Breaking

सदर अस्पताल प्रांगन में ऑक्सीजन प्लांट की भी शुरुआत हो जाएगी: सिविल सर्जन

सदर अस्पताल प्रांगन में ऑक्सीजन प्लांट की भी शुरुआत हो जाएगी: सिविल सर्जन
सिविल सर्जन की अध्यक्षता में स्वास्थ्य विभाग की मासिक समीक्षात्मक बैठक आयोजित:
बैठक में स्वास्थ्य विभाग के सभी कार्यक्रम की समीक्षा की गई
अन्य प्रदेश से आने वाले सभी व्यक्तियों की जांच आवश्यक:

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
previous arrow
next arrow

श्रीनारद मीडिया‚ किशनगंज,  (बिहार)


जिले में स्वास्थ्य विभाग मरीजों को गुणवत्तापूर्ण तथा सुलभ स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए निरंतर प्रयासरत है। स्वाथ्य विभाग के तमाम अधिकारी एवं कर्मचारियों के साथ हीं नर्स, पारा मेडिकल स्टाफ, आशा, आदि स्वास्थ्य सुविधा बेहतर बनाने के लिए निरंतर कार्य कर रहे हैं। जिला स्वास्थ्य समिति के प्रांगन में बुधवार को सिविल सर्जन डॉ श्री नंदन की अध्यक्षता में स्वास्थ्य विभाग की समीक्षात्मक बैठक आयोजित की गई। बैठक में सिविल सर्जन डॉ श्रीनंदन ने कहा कि प्रखंडवार टीकाकरण, मातृत्व स्वस्थ्य, शिशु स्वास्थ्य परिवार कल्याण, किशोर-किशोरी कार्यक्रम, वेक्टर जनित रोग, टीबी नियत्रंण, अंधापन, गैर संचारी रोग, एएनसी जांच, टीकाकरण, संस्थागत प्रसव,अस्पताल में प्रसव से जुड़ी सेवाओं को सुदृढ़ करने का प्रयास किया जा रहा है। कहा कि जिले में स्वास्थ्य विभाग की ओर से चलाई जा रही विभिन्न प्रकार की योजनाओं का लाभ जरूरतमंद लोगों को हर हाल में मिलना चाहिए। उन्होंने बताया कि इसी क्रम में सदर अस्पताल में डायलिसिस यूनिट, डिजिटल एक्सरे, अत्याधुनिक सुविधाओं से लैस ब्लड बैंक, डिलीवरी रूम, सिटी स्कैन की सुविधा दी जा रही है। जल्द ही सदर अस्पताल प्रांगन में ऑक्सीजन प्लांट की भी शुरुआत हो जाएगी जिससे आम लोगों को और भी बेहतर स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध करायी जाएगी।
परिवार कल्याण कार्यक्रम को बढ़ावा देने पर जोर
बैठक में परिवार कल्याण कार्यक्रम को बढ़ावा देने, प्रसव कक्ष की बेहतरी सहित अन्य योजनाओं पर विस्तार से चर्चा की गई। परिवार नियोजन के लिए अपनाए जाने वाली विधि पीपीआईयूसीडी की जानकारी दी गई। परिवार नियोजन के लिए आईयूसीडी सबसे उपयुक्त माध्यम है। चिकित्सक व कर्मी महिलाओं को दो बच्चों के बीच दो या दो से अधिक वर्ष के अंतर के लिए आईयूसीडी का प्रयोग करने की जानकारी दें। आईयूसीडी लगाने के बाद महिलाओं के शरीर पर इसका कोई दुष्प्रभाव नहीं पड़ता है। महिलाएं चीर फाड़ के नाम पर बंध्याकरण से डरती हैं, उनके लिए आईयूसीडी बेहतर विकल्प है। सिविल सर्जन डॉ श्रीनंदन ने बताया प्रसव के 48 घंटे के अंदर पीपीआईयूसीडी, गर्भ समापन के बाद पीएआईयूसीडी व कभी भी आईयूसीडी को किसी सरकारी अस्पताल में लगवाया जा सकता है। इसके इस्तेमाल से जहां अनचाहे गर्भ से बचा जा सकता है तो इसके इस्तेमाल से सेहत को कोई नुकसान नहीं है।

जिले में 10.99 लाख लोगों के टीकाकरण का है लक्ष्य, अब तक 2.80 लाख लोगों का टीकाकरण:
सिविल सर्जन डॉ श्री नंदन ने बताया जिले में 10 लाख 99 हजार लोगों का टीकाकरण किये जाने का लक्ष्य है। जिसमें अब तक 2 लाख 80 हजार 293 लोगों को प्रथम एवं 44552 को दूसरा डोज दिया जा चुका है। जिसमें 7448 हेल्थ केयर वर्कर को प्रथम एवं 6132 को सेकंड डोज तथा 9478 फ्रंटलाइन वर्कर को प्रथम डोज एवं 5619 को सेकंड डोज दिया जा चुका है।

संभावित तीसरी लहर से बचाव के लिए, टीकाकरण के साथ-साथ व्यवहार परिवर्तन भी है जरूरी: सिविल सर्जन
समीक्षा बैठक में सिविल सर्जन ने बताया कोरोना वायरस का संक्रमण अब धीरे-धीरे कम हो रहा है। वर्तमान में सिर्फ 25 व्यक्ति ही संक्रमित हैं लेकिन अभी भी खतरा पूरी तरह से टला नहीं है। कोरोना वायरस से संक्रमित हुए लोग ठीक भी हो रहे हैं। जिले में कुल 10228 व्यक्ति संक्रमित हुए थे जिसमें से 10147 व्यक्ति संक्रमण से ठीक भी हुए है। जिले की रिकवरी रेट 99.2 प्रतिशत है लेकिन अभी भी सावधान और सतर्क रहने की जरूरत है। स्वस्थ हो चुके मरीजों को अभी भी सचेत रहने की जरूरत है और इस बात की पुष्टि भी हो चुकी है कि किसी भी व्यक्ति को कोरोना संक्रमण दोबारा अपनी चपेट में ले सकता है। संक्रमण की धीमी रफ़्तार को देखते हुए इस समय और ज्यादा सावधान रहने की जरूरत है। सिविल सर्जन डॉ श्री नंदन ने कहा कोरोना की दूसरी लहर से कई लोगों ने अपनो को खोया है। इसलिए यह लोगों की भी जिम्मेदारी बनती है कि तीसरी लहर से पहले ही टीकाकरण के साथ साथ वह अपनी सोच और सामाजिक व्यवहार में परिवर्तन लायें। कोरोना वायरस से ख़ुद को सुरक्षित रखने का सबसे महत्वपूर्ण उपाय है कि साफ-सफाई का ध्यान रखना।

संक्रमण के समय भी स्वास्थ्य सुविधा को बेहतर बनाना हमारा कर्तव्य:
जिले में स्वास्थ्य सुविधा को सुचारु रूप से क्रियान्वयन करने हेतु सिविल सर्जन डॉ श्री नंदन ने सभी प्राथमिक चिकित्सा पदाधिकारी को आवश्यक दिशा निर्देश प्रदान किया। जिसमें सातों प्रखंडों के सभी स्वास्थ्य उपकेन्द्र, अतिरिक्त प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों, स्वास्थ्य उपकेंद्रों में बेहतर स्वास्थ्य सुविधाए दी जा रही है।बैठक में सिविल सर्जन डॉ श्री नंदन,डॉ देवेन्दर कुमार, जिला कार्यक्रम प्रबंन्धक डॉ. मुनाज़िम, जिला समन्वयक विश्वजीत कुमार, इपिडेमियोलॉजिस्ट रीना प्रवीण, यूनिसेफ के एसएमसी एजाज अफजल, केयर के प्रशुनजीत प्रमाणिक सभी प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी, प्रखंड स्वास्थ्य प्रबंन्धक, लेखापाल आदि उपस्थित रहे।

यह भी पढ़े

युवती को लेकर दो गुटों के बीच हुई गोलीबारी,एक युवक जख्मी.

विश्व स्तनपान सप्ताह: स्वास्थ्यकर्मी स्तनपान को लेकर कर रहे जागरूक

कोरोना टीका के महत्व को जाना तो खुद के साथ पूरे परिवार को दिलाया टीका

 

Leave a Reply

error: Content is protected !!