फिल्म अवैध के सेट से सैकत चटर्जी
भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री को लंबे समय से देखने वाले और हर तरह के किरदारों को जीने का सामर्थ्य रखने वाले कलाकार हैं समर्थ चतुर्वेदी. फिल्म अवैध के सेट पर जब उन्होंने प्रभात खबर से अपनी बातें साझा कीं तो कई तथ्य उभर कर सामने आए. जानिए रंगमंच, फिल्म व सिनेमा को लेकर क्या सोच रखते हैं समर्थ. ओबरा में इन दिनों जोरशोर से भोजपुरी फिल्म अवैध की शूटिंग चल रही है. बिहार के पृष्टभूमि पर बन रही इस फिल्म के निर्देशक है नीरज-रणधीर और मेन कास्ट में खेसारी लाल यादव, यामिनी सिंह व अंतरा दिखेंगी. इस फिल्म में इनके साथ भोजपुरी इंडस्ट्री के सदाबहार एक्टर समर्थ चतुर्वेदी भी नजर आयेंगे. इन दिनों इंडस्ट्री में समर्थ एक ऐसा नाम है जो हर तरह के किरदार को सहजता से निभाने का सामर्थ्य रखते हैं. फिल्म अवैध की सेट पर उन्होंने जब प्रभात खबर से अपनी बातों को साझा किया तो कई बातें उभर कर सामने आईं.
जानिए समर्थ का फिल्मी सफर
भोपाल के रहने वाले समर्थ ने अपने अभिनय जीवन की यात्रा रंगमंच से शुरू की. सन 2001 में बतौर हीरो छत्तीसगढ़ी फिल्म ’परदेशी के मया’ आई जो वहां की सुपर डुपर हिट फिल्म रही. इसी सफलता ने उन्हें मुंबई खींच लाया और 2004 में समर्थ की पहली भोजपुरी फिल्म ’बलमा बड़ा नादान’ आई, नायिका थी दिव्या देसाई ( रश्मि देसाई ). इस फिल्म के निर्देशक भोजपुरी के सुपरस्टार और हिन्दी सिनेमा के जाने माने कलाकार सुजीत कुमार थे. इसके बाद समर्थ ने पीछे मुड़कर नही देखा और एक के बाद एक बतौर हीरो गंगा मइया तोहे चुनरी चढ़ाईबो, गोधन, जय संतोषी मां, होगी प्यार को जीत आई. 2007 में इन्होंने हिंदी फिल्मों में एंट्री मारी और ककटेल द डेडली कॉम्बिनेशन, जिंदगी जलेवी, डांस दोस्ती और प्यार, सीडी कांड जैसी फिल्मों का सिलसिला चल पड़ा. साथ में दूरदर्शन व कलर्स में चैनल में बालिका बधू जैसी सीरियल में भी जलवा दिखा.
2011 से शुरू की नई पारी
जल्द ही समर्थ ने समय को पहचाना और नई पारी खेलने के लिए खुद को तैयार किया. 2011 में निर्देशक शाद कुमार की भोजपुरी फिल्म ’त्रिनेत्र’ से बतौर खलनायक समर्थ ने इस नई पारी की शुरुआत की. इसके बाद ’बीवी नम्बर 1, लाल दुप्पटा मल मल का, टाईगर, संसार, तेरी कसम, बनारस वाली, धरती के लाल करेला कमाल, बेताब, राजा बाबू , बम बम बोल रहा हैं काशी, दरोगा बबुनी, प्रेम के दुश्मन, निरहुआ हिन्दुस्तानी 2’ आदि कई भोजपुरी फिल्मों में अलग-अलग रूप में दिखाई दिए.
संघर्ष 2 और अवैध से है काफी उम्मीद
अभी खेसारी लाल निर्मित-अभिनीत बहुचर्चित फिल्म संघर्ष 2 में समर्थ एक पुलिस के टेक्निकल एक्सपर्ट के रूप में नजर आएंगे, संघर्ष 2 के ट्रेलर अभी जारी करते ही जिस तरह कई मिलियन लोगो ने इसे हाथों हाथ लिया है उससे इस फिल्म को लेकर समर्थ बहुत उत्साहित है. साथ ही अभी निर्माणाधीन अवैध को लेकर भी उन्हें काफी आस है, इस फिल्म में समर्थ एक बहुरंगी नेता के रूप में नजर आयेंगे , इस फिल्म में भी खेसारी के साथ उनका टशन देखने को मिलेगा.
जब 20 साल बाद रंगमंच पर लौटे समर्थ
समर्थ की अभिनय जीवन को शुरुआत भोपाल में रंगमंच से हुई थी जो फिल्मी व्यस्तता के कारण छूटती चली गई. अब जब फिल्मों में एक स्थान बना लिया गया है तो समर्थ 20 साल बाद अपनी पहली महबूबा के पास लौटे और भोपाल में ही एक नाटक की प्रस्तुति की. नाटक था जयंत दलवी लिखित पुरुष, इस नाटक की अपार सफलता से उत्साहित समर्थ और उनकी टीम अब इसका मंचन भोपाल सहित देश के कई हिस्सों में करने जा रहे है. समर्थ ने बताया की फिल्मी व्यस्तता के बीच में नाटक का मंचन मृत प्राय शरीर को अक्सीजेन का डोज मिलने जैसा है. उन्होंने माना की रंगमंच जैसा सुकून और संतोष कही नही मिल सकता.
भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री तेजी से बदल रहा है
समर्थ का मानना है की भोजपुरी फिल्म इंडस्ट्री तेजी से बदल रहा है. एक बदलाव मनोज तिवारी के एंट्री से हुई थी तो दूसरा बदलाव खेसारी की महत्वाकांक्षी फिल्म संघर्ष 2 से होगी. इस फिल्म में जिस तरह से तकनीक का भरपूर और सटीक उपयोग किया गया है उससे आने वाले दिनों में यह इंडस्ट्री में मेकिंग के क्षेत्र में बड़ा बदलाव लाएगा. उन्होंने कहा की जिस तरह से निर्देशक नीरज जी ने फिल्म अवैध में कलाकारों से अभिनय कराया है इससे लगता है की इसके रिलीज के बाद भोजपुरी फिल्म में अभिनय की परंपरागत स्टाइल में बदलाव आयेगा. इसके अलावा भोजपुरी फिल्मों में पुरुष केंद्रित स्टोरीलाइन से हटकर महिला चरित्र के लिए भी स्पेस दिया जा रहा है यह बदलाव का एक शुभ संकेत है.
प्रोड्यूसर हिट गायक के फैन बेस का इस्तेमाल करते है
समर्थ ने कहा की भोजपुरी में गायक ही नायक के मिथ को प्रोड्यूसरों ने जन्म दिया है जो हिट गायकों के विशाल फैन बेस का इस्तेमाल अपनी फिल्मों के प्रदर्शन में करते है. नए जेनरेशन के लोग इस मिथ को तोड़ रहे है. ऐसी फिल्में न सिर्फ आ रही है और हिट भी हो रही है जिसके कोई गायक हीरो नही है, बल्कि नॉन सिंगर ही हीरो है.
अपने अभिनय के लिए समर्थ को मिले हैं कई सम्मान
समर्थ को फिल्मों में अपने दमदार अभिनय के लिए कई पुरस्कार मिले. इनमें फिल्म प्यार तो होना ही था में नायक कल्लू के सेक्रेटरी मुथु स्वामी की कॉमिक रोल के लिए मिले पुरस्कार को समर्थ आज भी याद करते है और कहते हैं को बैलेंस कॉमेडी रोल करना एक कठिन चैलेंज होता है. इसलिए इस रोल में जितने भी पुरस्कार मिले वो खास है. उन्हे 2010 में मध्य प्रदेश शासन के सांस्कृतिक मंत्री के हाथों से ’मध्य प्रदेश गौरव’ सम्मान से भी सम्मानित किया गया था.