फाइलेरिया उन्मूलन कार्यक्रम: एमडीए अभियान में पेशेंट प्लेटफार्म से जुड़े सदस्यों की अहम भूमिका:
विभागीय और अन्य सहयोगी संस्थाओं के द्वारा समय समय पर एमएमडीपी के माध्यम से दिया जाता है प्रशिक्षण: डॉ एमआर रंजन
हाथीपांव की साफ- सफाई और व्यायाम करना एक मात्र विकल्प: एमओआईसी
सीफार के द्वारा फाइलेरिया रोग से पीड़ित मरीजों को एक मंच पर लाकर पेशेंट प्लेटफार्म का किया गया गठन:
श्रीनारद मीडिया, सिवान (बिहार):
आगामी 10 फरवरी से शुरू हो रहे सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम को लेकर स्थानीय जिले सहित लकड़ी नबीगंज प्रखंड क्षेत्र के लोगों को जागरूक करने के उद्देश्य से लकड़ी नबीगंज प्रखंड अंतर्गत गोपालपुर पंचायत के मुसेपुर गांव में स्थानीय वार्ड सदस्य सिवंती देवी की अध्यक्षता में पेशेंट प्लेटफार्म का गठन किया गया। इस अवसर पर सिफार के डीसी जमाल अख़्तर, बीसी राजेश कुमार, आशा फैसलेटर चंदा कुमारी, आशा कार्यकर्ता श्रीकांति देवी, पंच पति बिंदेश्वर पाण्डेय सहित लगभग एक दर्जन से अधिक फाइलेरिया मरीज उपस्थित रहे।
विभागीय और अन्य सहयोगी संस्थाओं के द्वारा समय समय पर एमएमडीपी के माध्यम से दिया जाता है प्रशिक्षण: डॉ एमआर रंजन
जिला वेक्टर जनित रोग नियंत्रण पदाधिकारी डॉ मणिराज रंजन ने बताया कि फाइलेरिया एक मच्छर जनित रोग है, जो यदि किसी को एक बार हो जाए तो जिंदगी में कभी भी ठीक नहीं होता है। लेकिन समय पर जानकारी मिलने के बाद उचित उपचार किया जाए तो इस बीमारी पर आसानी से काबू पाया जा सकता है। क्योंकि फाइलेरिया जैसी बीमारी को परहेज एवं एक्सरसाइज कर काफी हद तक ठीक किया जा सकता है। फाइलेरिया रोग से ग्रस्त मरीजों को साफ- सफाई एवं मच्छरदानी का प्रयोग करने के लिए जागरूक करने के लिए डब्ल्यूएचओ, पीरामल स्वास्थ्य और सेंटर फॉर एडवोकेसी एंड रिसर्च (सीफार) के द्वारा समय समय पर रुग्णता प्रबंधन और विकलांगता की रोकथाम (एमएमडीपी) से संबंधित प्रशिक्षण दिया जाता है।
हाथीपांव की साफ- सफाई और व्यायाम करना एक मात्र विकल्प: एमओआईसी
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र लकड़ी नाबीगंज के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ राजेश रंजन ने बताया कि आगामी 10 फरवरी 2024 से आशा कार्यकर्ताओं के द्वारा फाइलेरिया से बचाव की दवा खिलाई जाएगी। क्योंकि यह दवा हम सभी को स्वास्थ्य कार्यकर्ताओं के सामने खुद तो खाना ही है साथ ही दूसरे को खिलाने के लिए प्रेरित कर खिलाना है। हालांकि यह दवा फाइलेरिया रोग से ग्रसित और जिसको यह रोग नहीं है उसको भी खाना है। ताकि जिसको फाइलेरिया नहीं है उसको यह बीमारी नहीं हो। क्योंकि यह बीमारी क्यूलेक्स मच्छर के काटने से होता है। लेकिन प्रतिदिन हाथीपांव की साफ- सफाई और व्यायाम करना ही एक मात्र विकल्प है। जिस कारण बीमारी को कम किया जा सकता है।
सीफार के द्वारा फाइलेरिया रोग से पीड़ित मरीजों को एक मंच पर लाकर पेशेंट प्लेटफार्म का किया गया गठन: बीएचएम
प्रखंड स्वास्थ्य प्रबंधक राम लक्ष्मण दास ने कहा कि स्थानीय लकड़ी नबीगंज प्रखंड के मुसेपुर गांव में सेंटर फॉर एडवोकेसी एंड रिसर्च (सीफार) के द्वारा फाइलेरिया रोग से पीड़ित मरीजों को एक साथ मंच पर लाकर पेशेंट प्लेटफार्म का गठन किया गया है। साथ ही नवगठित पेशेंट प्लेटफार्म से जुड़े फाइलेरिया बीमारी से ग्रसित मरीजों को आगामी 10 फरवरी से शुरू हो रहे सर्वजन दवा सेवन (एमडीए) कार्यक्रम की जानकारी देते हुए स्थानीय लोगों को इसके लिए जागरूक करने की अपील की गई। पेशेंट प्लेटफार्म के सभी मरीजों के स्वास्थ्य से संबंधित जानकारी लेने के बाद उन्हें स्थानीय सरकारी अस्पताल में फाइलेरिया के उपचार के लिए उपलब्ध सुविधाओं की जानकारी देते हुए बताया गया कि फाइलेरिया से ग्रसित अंगों को नियंत्रित रखने के लिए नियमित रूप से साफ सफाई और एक्सरसाइज करने की जानकारी दी गई।
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