आगामी 16 मई को “कनेक्ट विथ कम्युनिटी, कंट्रोल डेंगू” थीम के तहत मनाया जाएगा डेंगू दिवस:
ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के नागरिकों को डेंगू जैसी बीमारी से संबंधित किया जाएगा जागरूक: सिविल सर्जन
विभिन्न स्तरों पर जनजागरूकता कार्यक्रम संचालित करने को लेकर दिया गया आवश्यक दिशा- निर्देश: डॉ दिलीप कुमार
श्रीनारद मीडिया, छपरा, (बिहार):
मच्छर के काटने से होने वाले रोगों में डेंगू बेहद खतरनाक बीमारी है। क्योंकि इस घातक रोग की वजह से प्रत्येक वर्ष देश में हजारों लोगों की मौत हो जाती हैं। हालंकि डेंगू के सबसे अधिक मामले बारिश के दिनों में सामने आते हैं। लिहाजा इस समय डेंगू से बचाव को लेकर ज्यादा एहतियात बरतने की जरूरत होती है। इसी उद्देश्यों को पूरा करने के लिए डेंगू के प्रति सामुदायिक स्तर पर जागरूकता बढ़ाने के लिए प्रत्येक वर्ष 16 मई को राष्ट्रीय स्तर पर डेंगू दिवस मनाया जाता है। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा विभिन्न स्थानों पर आयोजनों के माध्यम से लोगों को इस बीमारी से बचाव से संबंधित उपायों के प्रति जागरूक किया जाता है।
ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों के नागरिकों को डेंगू जैसी बीमारी से संबंधित किया जाएगा जागरूक: सिविल सर्जन
सिविल सर्जन डॉ सागर दुलाल सिन्हा ने बताया कि डेंगू का लार्वा मुख्य रूप से जमे हुए साफ पानी में पैदा होता है। लेकिन मानसून के शुरू होते ही लोगों को डेंगू से ग्रसित होने का संभावना सबसे अधिक होती है। इसलिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा मानसून के शुरुआती दौर में सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर जागरूकता पैदा करने के उद्देश्य से विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम आयोजित कर डेंगू से बचाव और सुरक्षित रहने के लिए जागरूक किया जाता है। इसके लिए सामुदायिक स्तर पर लोगों को रोग के लक्षण, उपचार, प्रतिरोध व सावधानियों की जानकारी दी जाती है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा संबंधित अस्पताल के अलावा जिले के अन्य विभागों यथा- ग्रामीण क्षेत्रों में ग्राम पंचायत, शहरी क्षेत्र में नगर पंचायत, नगर परिषद और नगर निगम को जोड़ कर इसके माध्यम से लोगों को डेंगू से सुरक्षा के लिए जागरूक किया जाएगा।
जनजागरूकता कार्यक्रम संचालन के लिए दिए गए आवश्यक दिशा-निर्देश: डॉ दिलीप कुमार
जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ दिलीप कुमार ने बताया कि आगामी 16 मई को डेंगू दिवस मनाने को लेकर जिले के सभी स्वास्थ्य संस्थानों में जागरूकता गतिविधियों का आयोजन कर लोगों को डेंगू से सुरक्षित रहने के लिए जागरूकता अभियान चलाया जाएगा। हालांकि इस संबध में अपर निदेशक सह वेक्टर जनित रोग नियंत्रण कार्यक्रम के राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी डॉ अशोक कुमार द्वारा सारण जिला सहित राज्य के अन्य सही जिलों के सिविल सर्जन,अपर मुख्य चिकित्सा पदाधिकारी (एसीएमओ) और जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी को पत्र जारी कर राष्ट्रीय डेंगू दिवस के अवसर पर विभिन्न स्तरों पर जनजागरूकता कार्यक्रम संचालित करने को लेकर आवश्यक दिशा-निर्देश दिया गया है।
“कनेक्ट विथ कम्युनिटी, कंट्रोल डेंगू” थीम के तहत मनाया जाएगा डेंगू दिवस: वीडीसीओ
वेक्टर रोग नियंत्रण पदाधिकारी (वीडीसीओ) शशिकांत कुमार ने बताया कि अक्सर डेंगू के लक्षण सामान्य फ्लू या वायरल बुखार से मिलते जुलते होते हैं। इसलिए निम्न लक्षणों के आधार पर इनकी पहचान कर ली जानी चाहिए और सही पहचान के लिए अनिवार्य रूप से रक्त की जांच कराना चाहिए। क्योंकि जनजागरूकता से डेंगू जैसी जानलेवा बीमारी को पूरी तरह नियंत्रित किया जा सकता है। सबसे अहम बात यह है कि डेंगू के मच्छर आम मच्छरों से अलग प्रकार के होते हैं जो दिन के उजाले में काटते हैं। इससे बचाव और सुरक्षित रहने के लिए अपने आसपास मच्छरों को पनपने से रोकने के लिए आसपास के क्षेत्रों को स्वच्छ व सुंदर बनाए रखना चाहिए। नियमित रूप से जलजमाव वाले क्षेत्रों की सफाई करना, एसी, कूलर, फूल का गमला व अन्य जगहों पर पानी जमा नहीं होने देना रोग से बचाव के लिहाज से काफी महत्वपूर्ण होता है।
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