अगले सप्ताह से नप के सभी वार्डों में चलाया जाएगा फाइलेरिया के प्रति जागरूकता अभियान: चेयरमैन
नगर परिषद बरौली में बैठक आयोजित कर लोगों को जागरूक करने को लेकर लिया गया निर्णय:
नेटवर्क सदस्य सीमा देवी व सुनिता देवी ने पार्षदों को दी फाइलेरिया के दुष्प्रभावाें की जानकारी:
दवाओं के महत्व जानकर वार्ड पार्षदों ने अभियान में शामिल होने की दी सहमति:
श्रीनारद मीडिया, गोपालगंज, (बिहार):
गोपालगंज जिले में फाइलेरिया उन्मूलन कार्यक्रम के तहत सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम की शुरुआत 10 फरवरी से होने वाली है। इसके पूर्व जिले में लोगों को जागरूक करने के लिए स्वास्थ्य विभाग और सहयोगी संस्थान युद्धस्तर पर कार्य कर रहे हैं। ऐसे में नगर परिषद बरौली के सभागार में सामूहिक रूप से बैठक आयोजित की गई।
जिसकी अध्यक्षता नगर परिषद के चेयरमैन जितेंद्र प्रसाद ने की। बैठक का मुख्य एजेंडा वार्ड पार्षदों को अपने क्षेत्रों में सर्वजन दवा सेवन कार्यक्रम के दौरान अधिक से अधिक लोगों को जागरूक करने और दवाओं का सेवन करने के लिए अपील करना रहा।
बैठक में मुगल बिरैचा पेशेंट सपोर्ट ग्रुप की सीमा देवी व सुनीता देवी ने भी हिस्सा लिया। जिन्होंने नगर परिषद के अध्यक्ष सहित उपस्थित सभी वार्ड पार्षदों को फाइलेरिया व उसके दुष्प्रभाव के साथ दवाओं की महत्ता के संबंध में विस्तार से बताया।
उसके बाद सभी वार्ड पार्षदों ने स्वास्थ्य विभाग के इस कार्यक्रम को सफल बनाने में अपना सहयोग देने पर सहमति जताई। इस अवसर पर नगर परिषद के अध्यक्ष जितेंद्र प्रसाद और उपाध्यक्ष संजय कुमार उपाध्याय, कार्यपलक पदाधिकारी सरोज कुमार बैठा, स्वच्छता पदाधिकारी पियूष कुमार, सिफार की नेहा कुमारी, बीसी अमित कुमार सहित स्थानीय नगर परिषद के सभी वार्ड पार्षद मौजूद थे।
लिम्फैटिक सिस्टम को नुकसान पहुंचाता है फाइलेरिया का संक्रमण: नेटवर्क सदस्य
नेटवर्क सदस्य सीमा देवी और सुनीता देवी ने संयुक्त रूप से बताया कि किसी भी आयु वर्ग में होने वाला फाइलेरिया का यह संक्रमण लिम्फैटिक सिस्टम को नुकसान पहुंचाता है और अगर इससे बचाव नही किया जाए तो इससे शारीरिक अंगों में असामान्य सूजन होती है।
फाइलेरिया के कारण चिरकालिक रोग जैसे हाइड्रोसील (अंडकोष की थैली में सूजन), लिम्फेडेमा (अंगों की सूजन) व काइलुरिया (दूधिया सफेद पेशाब) से ग्रसित लोगों को अक्सर सामाजिक बहिष्कार का बोझ सहना पड़ता है, जिससे उनकी आजीविका व काम करने की क्षमता भी प्रभावित होती है।
ऐसी स्थिति भविष्य में किसी को सहना नही पड़े, इसलिए सरकार और स्वास्थ्य विभाग वृहद् स्तर पर दवाओं का सेवन कराता है। इसके लिए लगातार पांच साल तक वर्ष में एक बार दवा का सेवन करने से फाइलेरिया की चपेट में आने की संभावना कम हो जाती है। इसलिए सभी को इन दवाओं का सेवन करने के लिए जागरूक करना होगा।
नेटवर्क सदस्य लोगों को देंगे फाइलेरिया की जानकारी: चेयरमैन
नगर परिषद बरौली के अध्यक्ष जितेंद्र प्रसाद ने उपस्थित सभी वार्ड पार्षदों से कहा कि हाथीपांव व हाईड्रोसिल की बीमारी को जानते थे, लेकिन वह इतना भयानक रोग है इसकी कल्पना भी नहीं की थी। उन्होंने नेटवर्क सदस्यों सीमा और सुनिता देवी की तकलीफों को जानकर सभी वार्डों में अगले सप्ताह से जागरूकता संबंधित गतिविधियां चलाने का आश्वासन दिया। साथ ही, उन्होंने उन गतिविधियों में दोनों सदस्यों को भी गतिविधियों में हिस्सा लेने का आग्रह किया। ताकि, लोग फाइलेरिया के दुष्प्रभावों को जाने और इस बीमारी के प्रति जागरूक हो सके। लोगों में जागरूकता तभी आएगी, जब वो इसके बारे में जानेंगे। जिसके बाद वो दवाओं का सेवन करेंगे और अपने परिजनों को भी कराएंगे। तभी, हम समाज से फाइरेलिया नाम बीमारी को जड़ से खत्म किया जा सकेगा।
फाइलेरिया रोधी दवाएं स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा घर-घर जाकर, अपने सामने खिलाने का करेंगी काम: एमओआईसी
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र बरौली के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ विजय कुमार यादव ने बताया कि संक्रमित क्युलेक्स मच्छर के काटने से फैलेने वाला यह एक भयावह रोग है। जिसमें एक बार शारीरिक अंगों में सूजन आ जाए तो कोई उपचार या ऑपरेशन सफल नहीं होता। चुकी इसकी पहचान सूजन आने से होती है, जिसका उपचार नहीं हो पाता है। अतः बचाव ही इसका एकमात्र उपचार है। उन्होंने बताया कि फाइलेरिया रोधी दवाएं स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा घर-घर जाकर, अपने सामने निःशुल्क खिलाएंगी। यह दवाएं पूरी तरह सुरक्षित हैं। किसी भी स्थिति में दवाओं का वितरण नहीं किया जायेगा। दवाई का सेवन खाली पेट नहीं करना है। 2 वर्ष से कम उम्र के बच्चों, गर्भवती महिलाओं और अति गंभीर रूप से बीमार व्यक्तियों को फाइलेरिया रोधी दवाएं नहीं खिलाई जाएगी।
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