जरूरतमंदों को पढ़ाई की सामग्री दान करना अत्यंत शुभ माना जाता है,कैसे?

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श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

सरस्वती पूजा मनाई जा रही है. माता सरस्वती विद्या और बुद्धि की देवी हैं. इसलिए लिए मां सरस्वती की पूजा छात्रों को जरूर करनी चाहिए. पूजा, उपासना के साथ ही इस दिन पढ़ाई से संबंधित सामग्री, स्टेशनरी के सामान दान करना अत्यंत शुभ माना जाता है. ऐसी मान्यता है कि पढ़ाई-लिखाई या स्टेशनरी के सामान जरूरतमंदों को दान करने से माता सरस्वती प्रसन्न होती हैं और विद्या का वरदान देती हैं. जानें सरस्वती पूजा के दिन क्या दान करना होता है शुभ.

सरस्वती पूजा के दिन इन चीजों का दान करना होता है शुभ

  • मां सरस्वती को विद्या, बुद्धि, गायन, वादन, स्वर की देवी माना जाता है इसलिए सरस्वती पूजा के दिन इनसे जुड़ी वस्तुओं का दान करना अत्यंत शुभ माना जाता है.
  • बसंत पंचमी के दिन विभिन्न स्कूलों और शिक्षण संस्थानों में मां सरस्वती की पूजा होती है. ऐसी जगहों पर जा कर कलम, दवात, पेन, पेंसिल, कॉपी किताब जैसी पढ़ाई से संबंधित वस्तुओं का दान कर अच्छा माना जाता है.
  • स्टेशनरी के सामानों में पेन, पेंसिल, कलर बॉक्स, स्टूमेंट्स, रबर, कलर बॉक्स, स्केल, ज्यॉमेट्री बॉक्स, कलर पेंसिल, कलर पेन, कॉपी, किताब, क्रॉफ्ट पेपर, क्रॉफ्ट शीट, क्रॉफ्ट बॉक्स, स्कूल बैग जैसी कई चीजों में से कुछ भी अपनी पसंद का चुन सकते हैं.
  • सरस्वती पूजा के दिन को अध्ययन की शुरुआत करने का सबसे शुभ दिन माना जाता है ऐसे में नए शिशुओं की पढ़ाई की शुरुआत इस दिन से कर सकते हैं.
  • स्वर, संगीत, ललीत कला, गायन, वादन की देवी मां सरस्वती को माना गया है ऐसे में इस तरह के अध्ययन के कार्य की शुरुआत इस दिन से करना शुभ माना गया है.
  • इस दिन सुबह उठकर स्नान आदि कर पीले वस्त्र धारण करना चाहिए और देवी सरस्वती की पूजा धूप दीप, नौवेद्य, रोली लगाकर करनी चाहिए.
  • सरस्वती माता को पीले पुष्प, पीले वस्त्र अर्पित करने चाहिए और पीले रंग के भोग लगाने चाहिए.
  • बसंत पंचमी के दिन पुस्तकों की पूजा कर उनपर मोरपंख रखना चाहिए. ऐसी मान्यता है कि ऐसा करने से छात्रों का मन पढ़ाई में लगने के साथ ही उनकी एकाग्रता भी बढ़ती है.

इस दिन सूर्य राशि में मकर और बुध के रहने से बुधादित्य योग बन रहा है. साथ ही इस दिन सभी ग्रह चार राशियों में विद्यमान रहेंगे इसलिए केदार योग भी बन रहा है. इन योग में सरस्वती पूजा करना शुभ माना जा रहा है. ऐसे में अगर बसंतमी के दिन माता सरस्वती की आराधना के दौरान उनकी उनकी प्रिय वंदना करेंगे और माता के 108 नाम का जाप करेंगे देवी सरस्वती की कृपा जरूर मिलेगी.

मां सरस्वती को मां दुर्गा का दूसरा स्वरूप ब्रह्माचारिणी कहा जाता है. इनकी पूजा करने से व्यक्ति को बुद्धि, विद्या और ज्ञान की प्राप्ति होती है. छात्र-छात्राएं, नौकरी पेशा और कला क्षेत्र से जुड़े लोगों के लिए मां सरस्वती की पूजा का खास महत्व होता है. कहा जाता है कि सबसे पहले भगवान श्रीकृष्ण ने मां सरस्वती की पूजा की थी.

मां सरस्वती को मां दुर्गा का दूसरा स्वरूप ब्रह्माचारिणी कहा जाता है. इनकी पूजा करने से व्यक्ति को बुद्धि, विद्या और ज्ञान की प्राप्ति होती है. छात्र-छात्राएं, नौकरी पेशा और कला क्षेत्र से जुड़े लोगों के लिए मां सरस्वती की पूजा का खास महत्व होता है. कहा जाता है कि सबसे पहले भगवान श्रीकृष्ण ने मां सरस्वती की पूजा की थी.

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