राष्ट्रपति भवन में 111 प्रजाति के दुर्लभ देशी-विदेशी पक्षियों का ठिकाना है.
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
रायसीना हिल्स केवल राष्ट्रपति का ही निवास नहीं, बल्कि यहां दुनिया के कुछ सबसे खूबसूरत और दुर्लभ पशु-पक्षी भी रहते हैं। 330 एकड़ के राष्ट्रपति भवन परिसर में 75 एकड़ का प्राकृतिक क्षेत्र (Nature Trail) अपनी जैव विविधता के कारण कई अद्भुत जीवों का मनपसंद ठिकाना भी है। इसमें 111 प्रजाति के दुर्लभ देशी-विदेशी पक्षी, 84 तरह के अन्य जीव और 160 किस्म के 5000 से ज्यादा वृक्षों की लंबी श्रृंखला शामिल है।
राष्ट्रपति भवन की प्राकृतिक छटा का मुख्य आकर्षण यहां के खूबसूरत तालाब, रंग-बिरंगी तितलियां, कई तरह के फलों के पेड़, जिसमें बेर, संतरे व रशीले आमों की प्रजातियां आदि शामिल हैं। यहां के उद्यान में एक विशेष मोर प्वाइंट और माइका प्वाइंट भी शामिल है।
यहां के उद्यान में सीता अशोक, बिस्तेंदु, शीशम, जंगली बादाम (Wild Almond), नींबू की खुशबू वाला गोंद (Lemon-Scented Gum) आदि के पेड़-पौधे शामिल हैं। इसके अलावा यहां दुनिया के कुछ दुर्लभ किस्म के फूलों के पौधे भी उद्यान की शोभा बढ़ा रहे हैं।
राष्ट्रपति की आधिकारिक वेबसाइट पर 111 पक्षियों की फोटो
डॉ थॉमस मैथ्यू (Dr. Thomas Mathew) ने अपनी किताब ‘विंग्ड वंडर्स ऑफ राष्ट्रपति भवन’ (Winged Wonders of Rashtrapati Bhavan) में 111 प्रजाति के पक्षियों की तस्वीरें कैद की हैं, जिन्हें राष्ट्रपति की आधिकारिक वेबसाइट पर भी दर्शाया गया है।
इसमें मिस्र का गिद्ध (Egyptian Vulture), स्पेनिश गौरेया (Spanish Sparrow), एशियन ब्राउन फ्लाईकैचर (Asian Brown Flycatcher), मैना, लाल बुलबुल, एशियन ब्राउन फ्लाईकैचर, विभिन्न प्रजाति के उल्लु, भारतीय ग्रेय हॉर्नबिल आदि शामिल हैं।
प्रणब मुखर्जी इसे पक्षियों का स्वर्ग बनाना चाहते थे
पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने राष्ट्रपति भवन की जैव विविधता इतनी पसंद थी कि वह इसे पक्षियों के लिए स्वर्ग बनाना चाहते थे। इसके लिए उन्होंने यहां विशेष तरह के 2000 से ज्यादा वृक्ष लगवाए थे। इसमें 1000 फलदार वृक्ष भी शामिल थे।
प्रणब मुखर्जी ने पक्षियों के लिए लगवाए थे 2000 वृक्ष
प्रणब मुखर्जी ने राष्ट्रपति भवन को पक्षियों का स्वर्ग कहा था। उन्होंने अपने कार्यकाल में यहां अलग-अलग प्रजातियों के 2000 वृक्ष लगवाए थे। इसमें करौंदा, अमरूद, अनार, कस्टर्ड एप्पल, आम और जामुन सहित 1000 तरह के फलदार वृक्ष शामिल हैं।
2015 में पक्षियों के लिए बना था नया वेटलैंड
2015 में प्रणब मुखर्जी ने और ज्यादा पक्षियों को आकर्षित करने के लिए यहां एक नया वेटलैंड बनवाया था। ये वेटलैंड यहां मौजूद सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट के शोधित जल से बना हुआ है। इस सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट का उद्घाटन प्रणब मुखर्जी ने ही वर्ष 2015 में किया था।
पूर्व राष्ट्रपति कलाम ने लिखी है कविता
पूर्व राष्ट्रपति डॉ एपीजे अब्दुल कलाम ने यहां की प्राकृतिक खूबसूरती पर अंग्रेजी में एक कविता भी लिखी थी। पूर्व राष्ट्रपति कलाम की कविता का शीर्षक ‘Banyans’ Question Echoes In My Soul’ है। इस कविता में उन्होंने राष्ट्रपति भवन की जैव विविधता का खूबसूरत वर्णन किया है।
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