अधीर रंजन चौधरी लोकसभा से निलंबित,क्यों?
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
मानसून सत्र के आखिरी दिन शुक्रवार को संसद में लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष अधीर रंजन चौधरी का सस्पेंशन हो गया। इसके विरोध में विपक्ष के नेताओं ने दोनों सदनों में हंगामा किया। I.N.D.I.A. के सांसदों ने लोकसभा की कार्यवाही का बहिष्कार करने का फैसला लिया। बाद में सदन की कार्यवाही को अनिश्चितकाल के लिए स्थगित कर दिया गया।
इसके बाद दोपहर डेढ़ बजे विपक्षी सांसदों ने संसद परिसर में मार्च निकाला। इस प्रदर्शन में सोनिया गांधी, राहुल गांधी समेत सभी विपक्षी सांसद शामिल हुए। उधर, राज्यसभा में लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष अधीर रंजन चौधरी के सस्पेंशन का मुद्दा उठा।
इधर, राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने AAP सांसद राघव चड्ढा को निलंबित कर दिया है। सांसद संजय सिंह का निलंबन भी बढ़ा दिया गया है। अधीर रंजन समेत तीनों सांसद विशेषाधिकार समिति की रिपोर्ट आने तक निलंबित रहेंगे।
राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने विपक्षी सदस्यों के निलंबन का मुद्दा उठाया। हाथ जोड़ते हुए सभापति जगदीप धनखड़ से कहा, ‘प्लीज मेरा माइक बंद न करें।’ दरअसल, जैसे ही खड़गे बोलने के लिए उठे सभापति उन्हें रोकने लगे।
खड़गे ने आगे कहा, ‘हम तो इसमें विश्वास रखते हैं कि कल करने का है तो आज करो। आज करने का है तो अभी करो। पल में प्रलय होगा फिर करोगे कब। सर डिबेट में छोटी-मोटी बात होती रहती हैं। जब एक-दूसरे के विषय में कहते हैं, अगर वह अनपार्लियामेंट्री है, किसी को दुखी करता है तो उसे आप कह सकते हैं कि ये अनपार्लियामेंट्री है। ये ठीक नहीं है।
लेकिन वहां (लोकसभा में) हमारे अधीर रंजन चौधरी साहब को निलंबित किया गया। वो बेहद हल्का मामला था। उन्होंने इतना ही बोला ‘नीरव मोदी’। नीरव मतलब शांत। साइलेंट। वो नीरव मोदी बोले। इसलिए आप उसे सस्पेंड करते हैं।’
खड़गे ने कहा, दिल की बात करूंगा, मन की बात तो मोदी जी करते हैं
इस बीच सदन में उन सांसदों को विदाई दी गई, जिनका कार्यकाल खत्म हो रहा है। सभापति जगदीप धनखड़ के बाद नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने विदाई दी। खड़गे ने सभापति से कहा ‘पता नहीं कि दोबारा हम मिलेंगे या नहीं, हमारी उम्र हो रही है।’
जब सभापति ने कहा कि अपने मन की बात कीजिए तो खड़गे ने कहा कि दिल की बात करूंगा, मन की बात तो मोदी जी करते हैं। इस पर सभापति ने कहा कि दिल से मन की बात कर लीजिए।
अधीर रंजन चौधरी के सस्पेंशन पर किसने-क्या कहा…
- संसद में किसी को भी किसी भी वक्त निलंबित किया जा सकता है, वही आज की संसद है। यह संसद में सत्तारूढ़ पीठों की इच्छाओं को एकतरफा थोपने का स्थान बन गया है। -CPI सांसद बिनॉय विश्वम
- मुझे अफसोस है कि उन्होंने आखिरी दिन (संसद सत्र के) एक अच्छे सदस्य को निलंबित किया। -नेशनल कांफ्रेंस सांसद फारूक अब्दुल्ला
- अधीर रंजन चौधरी का निलंबन संसद में तानाशाही और संख्या का दुरुपयोग है। -कांग्रेस सांसद प्रमोद तिवारी
- मैंने उन्हें (अधीर रंजन चौधरी) उसी समय कहा कि माफी मांगें और खेद व्यक्त करें, लेकिन उन्होंने कुछ नहीं किया…यह फैसला करना स्पीकर पर निर्भर करता है। -संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी
- संसद में उच्च पद पर बैठे नेताओं पर अशोभनीय टिप्पणी करना और चेतावनी के बाद भी बिना माफी मांगे लगातार ऐसा करना ठीक नहीं है। सरकारें आएंगी और जाएंगी, लेकिन भारत का संविधान रहेगा। -भाजपा सांसद रमेश बिधूड़ी
- संविधान की धारा 105(1) के तहत, हर सांसद को संसद में बोलने की स्वतंत्रता है। यदि बहुमत की शक्ति का दुरुपयोग करके किसी भी सांसद को इस प्रकार निलंबित किया जाए, तो यह लोकतंत्र के लिए अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है। यह सुप्रीम कोर्ट जाने के लिए उपयुक्त मामला है। -कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी
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