गर्भवती महिलाओं को पोषण परामर्श के लिए बी कोठी, के नगर एवं डगरुआ में काउंटर शुरू
पोषण माह के दौरान पीएमएसएमए अभियान में आएगी तेज़ी: सिविल सर्जन
गर्भावस्था के दौरान सबसे अधिक पोषक तत्वों की होती है आवश्यकता: डीपीओ
गर्भावस्था के दौरान नियमित रूप से चेकअप कराना अनिवार्य: डिटीएल
प्रसव के बाद सरकार की ओर से मिलती है सरकारी सुविधाएं: डीपीएचओ
श्रीनारद मीडिया, पूर्णिया, (बिहार):
पोषण माह के अवसर पर गर्भवती महिलाओं को पोषण से संबंधित परामर्श देने के लिए बी कोठी, के नगर एवं डगरुआ में आईसीडीएस द्वारा काउंटर का शुभारंभ किया गया। इससे प्रधानमंत्री सुरक्षित मातृत्व अभियान को गति देने के उद्देश्य से जिले के सभी स्वास्थ्य केंद्रों में गर्भवती महिलाओं को प्रसव पूर्व जांच अभियान में तेजी आएगी। पीएमएसएमए के तहत शत प्रतिशत गर्भवती महिलाओं के पोषण से संबंधित जानकारियों को बढ़ाने के उद्देश्य से ज़िले के तीन प्रखंडों यथा धमदाहा, बायसी एवं कसबा स्वास्थ्य केंद्र में स्वास्थ्य विभाग एवं आईसीडीएस के सहयोग से केयर इंडिया द्वारा तीनों स्वास्थ्य केंद्रों में पोषण परामर्श केंद्र की स्थापना पायलट प्रोजेक्ट के रूप में की गई थी। अब ज़िले के तीन प्रखंडों में पुनः इसकी शुरुआत की गई है।
पोषण माह के दौरान पीएमएसएमए अभियान में आएगी तेज़ी: सिविल सर्जन
सिविल सर्जन डॉ एसके वर्मा ने बताया कि ज़िले के सभी स्वास्थ्य संस्थानों सहित हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर, हेल्थ सब सेंटर सहित अन्य संस्थानों में जांच को लेकर विशेष रूप से इंतजाम किया गया है। इससे एक ही जगह पर सभी तरह की जांच संभव हो सकेगा। पीएमएसएमए अभियान में ज़िले की सभी आशा, एएनएम व आंगनबाड़ी सेविकाओं के माध्यम से पोषक क्षेत्रों में जागरूकता अभियान संचालित करते हुए जांच के लिए गर्भवती महिलाओं को चिह्नित किया जाता है।
गर्भावस्था के दौरान सबसे अधिक पोषक तत्वों की होती है आवश्यकता: डीपीओ
आईसीडीएस की डीपीओ राखी कुमारी ने बताया कि जिले के सभी आंगनबाड़ी केंद्रों की सेविकाओं द्वारा अपने-अपने पोषक क्षेत्रों की गर्भवती महिलाओं को पूरे नौ महीने के गर्भकाल में पोषणयुक्त पोषाहार जैसे: ताजे फल, हरी सब्जियां आदि खाने की जानकारी देने के साथ नियमित स्वास्थ्य जांच का भी संदेश दिया जाता है। जिससे गर्भवती महिला और उसके होने वाले बच्चे सुरक्षित एवं स्वस्थ रह सकें।
गर्भावस्था के दौरान नियमित रूप से चेकअप कराना अनिवार्य: डिटीएल
केयर इंडिया के डिटीएल आलोक पटनायक ने बताया गर्भवती महिलाओं को गर्भावस्था की पुष्टि के बाद से ही नजदीकी स्वास्थ्य केंद्रों में पदस्थापित महिला चिकित्सकों के संपर्क में लगातार रहने की आवश्यकता होती है। नियमित रूप से अपना चेकअप कराते रहने से जच्चा व बच्चा पूरी तरह से स्वस्थ रहता है। गर्भावस्था के आखिरी महीनों में महिलाओं को सबसे ज़्यादा पोषक तत्वों की आवश्यकता होती है।
प्रसव के बाद सरकार की ओर से मिलती है सरकारी सुविधाएं: डीपीएचओ
केयर इंडिया के जिला जनस्वास्थ्य अधिकारी सोमेन अधिकारी ने बताया कि गर्भवती महिलाओं को अपने आहार में प्रोटीन, विटामिन, कार्बोहाइड्रेट के साथ वसा को शामिल करना चाहिए। गर्भवती महिलाओं को आंगनबाड़ी सेविकाओं से प्रसव पूर्व देखभाल, एनीमिया की रोकथाम आदि की भी जानकारी लेकर उसके लिए सतर्क रहना चाहिए। इसके साथ ही गर्भावस्था के बाद मिलने वाली सरकारी सहायता जैसे: प्रधानमंत्री मातृत्व वंदना योजना, जननी सुरक्षा योजना, मातृ शिशु सुरक्षा कार्ड की जानकारी के साथ इसका लाभ उठाना चाहिए।
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