Notice: Function _load_textdomain_just_in_time was called incorrectly. Translation loading for the newsmatic domain was triggered too early. This is usually an indicator for some code in the plugin or theme running too early. Translations should be loaded at the init action or later. Please see Debugging in WordPress for more information. (This message was added in version 6.7.0.) in /home/imagequo/domains/shrinaradmedia.com/public_html/wp-includes/functions.php on line 6121
बिपरजॉय तूफान से तटीय इलाकों भारी तबाही के साथ भारी बारिश का दौर - श्रीनारद मीडिया

बिपरजॉय तूफान से तटीय इलाकों भारी तबाही के साथ भारी बारिश का दौर

बिपरजॉय तूफान से तटीय इलाकों भारी तबाही के साथ भारी बारिश का दौर

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
priyranjan singh
IMG-20250312-WA0002
IMG-20250313-WA0003
previous arrow
next arrow

श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

अरब सागर में बना चक्रवात बिपरजॉय गुरुवार शाम गुजरात के तटों से टकरा गया। इसका असर कच्छ-सौराष्ट्र समेत 8 जिलों में रहा। यहां किसानों और पशुपालकों को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है। आम और खजूर के कई बगीचे तबाह हो गए हैं।

940 गांवों की बिजली गुल, सैकड़ों पेड़ उखड़े
जामनगर और द्वारका में कई मोबाइल टॉवरों को नुकसान पहुंचा है। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक 500 से ज्यादा पेड़ और 300 से ज्यादा बिजली के खंभे गिरे हैं। 940 गांवों में बिजली आपूर्ति ठप हो गई है। 4600 ग्रामीण इलाकों का शहरी क्षेत्र से संपर्क टूट गया है।

कच्छ में NDRF ने 45 लोगों को बचाया
कच्छ में गुरुवार शाम से ही जोरदार बारिश शुरू हो गई थी। जिले के लखपत गांव में कई घरों के डूबने से 45 से ज्यादा लोग फंस गए थे। सूचना मिलते ही NDRF की टीमें पहुंचीं और इन्हें सुरक्षित निकाल लिया। वहीं, जखौ तट पर ड्यूटी पर तैनात पीएसओ अनिल जोशी की हार्ट अटैक से मौत हो गई।

 चक्रवात से प्रभावित गुजरात का हाल…

कच्छ जिले के चित्राड गांव में हवाओं से गिरा पेड़।
कच्छ जिले के चित्राड गांव में हवाओं से गिरा पेड़।
कच्छ के बाढ़ग्रस्त इलाकों से लोगों का रेस्क्यू करती NDRF की टीमें।
कच्छ के बाढ़ग्रस्त इलाकों से लोगों का रेस्क्यू करती NDRF की टीमें।
जामनगर में एक घर पर गिरा बिजली का पोल। तूफान के खतरे को देखते हुए इलाके में दोपहर से ही बिजली काट दी गई थी।
जामनगर में एक घर पर गिरा बिजली का पोल। तूफान के खतरे को देखते हुए इलाके में दोपहर से ही बिजली काट दी गई थी।
जामनगर में एक ट्रांसफॉर्मर जमींदोज हो गया। इलाका पहले ही खाली करा लिया गया था।
जामनगर में एक ट्रांसफॉर्मर जमींदोज हो गया। इलाका पहले ही खाली करा लिया गया था।
द्वारका में एक कच्चे मकान की पूरी छत उड़ गई।
द्वारका में एक कच्चे मकान की पूरी छत उड़ गई।
जखौ में तेज हवाओं के साथ हो रही मूसलाधार बारिश के बीच मरीज को अस्पताल ले जाती एंबुलेंस।
जखौ में तेज हवाओं के साथ हो रही मूसलाधार बारिश के बीच मरीज को अस्पताल ले जाती एंबुलेंस।
कच्छ के मांडवी में JCB से नाली बनाई जा रही है, ताकि इकट्‌ठा हुआ पानी निकाला जा सके।
कच्छ के मांडवी में JCB से नाली बनाई जा रही है, ताकि इकट्‌ठा हुआ पानी निकाला जा सके।
कच्छ में तेज हवाओं से एक पेट्रोल पंप का आधा शेड ही उड़ गया।
कच्छ में तेज हवाओं से एक पेट्रोल पंप का आधा शेड ही उड़ गया।
भावनगर में एक गड्ढे में गिरने से 20 से ज्यादा बकरे-बकरियों की मौत हो गई।
भावनगर में एक गड्ढे में गिरने से 20 से ज्यादा बकरे-बकरियों की मौत हो गई।
भावनगर में माता सर्कल इलाके में भरा बारिश का पानी।
भावनगर में माता सर्कल इलाके में भरा बारिश का पानी।
जामनगर में एंबुलेंस के लिए रास्ता बनाने सड़क से पेड़ हटाते हुए स्थानीय लोग।
जामनगर में एंबुलेंस के लिए रास्ता बनाने सड़क से पेड़ हटाते हुए स्थानीय लोग।
राजकोट में तेज हवाओं और बारिश के चलते एक ट्रैक्टर पलट गया।
राजकोट में तेज हवाओं और बारिश के चलते एक ट्रैक्टर पलट गया।
राधनपुर में एक विशालकाय पेड़ के हाईवे पर गिर जाने से वाहनों की आवाजाही रुक गई।
राधनपुर में एक विशालकाय पेड़ के हाईवे पर गिर जाने से वाहनों की आवाजाही रुक गई।
राजकोट के पापटपारा के अंडरब्रिज में पानी भरा हुआ है, जिससे दोनों ओर से वाहनों की आवाजाही बंद हो गई है।
राजकोट के पापटपारा के अंडरब्रिज में पानी भरा हुआ है, जिससे दोनों ओर से वाहनों की आवाजाही बंद हो गई है।

बिपरजॉय तूफान के कारण गुजरात में इंडो-पाक बॉर्डर पर स्थित नडाबेट में गुरुवार रात तेज हवाओं के साथ मूसलाधार बारिश हुई। इससे कच्छ के रेगिस्तान में पहली बार बाढ़ आ गई है। नडाबेट पर्यटन स्थल पर लगे सोलर पैनल गिर गए हैं। यहां अब भी 90-100 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवा चल रही है। नडाबेट में अब भी रुक-रुककर बारिश हो रही है।

यह नजारा इंडो-पाक बॉर्डर पर स्थित नडाबेट का है। यहां आम दिनों में रेगिस्तान नजर आता है, लेकिन बिपरजॉय तूफान के कारण हुई मूसलाधार बारिश ने इसे तालाब में तब्दील कर दिया।
तेज हवा और बारिश के कारण नडाबेड बार्डर पर विजिबिलिटी भी कम हो गई है। इसकी वजह से BSF के जवान रस्सी पकड़कर पेट्रोलिंग कर रहे हैं।
तेज हवा और बारिश के कारण नडाबेड बार्डर पर विजिबिलिटी भी कम हो गई है। इसकी वजह से BSF के जवान रस्सी पकड़कर पेट्रोलिंग कर रहे हैं।
तूफान गुजर जाने के बाद भी यहां रुक-रुककर बारिश हो रही है और तेज हवाएं चल रही हैं।
तूफान गुजर जाने के बाद भी यहां रुक-रुककर बारिश हो रही है और तेज हवाएं चल रही हैं।

जामनगर के सीदसर गांव का डैम ओवरफ्लो
जामनगर जिले की कई स्थानीय नदियों में बाढ़ आने से सीदसर गांव के पास स्थित उमिया बांध ओवरफ्लो हो गया है। इसके लिए डैम के आसपास अलर्ट जारी किया गया है। सुबह इस डैम का एक गेट खोल दिया गया। इसके बाद ​​​​​​​उपलेटा तालुका के हरियासन, चरेलिया, खर्चिया, रजपारा, रबारिका और जर गांवों के लोगों को सावधान रहने के निर्देश दिए गए हैं।

जामनगर में भारी बारिश से सड़कें डूब गई हैं। मौसम खराब होने से लोग घरों में कैद हैं।
जामनगर में भारी बारिश से सड़कें डूब गई हैं। मौसम खराब होने से लोग घरों में कैद हैं।

अंबाजी में सड़कों पर पानी भरा, पहिए थमे
दांता तालुका के गांवों में चक्रवात बिपरजोय का असर हर तरफ दिखाई दे रहा है। यात्राधाम अंबाजी में रात 8 बजे से तेज हवाओं के साथ बारिश शुरू हुई, जो अब भी रुक-रुककर जारी है। अंबाजी मंदिर के आसपास के इलाकों में पानी भर जाने से श्रद्धालुओं को सावधानी बरतने की सलाह दी गई है। ओवरफ्लो होने के चलते कई सड़कों पर वाहनों की आवाजाही रोक दी गई है।

संतालपुर के कई इलाके जलमग्न
पाटण जिले की कई तहसीलों में तेज बारिश जारी है। संतालपुर तालुका के कई इलाकों में पानी भर गया है। पेड़ और बिजली के खंभे गिर गए हैं, जिससे इलाके में अंधेरा छाया है। तेज हवा और बारिश से दर्जनों कच्चे मकान ढह गए हैं। राधनपुर और डालडी गांव में भी भारी तबाही हुई है।

राधनपुर में एक बड़ा पेड़ हाईवे पर गिर गया जिससे इस रूट पर ट्रैफिक रोक दिया गया।
राधनपुर में एक बड़ा पेड़ हाईवे पर गिर गया जिससे इस रूट पर ट्रैफिक रोक दिया गया।

राजकोट में तेज हवाओं के साथ बारिश
राजकोट शहर और जिले के गोंडल, जेतपुर, उपलेटा समेत अन्य इलाकों भी देर रात से तेज हवाओं के साथ बारिश हो रही है। इससे कई जगहों पर जलभराव हो गया है। सड़कों पर नदियां बहने जैसा नजारा है। राजकोट शहर के पोपटपारा नाले के उफान पर आने से निचले इलाकों में पानी भर गया है। रेलनगर समेत कई इलाकों का शहर से संपर्क टूट गया है।

द्वारका में सड़कों पर नदिया बहने जैसा नजारा है।
द्वारका में सड़कों पर नदिया बहने जैसा नजारा है।

बनासकांठा में भी भारी बारिश
बनासकांठा के वाव तालुका के कई गांवों में मूसलाधार बारिश से बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। यहां भी तेज हवाओं के चलते कई कच्चे मकानों की छतें उड़ गई हैं। बिजली गुल होने और गांवों में पानी भरा होने से लोगों के लिए भारी परेशानियां खड़ी हो गई हैं। नदियों के उफान पर होने से कई गांवों का बनासकांठा से संपर्क टूट गया है।

अरब सागर में बना चक्रवात बिपरजॉय आखिरकार गुरुवार की शाम गुजरात के तटों से टकरा गया। इससे तटीय इलाकों भारी तबाही के साथ ही कच्छ-सौराष्ट्र समेत कई जिलों में भारी बारिश का दौर शुरू हो गया। भारी बारिश के चलते ही भावनगर में एक पिता और पुत्र की मौत हो गई। वहीं, दूसरी तरफ हवा के झोंकों से एक बच्ची कैनाल में गिर गई, उसे बचाने उतरे भाई की भी पानी में डूबने से मौत हो गई।

बकरे-बकरियों को बचाने में अपनी जान गंवाले वाले 55 साल के रामजी परमार और उनका 22 साल का बेटा राकेश।
बकरे-बकरियों को बचाने में अपनी जान गंवाले वाले 55 साल के रामजी परमार और उनका 22 साल का बेटा राकेश।

पिता-पुत्र की बकरे-बकरियों को बचाते समय गई जान
भावनगर जिले के भंडार गांव में पिता-पुत्र गुरुवार दोपहर अपने बकरे-बकरियों को चराकर घर लौट रहे थे। इस दौरान भी भारी बारिश हो रही थी, जिसके चलते गांव की सड़कों के आसपास भी पानी भर गया था। इसी के चलते बकरे-बकरियों का झुंड पानी से भरे एक गड्ढे में गिर गए।

20 से ज्यादा बकरे-बकरियों की भी मौत
इन्हें बचाने के लिए 55 साल के रामजी परमार और उनका 22 साल का बेटा राकेश भी गड्ढे में उतर गए और पानी में डूबने से दोनों की मौत हो गई। इनके साथ ही 20 से ज्यादा बकरे-बकरियों की भी मौत हो गई। दोनों के काफी देर तक घर न होने के लौटने के चलते गांववालों ने तलाश की तो गड्ढे में दोनों का शव देखा और पुलिस को सूचना दी।

हवा के झोंके से कैनाल से गिर गई थी बच्ची, बहन को बचाते भाई भी डूबा।
हवा के झोंके से कैनाल से गिर गई थी बच्ची, बहन को बचाते भाई भी डूबा।

कैनाल में डूबने से दो बच्चों की मौत
बुधवार को जूनागढ़ के मांगरोल तालुका के शेखपुर गांव में तेज हवाओं के चलते एक 6 साल की बच्ची कैनाल में गिर गई थी। बहन को डूबते देख 8 साल के चचेरे भाई ने कैनाल में छलांग लगा दी, जिससे दोनों की पानी में डूबने से मौत हो गई।

दोनों बच्चे दोपहर करीब 2 बजे कैनाल के पास खेल रहे थे। इसी दौरान तेज हवाओं के चलते 6 वर्षीय कौसर फारूक कैनाल में गिर गई। उसे बचाने 8 साल के चचेरे भाई अरशद ने कैनाल में छलांग लगा दी और दोनों की पानी में डूबने से मौत हो गई।

कच्छ के बाढ़ग्रस्त इलाकों से लोगों का रेस्क्यू करती एनडीआरफी की टीमें।
कच्छ के बाढ़ग्रस्त इलाकों से लोगों का रेस्क्यू करती एनडीआरफी की टीमें।

कच्छ में दो दर्जन से ज्यादा लोग बाढ़ में फंसे, एनडीआरफ ने बचाया
कच्छ में शाम 4 बजे से ही मूसलाधार बारिश शुरू हो गई थी। वहीं, लखपत गांव में कई घरों के डूबने से 45 से ज्यादा लोग पानी में फंस गए थे। सूचना मिलने ही एनडीआरएफ की दो टीम गांव पहुंची और फंसे लोगों को निकालकर सुरक्षित स्थान पर भेजा। वहीं, जखौ तट पर ड्यूटी पर तैनात पीएसओ अनिल जोशी की दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई।

कच्छ के तटीय इलाकों से 47 हजार से ज्यादा लोगों को सुरक्षित जगहों पर शिफ्ट किया गया है।
कच्छ के तटीय इलाकों से 47 हजार से ज्यादा लोगों को सुरक्षित जगहों पर शिफ्ट किया गया है।

96 हजार लोगों को अब तक शिविरों में पहुंचाया
लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचाने के लिए दो दिनों से एनडीआरएफ, सेना और कोस्ट गार्ड की टीमें लगी हुई हैं। अब तक करीब 96 हजार लोगों को सुरक्षित शिविरों में पहुंचाया जा चुका है। इनमें कच्छ से ही 47 हजार से ज्यादा लोग शामिल हैं। चक्रवात प्रभावित 8 जिलों में 1131 गर्भवती महिलाओं को अस्पतालों में भर्ती कराया गया है।

इस दौरान कच्छ में एक नवजात का जन्म भी हुआ। प्रभावितों के लिए खाने, दवाओं और अन्य जरूरी सामान का बंदोबस्त किया जा रहा है। अकेले जामनगर ने ही 50 हजार फूड पैकेट तैयार किए। रेस्क्यू ऑपरेशन के लिए यहां एयरफोर्स के 7 एयरक्राफ्ट तैनात रखे हैं। एनडीआरएफ की 27 टीमें भी तैनात हैं।

गुजरात के मुंद्रा पोर्ट पर गुरुवार शाम को समुद्र की लहरें बड़ी-बड़ी क्रेन्स तक पहुंच गईं थीं।
गुजरात के मुंद्रा पोर्ट पर गुरुवार शाम को समुद्र की लहरें बड़ी-बड़ी क्रेन्स तक पहुंच गईं थीं।

शाम करीब 6:45 बजे कच्छ के जखौ पोर्ट से टकराया तूफान
बता दें, भीषण चक्रवाती तूफान बिपरजॉय गुरुवार शाम करीब 6:45 बजे कच्छ के जखौ पोर्ट और सौराष्ट्र के तटीय क्षेत्रों से टकराया। इन इलाकों में तेज हवा के साथ भारी बारिश हुई। लैंडफॉल की प्रक्रिया आधी रात तक चली। इस दौरान कच्छ के साथ ही देवभूमि द्वारका में भी घने बादलों का डेरा रहा। यह 13 से 14 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ा। एहतियात के तौर पर पूरे गुजरात में शुक्रवार को स्कूल बंद रखने की घोषणा की गई है। तूफान का असर गुजरात के अलावा राजस्थान, महाराष्ट्र, कर्नाटक, लक्षद्वीप, केरल, असम, अरुणाचल, मेघालय में भी दिखा। यहां भी बारिश और तेज हवाएं चलीं। मप्र के भी कुछ इलाकों में हल्की बारिश हुई।

.

Leave a Reply

error: Content is protected !!