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मातृभाषा में शिक्षा को किस तरह प्रोत्साहित किया जाए ?

मातृभाषा में शिक्षा को किस तरह प्रोत्साहित किया जाए ? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क स्वाधीनता की 75वीं वर्षगांठ पर यह विचार करने की जरूरत है कि छात्रों को देश के विभिन्न क्षेत्रों की सामाजिक एवं सांस्कृतिक विविधताओं और जीवन-मूल्यों का बोध कराने के साथ-साथ मातृभाषा में तकनीकी विषयों की शिक्षा को किस तरह प्रोत्साहित किया…

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क्या सचमुच हम विकसित हुए हैं या यह केवल एक छलावा है ?

क्या सचमुच हम विकसित हुए हैं या यह केवल एक छलावा है ? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क कभी नेनुँआ टाटी पे चढ़ के रसोई के दो महीने का इंतज़ाम कर देता था। कभी खपरैल की छत पे चढ़ी लौकी महीना भर निकाल देती थी, कभी बैसाख में दाल और भतुआ से बनाई सूखी कोहड़ौरी, सावन…

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टूट गए है माला मोती बिखर चले…..

टूट गए है माला मोती बिखर चले…… श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क एकता वह शक्ति है, जिसके आगे सारी शक्तियां फीकी हैं। कोई भी देश अपने लोगों की एकता और एकजुटता से ही बड़ा बनता है। देश की इसी शक्ति को हमारे प्रधानमंत्री जगाना चाहते हैं। अपने हर संबोधन में वे ‘देश के 130 करोड़ भारतवासियों’…

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इंटरनेट से उत्पन्न भविष्य की चिंताओं की पड़ताल करती पुस्तक ” इंटरनेट की बदनाम दुनिया “

इंटरनेट से उत्पन्न भविष्य की चिंताओं की पड़ताल करती पुस्तक ” इंटरनेट की बदनाम दुनिया “ प्रतीक्षा खत्म हुई, मेरी दूसरी पुस्तक ‘इंटरनेट की बदनाम दुनिया’ छप कर आ गई-राकेश प्रवीर श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क ” इंटरनेट ” अग्नि की वो लौ है जिससे यदि हम अपने घर-आंगन को ज्ञान की दुनिया से रोशन कर…

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लोकमंथन 2022ः लोक परंपरा में शक्ति की अवधारणा पर वक्ताओं ने रखे विचार

लोकमंथन 2022ः लोक परंपरा में शक्ति की अवधारणा पर वक्ताओं ने रखे विचार महामंडलेश्वर माता पवित्रानंद गिरी ने अपने जीवन के कुछ पहलुओं का किया उल्लेख एक दूसरे से जुड़ी हुई हैं समाज में शक्ति की अवधारणाएंः सोनल मानसिंह श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क राज्यसभा सदस्य एवं प्रख्यात नृत्यांगना सोनल मानसिंह ने चार दिवसीय लोकमंथन-2022 में…

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भारतवर्ष के कण-कण में लोक निहित है- आरिफ मोहम्मद खान

भारतवर्ष के कण-कण में लोक निहित है- आरिफ मोहम्मद खान पश्चिमीकरण ने हमें तोड़ दिया है- तेमजेन इम्ना उत्तर-पूर्वी भारत मिनी भारत है- प्रो. परिमल भट्टाचार्य श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क गुवाहाटी महानगर स्थित श्रीमंत शंकरदेव कलाक्षेत्र के प्रेक्षागृह में चार दिवसीय लोकमंथन-2022 नामक सांस्कृतिक संध्या एवं प्रदर्शनी के चौथे एवं अंतिम दिन आयोजित समापन समारोह…

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हम हिंदी को क्यों स्वीकार कर रहे हैं ?

हम हिंदी को क्यों स्वीकार कर रहे हैं ?  श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क हम हिंदी को क्यों स्वीकार कर रहे हैं? इसलिए नहीं कि वह सबसे उत्कृष्ट भारतीय भाषा है। हम उसे मुख्यत: इस कारण स्वीकार कर रहे हैं कि इस भाषा के बोलने वालों की संख्या अन्य किसी भाषा के बोलने वालों की संख्या…

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बेटियां न हों तो यह संसार ही थम जाएगा,कैसे ?

बेटियां न हों तो यह संसार ही थम जाएगा,कैसे ? राष्ट्रीय बेटी दिवस कब और क्यों मनाया जाता है? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क बेटी शब्द में पूरी कायनात समाई  है। पिता का ख्वाब तो बेटी मां की भी परछाई है। बेटियां न हों तो यह संसार ही थम जाएगा। अगर यह कहा जाए कि बेटी…

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आखिर क्या है मोहन भागवत के मस्जिद जाने के मायने ?

आखिर क्या है मोहन भागवत के मस्जिद जाने के मायने ? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत और अखिल भारतीय इमाम संघ के प्रमुख इमाम उमर इलियासी दोनों ही हार्दिक बधाई के पात्र हैं। इन दोनों सज्जनों ने जो पहल की है, वह ऐतिहासिक है। इलियासी ने दावत दी…

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क्या एक बार पुनः असम आना ही होगा !

क्या एक बार पुनः असम आना ही होगा ! यात्रा वृतांत राजेश पाण्डेय की लेखनी से श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क असम एक बार पुनः आना ही होगा। लोकमंथन-2022 में भाग लेने हेतु गुवाहाटी आना हुआ, लेकिन किंवदंती के अनुसार हमारी आत्मायें वहीं ठहर गई है, इस पहले सफर में पहाड़ी ढलानों पर उगे पेड़ों और…

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भगवान को अपना केस खुद क्यों लड़ना पड़ता है?

भगवान को अपना केस खुद क्यों लड़ना पड़ता है? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क बॉलीवुड के फिल्म ओ माय गॉड जरूर देखी होगी। इस फिल्म में अभिनेता परेश रावल कांजी लाल का किरदार निभाया था। जिसमें अपनी दुकान भूकंप की वजह से टूटने पर भगवान को दोषी ठहराया था। इसके साथ ही नुकसान की भरपाई के…

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मां तुम तो बस मां हो……

मां तुम तो बस मां हो…… मां की ममता की महानता को ही संदर्भित है जीवित्पुत्रिका व्रत सनातन संस्कृति में मां की महिमा को सुप्रतिष्ठित करता है जिउतिया का महापर्व ✍️गणेश दत्त पाठक श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क 24 घंटे की अवधि। न अन्न का एक दाना, न पानी की एक बूंद।निर्जल, निराहार काया। बस कथाओं…

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हमें अपना गेहूं-चावल क्यों बचाना चाहिए ?

हमें अपना गेहूं-चावल क्यों बचाना चाहिए ? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क टूटे चावल के निर्यात पर पूरी तरह रोक लगाने और कुछ किस्मों के चावल के निर्यात पर 20 फीसदी शुल्क लगाने का केंद्र सरकार ने समझदारी भरा फैसला लिया है। यह अच्छी बात है कि कारोबारियों की सुनने के बजाय सरकार ने आम लोगों के…

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क्या राष्ट्रीय शिक्षा नीति में भारतीय भाषाओं को प्राथमिकता देने की बात है ?

क्या राष्ट्रीय शिक्षा नीति में भारतीय भाषाओं को प्राथमिकता देने की बात है ? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क  उपराष्ट्रपति के पद से वेंकैयानायडू का विदाई समारोह चल रहा था। सभी गणमान्य अतिथियों की उपस्थिति में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी वेंकैया जी के राजनीतिक गुणों की चर्चा कर रहे थे। राजनीतिक गुणों के बाद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी…

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क्यों घर में नहीं पहनने चाहिए जूते-चप्पल ?

क्यों घर में नहीं पहनने चाहिए जूते-चप्पल ? श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क वास्तु शास्त्र घर की हर चीजों और घर की हर दिशा को लेकर अहम माना जाता है. ऐसे में यदि गलत दिशा में गलत चीज रख दी जाए तो उसका अशुभ प्रभाव पड़ता है. जिससे आपके करियर, आर्थिक स्थिति, सेहत, मैरिड लाइफ आदि सभी…

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