क्या यही लोकतंत्र है, जेपी नड्डा का ममता से सवाल.

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श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क

पश्चिम बंगाल में चुनाव परिणाम के बाद जगह-जगह से हिंसा की खबरें आ रही हैं. भाजपा कार्यकर्ता हरण अधिकारी (Haran Adhikari) की इस हिंसा में मौत हो गयी है. भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा (JP Nadda) दक्षिण 24 परगना पहुंचे और अधिकारी के परिजनों से मुलाकात की. मीडिया से बातचीत में उन्होंने ममता बनर्जी (Mamata Banerjee) पर जमकर हमला बोला. उन्होंने कहा कि लोकतंत्र की बात करने वाली ममता का असली चेहरा यही है.

उन्होंने कहा कि चुनाव परिणाम के बाद टीएमसी के गुंडे भाजपा कार्यकर्ता हरन अधिकारी के घर गये, उनके साथ बर्बरता की, महिलाओं और बच्चों को धमकाया, उन पर हमला किया और उनकी पत्नी के दांत तोड़ दिए. फिर तृणमूल के लोगों ने अधिकारी को उसके घर से बाहर खींच लिया और उसके साथ मारपीट की. जिसकी वजह से उनकी मृत्यु हो गई.

नड्डा ने कहा कि ममता जी, आपकी पार्टी ने जीत के बाद क्या किया, आप कहती हैं कि लोकतंत्र में आपका विश्वास है. टीएमसी कार्यकर्ता और नेता कह रहे हैं कि सोशल मीडिया पर ये सभी घटनाएं फर्जी हैं. आपने देखा कि कैसे हरन अधकारी की पत्नी और बेटा रो रहे थे. मैं मीडिया से देश को सच्चाई बताने का अनुरोध करता हूं. नड्डा दो दिवसीय दौरे पर आज ही बंगाल पहुंचे हैं.

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भाजपा अध्यक्ष ने कहा गया कि पश्चिम बंगाल में चुनाव के बाद हुई हिंसा ने उन अत्याचारों की याद दिला दी है, जो देश विभाजन के समय हुआ था. उन्होंने कहा कि हमारे कार्यकर्ता इन अत्याचारों के खिलाफ लोकतांत्रित तरीके से लड़ेंगे. हम इस वैचारिक लड़ाई को जारी रखेंगे साथ ही तृणमूल की इन गतिविधियों से भी हमारी लड़ाई जारी रहेगी.

नड्डा ने कहा कि मैंने विभाजन के समय के अत्याचारों के बारे में सुना था, लेकिन आज बंगाल में हो रही हिंसा से लगता है कि उस समय ऐसा ही हुआ होगा. उन्होंने कहा कि हम यह संदेश देना चाहते हैं कि बंगाल के कार्यकर्ता तृणमूल के गुंडो से डरे नहीं, देशभर के करोड़ों भाजपा कार्यकर्ता उनके साथ हैं. उन्होंने कहा कि इस हिंसा में हमारे छह कार्यकर्ता मारे गये हैं, जिसमें एक महिला भी शामिल हैं.

बंगाल में विधानसभा चुनाव नतीजों के बाद राज्य के विभिन्न हिस्सों में जारी हिंसा व आगजनी की घटनाओं के  खिलाफ चारों तरफ से हो रही आलोचनाओं के बीच कार्यवाहक मुख्यमंत्री ममता बनर्जी  आखिरकार मंगलवार को जागीं।  ममता ने शाम में कालीघाट स्थित अपने आवास पर राज्य के शीर्ष पुलिस व प्रशासनिक अधिकारियों के साथ बैठक कीं। इस दौरान ममता ने अधिकारियों को हिंसा पर अविलंब अंकुश लगाने एवं इसमें शामिल लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए।

बैठक में राज्य के मुख्य सचिव अलापन बंदोपाध्याय, गृह सचिव हरिकृष्ण द्विवेदी, पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) पी नीरजनयन एवं कोलकाता पुलिस के आयुक्त सोमेन मित्रा समेत अन्य आला अधिकारी मौजूद थे।बैठक के दौरान ममता ने हिंसा के संबंध में अधिकारियों से विस्तार से जानकारी ली और उन्होंने स्थिति सामान्य बनाने के लिए हरसंभव कदम उठाने का निर्देश दिया। गौरतलब है कि रविवार को बंगाल में चुनाव परिणाम आने के बाद से जारी हिंसा के खिलाफ देशभर से आवाजें उठ रही है।

इससे पहले हिंसा को लेकर मंगलवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी गहरी चिंता जताते हुए राज्यपाल जगदीप धनखड़ से फोन पर बात की। वहीं, राज्यपाल ने इस बाबत राज्य के डीजीपी व कोलकाता के पुलिस आयुक्त से हिंसा के संबंध में रिपोर्ट तलब किया है। साथ ही राज्यपाल ने राज्य प्रशासन से हिंसक घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए तुरंत कड़े कदम उठाने के लिए कहा है।

बता दें कि एक दिन पूर्व केंद्रीय गृह मंत्रालय ने भी राज्य सरकार से हिंसा को लेकर रिपोर्ट मांगी है। बता दें कि इससे पहले ममता ने सोमवार को अपने पार्टी कार्यकर्ताओं से शांति बनाए रखने की भी अपील की थी। हालांकि इसके बावजूद हिंसा का दौर पूरे राज्य भर में जारी है। भाजपा का आरोप है कि प्रचंड जीत के बाद सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं द्वारा उनके कार्यकर्ताओं के घरों पर हमले एवं आगजनी की जा रही है। पार्टी का दावा है कि हमले में अब तक कम से कम नौ भाजपा कार्यकर्ताओं की जानें जा चुकी है।

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