जीएमसीएच सहित ज़िले के सभी स्वास्थ्य केंद्र पर हुई प्रसव पूर्व जांच:
गर्भवती महिलाओं को प्रसव पूर्व देखभाल की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए पीएमएसएमए लागू: डीपीएम
गर्भवती महिलाओं को आयरन और कैल्सियम की दवा चिकित्सीय परामर्श के अनुसार लेनी चाहिए: डीसीएम
सीमित संसाधनों के बावजूद बेहतर व्यवस्था ही हमारी पहचान: डॉ प्रियंका
श्रीनारद मीडिया, पूर्णिया,(बिहार):
सुरक्षित एवं संस्थागत प्रसव तभी संभव है, जब गर्भवती महिला शारीरिक और मानसिक रूप से पूर्णतः स्वस्थ रहेंगी। इसके लिए महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान समय-समय पर नियमित रूप से जांच करानी चाहिए और महिला रोग विशेषज्ञ के परामर्श का पालन करना चाहिए। गर्भावस्था के दौरान पौष्टिक और प्रोटीनयुक्त आहार का सेवन करना बेहद जरूरी होता है। इससे न सिर्फ गर्भवती महिला स्वस्थ रहती हैं बल्कि गर्भ में पल रहा शिशु भी स्वस्थ और मजबूत होता है। सिविल सर्जन डॉ मोहम्मद साबिर ने बताया कि राजकीय चिकित्सा महाविद्यालय सह अस्पताल परिसर स्थित अस्पताल से लेकर ज़िले के सभी स्वास्थ्य केंद्र पर शुक्रवार को गर्भवती महिलाओं का प्रसव पूर्व एएनसी जांच कराया गया।
गर्भवती महिलाओं को प्रसव पूर्व देखभाल की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए पीएमएसएमए लागू: डीपीएम
जिला स्वास्थ्य समिति के डीपीएम ब्रजेश कुमार सिंह ने बताया कि देश में तीन करोड़ से अधिक गर्भवती महिलाओं की प्रसव पूर्व देखभाल की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान (पीएमएसएमए) शुरू किया गया है। इस अभियान के तहत गर्भवती महिलाओं की हर महीने नौ तारीख़ को प्रसव पूर्व देखभाल बिल्कुल निःशुल्क की जाती है। किसी माह की नौ तारीख को रविवार या अवकाश होने पर अगले कार्य दिवस पर यह आयोजित किया जाता है। यहां आने वाली सभी तरह की गर्भवती महिलाओं को गर्भावस्था की दूसरी तिमाही में निःशुल्क अल्ट्रासाउंड, उच्च रक्तचाप, मधुमेह, हीमोग्लोबिन, वजन, रक्त जांच और एचआईवी की जांच सुनिश्चित कर दवाइयां भी दी जाती हैं।
गर्भवती महिलाओं को आयरन और कैल्सियम की दवा चिकित्सीय परामर्श के अनुसार लेनी चाहिए: डीसीएम
जिला सामुदायिक उत्प्रेरक (डीसीएम) संजय कुमार दिनकर ने बताया कि स्थानीय अस्पताल में प्रतिदिन गर्भवती महिलाओं की एएनसी जांच की व्यवस्था है। गर्भवती महिलाओं को आयरन और कैल्सियम की दवा महिला रोग विशेषज्ञ से परामर्श के बाद ही लेनी चाहिए। आमतौर पर गर्भावस्था के तीन महीने के बाद कैल्सियम की 360 गोली प्रसव से पहले और 360 गोली प्रसव के बाद लेना होता है। इसी तरह से आयरन की 180 गोली गर्भावस्था के तीन महीने के बाद और प्रसव से पहले लेना होता है। 180 गोली प्रसव के बाद लेना होता है। एएनसी जांच के दौरान आयरन और कैल्सियम की गोली कब लेना है, अनिवार्य रूप से इसकी जानकारी चिकित्सकों से लेनी चाहिए।
सीमित संसाधनों के बावजूद बेहतर व्यवस्था ही हमारी पहचान: डॉ प्रियंका
कृत्यानंद नगर प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में पदस्थापित महिला चिकित्सक डॉ प्रियंका सिंह ने बताया कि स्थानीय अस्पताल में 197 गर्भवती महिलाओं की जांच हुई है। सुरक्षित एवं संस्थागत प्रसव को लेकर स्थानीय अस्पताल में सीमित संसाधनों के बीच बेहतर व्यवस्था की गई है। इसके लिए प्रशिक्षित स्टाफ़ नर्स एवं अनुभवी एएनएम की प्रतिनियुक्ति की गई है। प्रसव कराने आने वाली गर्भवती महिलाओं की अलग से आवश्यकता अनुसार जांच कराई जाती है ताकि गर्भ में पल रहे शिशुओं की जानकारी मिल सके। गर्भवती महिलाओं को जो भी सलाह दी जाती है, उस पर अमल करने की जरूरत होती है। इससे सुरक्षित मातृत्व को बढ़ावा मिलता है। अस्पताल परिसर स्थित प्रसव कक्ष में हर समय सफाई की विशेष व्यवस्था रखी जाती है ताकि गर्भवती महिलाओं के प्रसव के दौरान किसी प्रकार का कोई संक्रमण नही फैले।
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