काशी विश्वनाथ मंदिर के महंत डॉ कुलपति तिवारी ने चेतावनी दी, कहा कि नहीं लौटा मंदिर का पुराना स्वरुप तो आत्महत्या करेंगे
श्रीनारद मीडिया / सुनील मिश्रा वाराणसी यूपी
वाराणसी /श्रीकाशी विश्वनाथ मंदिर के महंत डॉ कुलपति तिवारी ने एक नए विवाद को जन्म दे दिया है। डॉ कुलपति तिवारी ने अपने टेढ़ी नीम स्थित आवास पर कहा कि यदि विश्वनाथ धाम कॉरिडोर निर्माण के दौरान हटाए गए देव विग्रहों की पुनः स्थापना करते हुए मंदिर के स्वरुप को नहीं लौटाया गया तो वह आत्महत्या कर लेंगे। उन्होंने मंदिर के अधिकारियों पर मनमानी का आरोप भी लगाया और कहा कि बाबा से मां पार्वती सहित पूरे परिवार को छिन्न-भिन्न कर दिया है।
डॉ कुलपति तिवारी ने प्रश्न पूछते हुए कहा कि क्या प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने ड्रीम प्रोजेक्ट के निर्माण कार्य में यह भी निर्देश दिया है क्या की बाबा के प्रांगण में आने वाले मंदिरों को तोड़ा जाए। बाबा के परिवार को उनसे अलग कर दिया जाए। उन्होंने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से विश्वनाथ धाम में हो रहे इस अन्याय को रोकने की विनती की है।
महंत डॉ कुलपति तिवारी ने कहा कि मूर्ति तोड़ना या उनके स्थान से हटाना धर्म का काम नहीं है। देवी-देवताओं को उनके मूल स्थान से हटाने का क्या औचित्य है। देवी-देवता हैं तो काशी है। काशी विश्वनाथ धाम अब पूर्ण होने वाला है लेकिन तोड़े गए मंदिरों को अभी तक स्थापित करने पर कोई विचार नहीं हुआ है।
उन्होंने कहा कि सरकार अपने बनाए हुए अधिनियम की खुद अवहेलना कर रही है। अधिकारी किस तरह से हरकत कर रहे हैं, क्या अधिकारियों का राज है। नौग्रह की प्रतिमा को इस तरह से तोड़ा गया है कि कहा नहीं जा सकता है। बाबा की कचहरी, अविमुक्तेश्वर महादेव समेत बाबा के परिवार को उनके स्थान से हटा दिया गया है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि बाबा का मूल स्वरुप नहीं लौटा तो वो आत्महत्या के लिए बाध्य होंगे।