मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त ने गृहमंत्री देशमुख पर लगाया 100 करोड़ की
वसूली कराने का आरोप.
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
मुंबई के पूर्व पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह के शनिवार को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को लेटर भेज गृह मंत्री अनिल देशमुख पर लगाए सनसनीखेज आरोपों के बाद महाराष्ट्र की राजनीति में भूचाल आ गया है। भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने महाराष्ट्र की उद्धव सरकार पर हमला बोलते हुए गृह मंत्री अनिल देशमुख का इस्तीफा मांगा है। राज्य में बीजेपी के नेता देवेंद्र फडणवीस, किरीट सोमैया, राम कदम समेत कई नेताओं ने एक सुर में अनिल देशमुख से तुरंत ही पद छोड़ने को कहा है। हालांकि, परमबीर सिंह के सभी आरोपों को खारिज करते हुए अनिल देशमुख का कहना है कि सचिन वाझे और एंटीलिया मामले में परमबीर सिंह खुद के फंसने का भी डर सता रहा है।
बीजेपी ने देशमुख से की इस्तीफे की मांग
महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने गृह मंत्री अनिल देशमुख से इस्तीफे की मांग की है। उन्होंने चिट्ठी सामने आने के बाद प्रेस को संबोधित करते हुए कहा कि हम गृह मंत्री का इस्तीफा मांगते हैं। उन्होंने कहा, ”अगर वह नहीं देते हैं तो मुख्यमंत्री को उन्हें पद से हटा देना चाहिए। इस मामले की निष्पक्ष जांच की जानी चाहिए। लेटर में यह भी लिखा है कि मुख्यमंत्री को जानकारी दी गई थी, तो आखिर में उन्होंने कोई कार्रवाई क्यों नहीं की?” वहीं, बीजेपी नेता राम कदम ने अंदेशा जताया है कि अन्य विभागों के मंत्रियों ने भी वसूली का आदेश दिया होगा। कदम ने कहा कि 16 महीने से महाराष्ट्र में ठाकरे की सरकार है, इस तरह 1600 करोड़ रुपये हो गए। कई जिले और कई शहर हैं, वहां से भी कई करोड़ रुपये के लिए कहा गया होगा। पुलिस डिपार्टमेंट एक डिपार्टमेंट है। उसी प्रकार 22 विभाग हैं तो क्या हर मंत्री ने अपने विभागों को वसूली करने के आदेश दिए हैं। सरकार जनता की रक्षा के लिए होती है, लेकिन तीन दलों की सरकार ने जनता का शोषण करने को कहा। इतना घिनौना काम कभी भी नहीं हुआ। अगर थोड़ी भी शर्म बची है तो जिम्मेदार मंत्री तुरंत इस्तीफा दे दें।
गृह मंत्री अनिल देशमुख ने खारिज किए सभी आरोप
मामला सामने आते ही अनिल देशमुख ने ट्वीट कर खुद पर लगाए गए सभी आरोपों को खारिज कर दिया। उन्होंने ट्वीट कर कहा कि सचिन वाझे का एंटीलिया और मनसुख हिरेन मामले में डायरेक्ट लिंक सामने आया है। परमबीर सिंह को डर है कि यह कनेक्शन उनके तक भी पहुंच सकता है। उन्होंने गलत आरोप लगाकर खुद को कानूनी कार्रवाई से बचाने की कोशिश की है। मालूम हो कि देश के सबसे अमीर शख्स मुकेश अंबानी के घर एंटीलिया के पास से पिछले महीने विस्फोटक से लदी हुई स्कॉर्पियो गाड़ी बरामद हुई थी। कुछ दिनों के बाद में स्कॉर्पियो गाड़ी के मालिक मनसुख हिरेन की लाश मिली थी, जिसके बाद दोनों मामलों की जांच एनआईए कर रही है। एनआईए ने सचिन वाझे को गिरफ्तार किया है। वहीं, मुंबई पुलिस कमिश्नर के पद से परमबीर सिंह को भी हटा दिया गया।
परमबीर सिंह ने सीएम उद्धव को लेटर लिख लगाए क्या-क्या आरोप?
पूर्व मुंबई पुलिस कमिश्नर परमबीर सिंह ने लेटर में जिस-जिस बात का जिक्र किया है, उससे हड़कंप मच गया है। परमबीर सिंह का आरोप है कि गृह मंत्री अनिल देशमुख ने सचिन वाझे को हर महीने 100 करोड़ रुपये की मुंबई से वसूली करने का टारगेट दिया था। ये वसूली उन्हें शहर के विभिन्न रेस्टोरेंट्स, बार से करनी थी। उन्होंने आरोप लगाया कि गृह मंत्री देशमुख ने वाझे को बताया कि मुंबई में तकरीबन 1750 बार, रेस्टोरेंट्स आदि हैं। यदि हर से 2-3 लाख रुपये हर महीने लिए जाएं तो यह 40-50 करोड़ रुपये हो सकता है। बाकी की रकम अन्य जगहों से जुटाई जा सकती है।
मुकेश अंबानी के घर के बाहर जिलेटिन से भरी स्कॉर्पियो मिलने के मामले में एक बड़ा घटनाक्रम सामने आया है। मुंबई के पूर्व पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह ने महाराष्ट्र के सीएम उद्धव ठाकरे को पत्र लिखा है। इस पत्र में उन्होंने दावा किया है कि इस पूरे मामले में गृह मंत्री अनिल देशमुख शामिल हैं। इसके साथ ही एक बड़ा खुलासा करते हुए उन्होंने कहा कि गृह मंत्री देशमुख ने सचिन वझे को उनके पास 100 करोड़ रुपये प्रति माह वसूली के रूप में देने को कहा था। हालांकि देशमुख ने इन आरोपों से खुद को अलग किया है।परमबीर सिंह के इन आरोपों के बाद महाराष्ट्र में सियासी गर्मी बढ़ गई है। गृह मंत्री अनिल देशमुख की कुर्सी पर खतरा मंडराने लगा है।
मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को लिखे पत्र में परमबीर सिंह ने कहा कि मुंबई पुलिस की अपराध शाखा के क्राइम इंटेलिजेंस यूनिट के हेड सचिन वझे को महाराष्ट्र के गृह मंत्री अनिल देशमुख ने पिछले कुछ महीनों में कई बार अपने सरकारी आवास पर बुलाया था। यहां उन्होंने सचिन वझे को बार-बार हर महीने 100 करोड़ रुपये जमा करने का निर्देश दिया था।
वहीं, परमबीर सिंह के आरोपों पर महाराष्ट्र के गृहमंत्री अनिल देशमुख ने ट्वीट किया है कि एंटीलिया केस और मनसुख हिरेन केस में सचिन वझे के सीधे लिंक सामने आ रहे हैं। परमबीर सिंह को डर है कि इसके कनेक्शन उन तक पहुंच जाएंगे। इसलिए उन्होंने कानूनी कार्रवाई से खुद को बचाने के लिए ये झूठे और मनगढ़त आरोप लगाए हैं।
वहीं, इस पूरे मामले पर महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस ने गृहमंत्री देशमुख के इस्तीफे की मांग की है। उन्होंने कहा कि यदि वह नहीं करते हैं तो राज्य के मुख्यमंत्री को उन्हें पद से हटा देना चाहिए। इस मामले की निष्पक्ष जांच होनी चाहिए। इसके साथ ही फड़नवीस ने सवाल पूछते हुए कहा कि मुख्यमंत्री को इस बारे में पहले सूचित किया गया था तो उन्होंने इस पर कार्रवाई क्यों नहीं की?
बता दें कि अंटीलिया प्रकरण में एपीआइ सचिन वझे की गिरफ्तारी के बाद हो रहे खुलासों के बाद बुधवार को मुंबई के पुलिस आयुक्त परमबीर सिंह का तबादला कर दिया गया था। अनिल देशमुख ने माना था कि सचिन वझे प्रकरण में परमबीर सिंह द्वारा की गई चूक माफी के योग्य नहीं थी, इसलिए उनका तबादला किया गया। लेकिन पुलिस आयुक्त के तबादले के बाद भी विपक्ष गृहमंत्री के इस्तीफे की मांग कर रहा है।