ओपीडी में समय से पहुंचे चिकित्सक, ईमानदारी से करें अपने कर्तव्यों का निर्वहन: सिविल सर्जन
• चिकित्सा पदाधिकारियों के साथ सिविल सर्जन ने की बैठक
• अस्पताल में भर्ती मरीजों को दिन में कम से कम 2 बार राउंड लगा कर देखभाल करें
• सर्जरी के लिए 24 घंटे तत्पर रहें सर्जन
श्रीनारद मीडिया‚ पंकज मिश्रा‚ छपरा (बिहार):
छपरा। स्वास्थ्य सेवाओं को सुदृढ़ बनाने के लिए स्वास्थ्य विभाग के द्वारा लगातार प्रयास किया जा रहा है। मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा मुहैया कराने के लिए लगातार पदाधिकारी प्रयासरत है। इसी कड़ी में मंगलवार को सिविल सर्जन डॉ जनार्दन प्रसाद सुकुमार की अध्यक्षता में सदर अस्पताल के ओपीडी में चिकित्सकों के साथ बैठक आयोजित की गई। बैठक में सिविल सर्जन ने चिकित्सकों से कई महत्वपूर्ण बिंदुओं पर चर्चा की। इस दौरान सिविल सर्जन ने निर्देश दिया कि ओपीडी में निर्धारित समय अनुसार चिकित्सक उपस्थित हो और मरीजों को बेहतर सेवा मुहैया कराएं। उन्होंने कहा कि समय से नहीं आने वाले चिकित्सकों को चिन्हित कर कार्यवाई की जाएगी। सिविल सर्जन ने निर्देश दिया कि स्वास्थ्य संस्थान में सभी तरह की आवश्यक दवाओं व उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि 30 साल से ऊपर के मरीजों का नॉन कम्युनिकेबल डिजीज का जांच निश्चित रूप से किया जाना चाहिए। इसके साथ ही इससे जुड़ी रिपोर्ट ससमय उपलब्ध कराया जाए। सिविल सर्जन ने निर्देश दिया कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट भी ससमय उपलब्ध कराने की कोशिश करें। स्वास्थ्य विभाग की ओर से तत्परता के साथ कार्य किए जा रहे हैं। साथ ही मरीजों को बेहतर सुविधा दी जा रही है। उन्होंने कहा कि विभिन्न योजनाओं में मरीजों को काफी लाभ मिला है।
भर्ती मरीजों का कम से कम 2 बार राउंड लगाकर करें देखभाल:
सिविल सर्जन डॉ जेपी सुकुमार ने कहा कि सदर अस्पताल में भर्ती इंडोर मरीजों को दिन में कम से कम 2 बार राउंड लगाकर देखभाल करें। सर्जन चिकित्सक 24 घंटे सर्जरी केस करने के लिए तत्पर रहें। अस्पताल कर्मी और चिकित्सक अपने-अपने यूनिफॉर्म में कार्य करेंगे। उन्होंने निर्देश दिया कि आईसीयू का संचालन बेहतर तरीके से किया जाए ताकि मरीजों को किसी तरह की परेशानी ना हो। सिविल सर्जन ने कहा कि ईसंजीवनी टेलीमेडिसिन में कार्यरत चिकित्सक कम से कम प्रतिदिन 50 मरीजों को अवश्य देखें।
सिजेरियन ऑपरेशन के संख्या में करें बढ़ोतरी:
सिविल सर्जन ने कहा कि सदर अस्पताल में सामान्य प्रसव के साथ-साथ सिजेरियन प्रसव की संख्या में भी बढ़ोतरी करनी है। अस्पतालों में सिजेरियन की उपलब्धि बढ़ाएं और जरूरतमंद लोगों को इसकी सुविधा अवश्य उपलब्ध करायें। उन्होंने कहा कि संस्थागत प्रसव के प्रति आम लोगों में जागरूकता लानी है ताकि मातृ शिशु मृत्यु दर को कम किया जा सके और स्वस्थ समाज की परिकल्पना को पूरा किया जा सके। इस बैठक में उपाधीक्षक डॉ राम इकबाल प्रसाद, जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी डॉ अजय कुमार शर्मा, डीपीएम अरविंद कुमार, डीपीसी रमेश चंद्र कुमार, हेल्थ मैनेजर राजेश्वर प्रसाद समेत सभी चिकित्सा पदाधिकारी मौजूद थे।
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