बिहार में मुकेश सहनी नहीं देंगे मंत्री पद से इस्तीफा,क्यों?
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
विकासशील इंसान पार्टी (VIP) के संस्थापक और बिहार के पशु व मत्स्य संसाधन मंत्री मुकेश सहनी (Mukesh Sahani) भले ही अपनी पार्टी में एकमात्र नेता बचे हों, लेकिन वे फिलहाल मंत्री पद से इस्तीफा नहीं देंगे। सहनी ने गुरुवार को दो-टूक कहा कि उन्हें मंत्री मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) ने बनाया है। यदि वे चाहेंगे तो पद छोड़ देंगे, नहीं तो पद पर बने रहेंगे। उन्होंने भारतीय जनता पार्टी (BJP) पर भी जमकर हमला किया। बीजेपी पर बरसते हुए कहा कि अपना हक प्रधानमंत्री से मांगने पर बीजेपी को नाराजगी होती रही, वही बताए कि यह किससे मांगूं? बीजेपी को नहीं पता कि वे पूरे देश के प्रधानमंत्री हैं।
वीआइपी के सभी तीन विधायकों ने थामा बीजेपी का दामन
विदित हो कि बुधवार को बिहार विधानसभा में वीआइपी के सभी तीन विधायकों ने पाला बदल कर बीजेपी का दामन थाम लिया। इसके साथ विधानसभा में वीआइपी का अस्तित्व समाप्त हो चुका है। साथ ही बीजेपी विधानसभा में सबसे बड़ी पार्टी बन गई है। इसके बाद बीजेपी ने मुकेश सहनी से मंत्रीपद से इस्तीफा मांगा है। इस राजनीतिक घटनाक्रम के बीच मुकेश सहनी कुछ देर पहले मीडिया से मुखातिब थे।
मंत्री पद से नहीं देंगे इस्तीफा, कहा- इसपर नीतीश करें फैसला
राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) में अकेले पड़ गए मुकेश सहनी ने बीजेपी की नैतिकता के आधार पर उनके इस्तीफा की मांग पर कहा है बीजेपी की नैतिकता की बात शोभा नहीं देती। मंत्रिमंडल में रखना या हटाना मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का विशेषाधिकार है। इसपर मुख्यमंत्री जो भी फैसला करेंगे, मंजूर होगा। मुख्यमंत्री का जो आदेश होगा, उसी के अनुरूप काम होगा।
बीजेपी को नहीं लगता, मोदी देश के प्रधानमंत्री
उन्होंने कहा बीते चार महीनों से उन्हें बेइज्जत किया जा रहा है। उनका गुनाह सिर्फ इतना है कि वे अपने समाज के लिए आरक्षण मांग रहे हैं। लोगों को लगा मल्लाह का बेटा हीरो बन जाएगा, इसलिए परेशान किया गया। लेकिन वे हताश या निराश नहीं। संघर्ष करते रहेंगे। चार विधायक बनाए थे, आगे 40 भी बनाएंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मांग करने पर बीजेपी नाराज होती रही है। हक मांगने प्रधानमंत्री से नहीं तो राहुल गांधी के पास जाएं क्या? बीजेपी को नहीं लगता कि नरेंद्र मोदी पूरे देश के प्रधानमंत्री हैं। कहा कि वे आरक्षण के लिए अंतिम सांस तक लड़ते रहेंगे। जातीय जनगणना की मांग करने पर भी बीजेपी नाराज हुई।
बीजेपी ने जेडीयू के भी तोड़े थे छह विधायक
सहनी ने कहा कि बीजेपी का आचरण ही पार्टी तोड़ने का रहा है। जनता दल यूनाइटेड (JDU) के छह विधायक भी तोड़ चुकी है। उन्होंने कहा कि अच्छा करने वालों के साथ यही होता है। लालू प्रसाद यादव ने अच्छा किया तो आज जेल में हैं। अगर वे भी बीजेपी की शर्तों को मानकर झुक जाते तो उनकी पार्टी में टूट नहीं होती। अपने सहयोगियों को धोखा देना बीजेपी की आदत है। सहनी ने पार्टी के तीन विधायकों के बीजेपी में शामिल होने पर उन्हें बधाई भी दी और कहा कि मल्लाह के वोट से बीजेपी ने 74 सीटें जीती, मगर दूसरे नंबर की पार्टी रही। अब हमारे तीन विधायकों के सहयोग से बीजेपी बिहार में सबसे बड़ी पार्टी बन गई है।
अमित शाह जानते हैं, गठबंधन के वक्त हुई डील
बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल को आड़े हाथ लेते हुए सहनी बोले कि जायसवाल झूठ बोल रहे हैं। अध्यक्ष संजय जायसवाल को वीआइपी-बीजेपी गठबंधन की कोई जानकारी नहीं थी। गठबंधन के पहले बंद कमरे में उनकी और गृह मंत्री अमित शाह के बीच बातचीत हुई थी, जिसे वे सार्वजनिक नहीं कर सकते। बातें सार्वजनिक हुईं तो बवाल हो जएगा। यह राज खोलना देश के लिए ठीक नहीं होगा।
बोचहां विधानसभा उपचुनाव में जीत का दावा
मुकेश सहनी ने कहा कि उनका राजनीतिक जीवन संघर्ष भरा रहा है। हम 30 रुपये रोज कमाने वाले रहे हैं। संघर्ष से यहां तक आये हैं। आगे भी आखिरी सांस तक लड़ाई लड़ते रहेंगे। नीतीश कुमार ने 2020 में मौका दिया तो मंत्री बनाया। बीजेपी समझ गई थी कि आज सहनी के साथ 11 सीटों पर समझौता करना पड़ा है तो कल सौ सीटों पर भी करना पड़ सकता है। अपनी मेहनत से यहां तक पहुंचाने में सफलता हासिल की है। हम लंबी लड़ाई लड़ने के लिए तैयार हैं। उन्होंने बोचहां विधानसभा उपचुनाव में जीत का दावा किया।
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