‘योगा फ़ॉर हिम्युनिटी’ की थीम के साथ आज मनाया जायेगा अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस:
सोशल साइट्स के माध्यम से अधिक से अधिक प्रतिभागियों को जुड़ने के लिए की गई अपील: स्वास्थ्य विभाग
विशेष रूप से योगाभ्यास करने से श्वसन तंत्र को मिलती है मजबूती: सिविल सर्जन
प्रतिदिन योग करने से शारीरिक और मानसिक बीमारियों को किया जा सकता है दूर: डीपीएम
स्वस्थ्य ही धन है कि परिकल्पना को सार्थक रूप देने के लिए प्रतिदिन करें योगाभ्यास: योगाचार्य
श्रीनारद मीडिया, पूर्णिया, (बिहार):
वैश्विक महामारी कोविड-19 संक्रमण की रोकथाम के लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा सभी नागरिकों को कोविड-19 टीकाकरण के साथ-साथ योगाभ्यास के लिए भी प्रेरित किया जा रहा है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों एवं योगाचार्य का मानना है कि योग से शारीरिक, मानसिक एवं आ ध्यात्मिक रूप से हर व्यक्ति पूरी तरह से स्वस्थ्य रह सकता है। कोविड काल में रोग प्रतिरोधक क्षमता को मजबूत रखने के लिए इसका महत्व और भी अधिक बढ़ा है। नियमित रूप से योग अपना कर अवसाद और तनाव को भी दूर किया जा सकता है। योग की प्रमुख क्रियाओं में सूर्य नमस्कार, प्राणायाम, मंडूकासन, शशकासन, ताड़ासन, तिर्यक ताड़ासन, उष्ट्रासन, योगमुद्रासन, गोमुखासन, भुजंगासन, पादहस्तासन, पवनमुक्तासन, मर्कटासन, वक्रासन, कटिचक्रासन, भुजंगासन आदि मुख्य रूप से शामिल किये गये हैं जो शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के लिए लाभदायक माने गए हैं।
सोशल साइट्स के माध्यम से अधिक से अधिक प्रतिभागियों को जुड़ने के लिए की गई अपील: स्वास्थ्य विभाग
आठवां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस के मौके पर राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक संजय कुमार सिंह ने भी राज्य के सभी सिविल सर्जनों को पत्र जारी कर ज़िले के सभी हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर आज़ादी के अमृत दिवस से संबंधित योगाभ्यास करने एवं सोशल साइट्स के माध्यम से लोगों को योगाभ्यास को लेकर प्रेरित किया जाना है। राज्य आयुष समिति के प्रशासी पदाधिकारी प्रशांत कुमार ने बिहार के सभी सिविल सर्जन को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी करते हुए कहा है कि कोविड-19 संक्रमण काल के दौरान ” योगा फ़ॉर हिम्युनिटी ” यानी कि मानवता के लिए योग थीम के साथ 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय विश्व योग दिवस मनाया जायेगा। वहीं राज्य सरकार के आयुष विभाग द्वारा 21 जून को सुबह सात बजे से योग से संबंधित कार्यक्रम प्रारंभ किया जायेगा। राज्य आयुष समिति द्वारा योग के लिए ayush.bihar.gov.in पर लोगों से अधिक से अधिक प्रतिभागियों की संख्या को लेकर अपील की गयी है।
विशेष रूप से योगाभ्यास करने से श्वसन तंत्र को मिलती है मजबूती: सिविल सर्जन
सिविल सर्जन डॉ एसके वर्मा ने बताया कि स्वास्थ्य एवं आयुष विभाग द्वारा दिए गए आवश्यक दिशा-निर्देश के आलोक में ज़िले के सभी स्वास्थ्य केंद्रों एवं हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर पर आज़ादी के अमृत महोत्सव के रूप में आठवां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाए जाने को लेकर सभी एमओआईसी को निर्देशित किया गया है। क्योंकि योगाभ्यास के माध्यम से कई तरह की प्रक्रियाएं अपनाने से फेफड़ों में रक्तसंचार बढ़ती है। वहीं प्राणायाम श्वसन तंत्र को मजबूत बनाने के लिए एक विशेष योगाभ्यास है। श्वसन क्रिया के दौरान गहरी सांस लेते हुए वायु को अंदर की खींचते हैं। सांस को अधिक से अधिक समय तक रोके रखते हैं और अंत में धीरे-धीरे सांस छोड़ते हैं। इससे शरीर को आवश्यक मात्रा में ऑक्सीजन प्राप्त होता है। श्वसन से संबंधित एवं टीबी जैसे बीमारियों को दूर करने के लिए यह एक महत्वपूर्ण अभ्यास माना जाता है। इसके अलावा विलोम-अनुलोम प्राणायाम करने से भी फेफड़ों को मजबूती मिलती है। योग के लिए शांत एवं स्वच्छ वातावरण होना चाहिए।
प्रतिदिन योग करने से शारीरिक और मानसिक बीमारियों को किया जा सकता है दूर: डीपीएम
जिला स्वास्थ्य समिति के डीपीएम ब्रजेश कुमार सिंह ने बताया कि शरीर और मन की शांति के लिए योग बहुत ही जरूरी विकल्प के रूप में सामने आया है। मात्र योगाभ्यास करने से आपका शरीर पूरी तरह से स्वस्थ रहता है। साथ ही योग से मानव जीवन पर सकारात्मक प्रभाव भी पड़ता है। प्रतिदिन योग करने से शारीरिक और मानसिक बीमारियां दूर होती है। बढ़ते तनाव को कम करने और लाइफस्टाइल से पैदा होने वाली विभिन्न तरह की समस्याओं को योगाभ्यास करने से दूर किया जा सकता है। योग करने से शरीर को मजबूती मिलती है। योग से शारीरिक और मानसिक ऊर्जा में वृद्धि होती है। वहीं योग करने वाले लोग फिट होने के साथ ही इम्यूनिटी के मामले में भी दूसरे लोगों से बेहतर स्वस्थ्य होते हैं। इसी को देखते हुए बाकी लोगों ने भी खुद के स्वास्थ्य का ख्याल रखते हुए योग करना शुरू किया है।
स्वस्थ्य ही धन है कि परिकल्पना को सार्थक रूप देने के लिए प्रतिदिन करें योगाभ्यास: योगाचार्य
पूर्णिया के प्रशिक्षित योगाचार्य सुरेंद्र सेवाव्रती ने कहा है कि योग करने से व्यक्ति शारीरिक, मानसिक, और आ ध्यात्मिक रूप स्वस्थ्य रह ता है। इसके साथ ही वर्तमान समय में सबसे ज़्यादा तनाव, कमर दर्द, सर दर्द, अनिंद्रा, हृदय रोग, उक्त रक्तचाप, साइटिका, गठिया रोग आदि सेमुक्ति मिलती है हैं। क्योंकि भागमभाग वाली दौर से हम सभी को गुजरना पड़ रहा है। प्रतिदिन सुबह या शाम को नियमित रूप से योगाभ्यास करने मात्र से हाथ में कंपन्न, पाचन क्रिया, बाल का झड़ना, अवसाद, तंत्रिका तंत्र को स्वास्थ्य एवं रोग मुक्त, मस्तिष्क को शांत व सहन करने के साथ ही याददाश्त को भी बढ़ाता है। विगत आठ वर्षो से पूरे विश्व में योग दिवस मनाया जाता है लेकिन हम सभी को प्रतिदिन कम से कम 30 मिनट या अधिकतम एक घंटे तक नियमित रूप से योगाभ्यास करना चाहिए। जब तक तन व मन पूरी तरह से स्वास्थ्य नहीं रहेगा तबतक स्वास्थ्य ही धन है कि परिकल्पना को पूरा नहीं किया जा सकता है।
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