आम आदमी हो या प्रधानमंत्री, संविधान सभी के लिए एक- CM रेवंत रेड्डी

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श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

पुष्पा 2 फिल्म के प्रीमियर के दौरान महिला की मौत के मामले में आज निचली अदालत ने एक्टर अल्लू अर्जुन को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेजने का फैसला किया। हालांकि, तेलंगाना हाईकोर्ट ने शाम को उन्हें जमानत दे दी।

रेवंत रेड्डी ने क्या कहा?

तेलंगाना के मुख्यमंत्री रेवंत रेड्डी ने भी अल्लू अर्जुन की गिरफ्तारी पर आज प्रतिक्रिया दी। एक टीवी चैनल से बातचीत के दौरान कहा कि इस देश में आम आदमी से लेकर प्रधानमंत्री तक के लिए संविधान एक समान है। संविधान में सभी लोगों के लिए एक समान कानून और नियम हैं।
पुष्पा 2 रिलीज में पहले दिन हमने 300 रुपये टिकट बेचने की इजाजत दी थी। उसका बेनिफिट शो बनाया 1300 में टिकट बेचे गए। वहां पर कोई व्यवस्था नहीं थी। एक महिला की जान चली गई। उनका बेटा 13 जिंदगी से अस्पताल में है।

हमारे लिए अपराधी का पता लगाना जरूरी: रेवंत रेड्डी

इस मामले में जनता की चली गई। अगर किसी पर केस नहीं लगाएं तो बोला जाएगा कि सिनेमा एक्टर के लिए नया संविधान बना दिया गया आम आदमी होता तो एक दिन में जेल में डाल देती। हमारी सरकार के लिए क्राइम के जिम्मेदार का पता लगाना ही जरूरी है.
पुष्पा 2 फिल्म की स्क्रीनिंग के दौरान 4 दिसंबर को हैदराबाद में भगदड़ मच गई थी। इस भगदड़ में एक महिला की मौत हो गई थी। महिला की मौत के मामले पर आज एक निचली अदालत ने अल्लू अर्जुन को 14 दिनों की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। हालांकि, शाम को तेलंगाना हाईकोर्ट ने उन्हें जमानत दे दी।
4 दिसंबर की मची भगदड़ को लेकर हैदराबाद पुलिस ने शुक्रवार को मीडिया के सामने स्पष्टीकरण दी।  पुलिस ने आरोप लगाया कि अभिनेता की हरकतों के कारण भगदड़ मच गई और बाद में एक महिला की मौत हो गई।

अल्लू अर्जुन के प्राइवेट गार्ड ने लोगों को मारा धक्का: पुलिस

हैदराबाद सेंट्रल जोन के डिप्टी कमिश्नर ऑफ पुलिस (DCP) ने कहा कि “वह (अल्लू अर्जुन) थिएटर में आए अपनी कार के सनरूफ से बाहर आए और वहां एकत्रित जनता की ओर हाथ हिलाना शुरू कर दिया। इस इशारे ने बहुत से लोगों को थिएटर के मुख्य द्वार की ओर आकर्षित किया। उसी समय उनकी प्राइवेट गार्ड ने लोगों को अंदर धकेलना शुरू कर दिया उनके वाहन के लिए रास्ता बनाएं।

 उनकी टीम को एक बड़ी सार्वजनिक सभा का हवाला देते हुए उन्हें वापस ले जाने के लिए सूचित किया गया था, लेकिन उन्होंने इस पर कार्रवाई नहीं की और अल्लू अर्जुन दो घंटे से अधिक समय तक थिएटर के अंदर थे।

आयोजक ने किसी अधिकारी से मुलाकात नहीं की: पुलिस

संध्या सिने एंटरप्राइज ने 2 दिसंबर को हैदराबाद पुलिस से ‘पुष्पा-2’ की रिलीज के सिलसिले में 4 और 5 दिसंबर को बंदोबस्त की व्यवस्था करने का अनुरोध किया था। पुलिस ने कहा कि आयोजक ने किसी अधिकारी से मुलाकात नहीं की और बस पत्र सौंप दिया। पुलिस ने यह भी कहा कि अभिनेता के आने तक भीड़ काफी हद तक नियंत्रण में थी।

“विशिष्ट मामलों में जहां भारी भीड़ की उम्मीद है या कोई लोकप्रिय व्यक्तित्व दौरा कर रहा है, आयोजक व्यक्तिगत रूप से पुलिस स्टेशन / एसीपी / डीसीपी कार्यालय का दौरा करता है और कार्यक्रम के बारे में जानकारी देता है, जिसके आधार पर हम बंदोबस्त प्रदान करते हैं।
हैदराबाद पुलिस ने अल्लू अर्जुन की गिरफ्तारी के दौरान पुलिस द्वारा दुर्व्यवहार के आरोप को भी खारिज किया। उन्होंने कहा, “जब पुलिस उनके घर पहुंची, तो उन्होंने कपड़े बदलने के लिए समय मांगा। पुलिसकर्मी उनके कमरे के बाहर इंतजार करते रहे और अभिनेता खुद बाहर आकर पुलिस गाड़ी में बैठे। उनके साथ कोई बल प्रयोग या दुर्व्यवहार नहीं किया गया। उन्हें परिवार से बात करने का पूरा समय दिया गया।”
हैदराबाद सिटी के सेंट्रल जोन के डिप्टी पुलिस कमिश्नर की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि मीडिया में एक पत्र चल रहा है जिसमें कहा गया है कि अल्लू अर्जुन की फिल्म ‘पुष्पा-2’ की रिलीज के लिए चार और पांच दिसंबर को पुलिस बंदोबस्त करने का अनुरोध पत्र भेजा गया था। यह पत्र सांध्य सिने इंटरप्राइज 70 एमएम की ओर से एसीपी चिक्काड़पल्ली को भेजा गया।

एक्टर के आने के बाद मची भगदड़- पुलिस

पुलिस ने कहा, पुष्पा-2 के लिए हमें कुछ राजनीतिक हस्तियों, फिल्मी हस्तियों, धार्मिक कार्यक्रमों आदि के दौरे का हवाला देते हुए बंदोबस्त के लिए बहुत सारे अनुरोध प्राप्त होते हैं, हालांकि, ये सब चीजें उपलब्ध करना हमारे संसाधनों से परे है।

पुलिस ने ये भी कहा कि आयोजक ने किसी अधिकारी से मुलाकात नहीं की और बस पत्र सौंप दिया। पुलिस ने  कहा कि अभिनेता के आने तक भीड़ काफी हद तक नियंत्रण में थी।

अल्लू अर्जुन की हरकतों की वजह से हुआ ऐसा

पुलिस ने आरोप लगाया कि उनके (अभिनेता) के कार्यों के कारण संध्या थिएटर की घटना हुई और बाद में एक महिला की मौत हो गई। पुलिस ने कहा, वह बाद वह थिएटर में आए, अपनी गाड़ी के सनरूफ से बाहर आए और वहां एकत्रित जनता की ओर हाथ हिलाना शुरू कर दिया।

इस इशारे ने बहुत से लोगों को थिएटर के मेन गेट की ओर आकर्षित किया। उसी समय, उनकी सिक्योरिटी ने लोगों को अंदर धकेलना शुरू कर दिया उनके वाहन के लिए रास्ता बनाया जाए। उनकी टीम को एक बड़ी सार्वजनिक सभा का हवाला देते हुए उन्हें वापस ले जाने के लिए सूचित किया गया था, लेकिन उन्होंने इस पर कोई कार्रवाई नहीं की और अल्लू अर्जुन दो घंटे से अधिक समय तक थिएटर के अंदर थे।

क्या पुलिस ने अल्लू अर्जुन के साथ किया दुर्व्यवहार?

हैदराबाद पुलिस ने उन आरोपों को भी खारिज कर दिया कि गिरफ्तारी के समय पुलिस कर्मियों ने अल्लू अर्जुन के साथ दुर्व्यवहार किया था। पुलिस ने इस मामले में कहा, यह भी सच नहीं है। पुलिस जब एक्टर के घर पहुंची, तो उन्होंने अपने कपड़े बदलने के लिए कुछ वक्त मांगा।
इसके बाद वह अपने बेडरूम में चले गए, पुलिस कर्मी घर के बाहर उनका इंतजार करते रहे जब वह घर से बाहर आए तो उन्हें हिरासत में ले लिया गया। किसी भी पुलिसकर्मी की तरफ से उनके साथ कोई बल प्रयोग या दुर्व्यवहार नहीं किया गया। उन्हें अपने परिवार और पत्नी के साथ बातचीत करने के लिए पर्याप्त समय दिया गया और वह खुद बाहर आए और पुलिस वाहन में प्रवेश किया।

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