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राष्ट्रपति भवन का मुगल गार्डन अब अमृत उद्यान कहा जाएगा

राष्ट्रपति भवन का मुगल गार्डन अब अमृत उद्यान कहा जाएगा

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

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दिल्ली स्थित राष्ट्रपति भवन के मुगल गार्डन का नाम शनिवार को बदल दिया गया है। अब इसकी पहचान ‘अमृत उद्यान’ के नाम से होगी। इसे हर साल वसंत के मौसम में आम जनता के लिए खोला जाता है। राष्ट्रपति 29 जनवरी को उद्यान उत्सव की शुरुआत करेंगी। आम जनता के लिए ‘अमृत उद्यान’ 31 जनवरी को खोला जाएगा और 26 मार्च तक लोग यहां घूम सकेंगे। हर साल की तरह इस बार भी 5 से 6 लाख लोगों के आने के उम्मीद है।

जनता के लिए पहली बार इसे देश के पहले राष्ट्रपति डॉ. राजेन्द्र प्रसाद ने खुलवाया था। यहां ब्रिटिश और मुगल दोनों के गार्डन की झलक मिलती है। राष्ट्रपति भवन बनाने वाले आर्किटेक्ट एडविन लुटियंस ने इसे बनाया था।

गार्डन में फूलों की अलग-अलग प्रजातियों के अलावा करीब 160 वेरायटी के 5 हजार पेड़ हैं। राष्ट्रपति भवन में नक्षत्र गार्डन भी है।
गार्डन में फूलों की अलग-अलग प्रजातियों के अलावा करीब 160 वेरायटी के 5 हजार पेड़ हैं। राष्ट्रपति भवन में नक्षत्र गार्डन भी है।

हर पौधे के पास लगाया जाएगा QR कोड
राष्ट्रपति की डिप्टी प्रेस सेक्रेट्री नविका गुप्ता ने कहा कि मुगल गार्डन में आने वाले लोगों की सुविधा के लिए कई बदलाव भी किए गए हैं। सभी पौधों के पास क्यूआर कोड लगाया जाएगा। अगर कोई भी इसे स्कैन करेगा तो उसे पौधे से जुड़ी सारी जानकारी मिल जाएगी। इसके साथ ही 20 प्रोफेशनल तैनात किए जाएंगे, जो लोगों को गार्डन के बारे में जानकारियां देंगे।

15 एकड़ फैले गार्डन में 138 तरह के गुलाब
अमृत उद्यान 15 एकड़ में फैला है। गार्डन को राष्ट्रपति भवन की आत्मा माना जाता है। इसमें 138 तरह के गुलाब, 10 हजार से ज्यादा ट्यूलिप बल्ब और 70 अलग-अलग प्रजातियों के लगभग 5 हजार मौसमी फूलों की प्रजातियां हैं।

राष्ट्रपति भवन में स्थित मुगल गार्डन का नाम अब अमृत उद्यान कर दिया गया है। आजादी के अमृत महोत्सव के तहत गार्डन का नाम बदला गया है। अमृत उद्यान (मुगल गार्डन) में 12 किस्म के ट्यूलिप के फूल होते हैं। अमृत उद्यान 31 जनवरी से 26 मार्च तक आम लोगों के लिए खुलेगा। दोपहर 12 से रात 9 बजे तक लोग उद्यान में जा सकेंगे।

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