो गया।

 

 

दुमदुमा मंदिर के पास सड़क दुघर्टना में युवक घायल

श्रीनारद मीडिया, विक्‍की बाबा, मशरक, सारण (बिहार):

मशरक मलमलिया सिवान शीतलपुर एसएच-73 पर मशरक थाना क्षेत्र के दुमदुमा मंदिर के पास सोमवार की रात्रि में अनियंत्रित मोटरसाइकिल सवार ने सड़क किनारे खड़े युवक को जोरदार तरीके से टक्कर मार दिया जिससे पैदल जा रहा युवक गंभीर रूप से घायल हो गया। आस पास के लोगों ने घायल युवक को इलाज के लिए सीएचसी मशरक में भर्ती कराया जहां उसकी पहचान दुमदुमा गांव निवासी रामेश्वर साह का 22 वर्षीय पुत्र हरीशंकर साह के रूप में हुई ‌। ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक डॉ एस के विद्यार्थी ने घामल युवक का प्राथमिक उपचार किया। घायल के परिजन ने बताया कि युवक सड़क किनारे से जा रहा था कि नशे की हालत में मोटरसाइकिल सवार ने टक्कर मार दी जिससे युवक घायल हो गया।

 

 

स्वास्थ्य सुविधा का हाल बदहाल, बेकार पड़ा गंडामण का स्वास्थ्य उपकेंद्र

श्रीनारद मीडिया, विक्‍की बाबा, मशरक, सारण (बिहार):

सरकार द्वारा स्वास्थ्य सुविधा को बेहतर करने के लिए रोज नए कार्य किये जा रहे है। और इसके साथ ही जरूरत पड़ने पर ठोस कदम भी उठाए जा रहे हैं। बावजूद इसके मशरक प्रखंड में स्वास्थ्य व्यवस्था सुचारू रूप से बहाल नहीं हो पा रही है। मामला मशरक प्रखंड के गंडामण उप स्वास्थ्य उपकेंद्र का है। जहां पर वर्षों पूर्व हेल्थ एंड वैलनेस केयर सेंटर खोला गया था। जहां दूरदराज के इलाकों में लोगों को स्वास्थ्य सुविधा मिल सके। इसके लिए यह स्वास्थ्य उपकेंद्र खोला गया था। लेकिन इस स्वास्थ्य उपकेंद्र में कभी-कभी ही स्वास्थ्य कर्मी या डॉक्टर पहुंचते हैं। जिसकी वजह से यहां पर अक्सर ताला लगा रहता है। कोरोना काल में जब बीमार मरीजों को इलाज के लिए अस्पताल की जरूरत पड़ती है। तब इस इलाके के लोगों को इस स्वास्थ्य उपकेंद्र में मायूसी ही मिलती है। और उन्हें इलाज के लिए मशरक या जिला मुख्यालय छपरा जाना पड़ता है।स्थानीय ग्रामीणों के मुताबिक यहां पर पिछले जब से इस केन्द्र की स्थापना हुई तब से चिकित्सक और स्टाफ नहीं आ रहे हैं। और ना ही इस स्वास्थ्य उपकेंद्र का कोई देखभाल किया जाता है। जिसकी वजह से यहां पर साफ देखा जा सकता है कि कैसे इस उपकेंद्र के आसपास में झाड़ियां निकल आए हैं। यहां बरसात के मौसम में जहरीले सांप बिछु का भी खतरा बना रहता है। ग्रामीणों ने बताया कि गंडामण में सरकारी विद्यालय में मध्यान्ह भोजन योजना में जहर मिला भोजन खाने से 23 बच्चों की मौत हो गई थी जिस पर सरकार ने गांव को गोद लिया और वर्ष 2013 मे स्वास्थ्य उपकेंद्र बनाए गए । जिसका लाभ इस इलाके के आम लोगों को नहीं मिल पा रहा है। गांव वाले बताते हैं कि सरकार द्वारा स्वास्थ्य सेवा के लिए केन्द्र खोला गया पर यह टीकाकरण के दिन ही खुलता है। लाखों रूपये की राशी लगाकर भवन तों बना दिया गया है पर समुचित व्यवस्था नही होने से इसका लाभ लोगों को नही मिल रहा है।

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