Breaking

 राजयोगिनी जानकी दादी का मनाया गया चौथा स्मृति दिवस 

राजयोगिनी जानकी दादी का मनाया गया चौथा स्मृति दिवस

०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
previous arrow
next arrow
०१
WhatsApp Image 2023-11-05 at 19.07.46
previous arrow
next arrow

आध्यात्मिक उड़ान में शिखर को छूने वाली राजयोगिनी जानकी दादी के आदर्शो पर चलने की जरूरत: बीके अनामिका बहन

श्रीनारद मीडिया, छपरा, (बिहार):


महिलाओं द्वारा संचालित दुनिया के सबसे बड़े आध्यात्मिक संगठन ब्रह्माकुमारीज संस्थान की मुख्य प्रशासिका के अलावा स्वच्छ भारत मिशन की ब्रांड एंबेसडर राजयोगिनी जानकी दादी की स्मृति दिवस के रूप में मनाया गया। ब्रह्मकुमारी संस्था से जुड़े लगभग सैकड़ों भाई और बहनों द्वारा तैलचित्र पर पुष्प अर्पित कर भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की गई। इस अवसर पर ईश्वरीय विश्वविद्यालय माउंट आबू की स्थानीय इकाई छपरा शहर के गुदरी राय के चौक स्थित सेवाकेंद्र में आयोजित स्मृति दिवस के अवसर पर स्थानीय संचालिका बीके अनामिका बहन ने उपस्थित भाई बहनों को बताया कि दुनिया के सबसे बड़े आध्यात्मिक संगठन ब्रह्माकुमारीज संस्थान की मुख्य प्रशासिका द्वारा बताए गए मार्गो पर चलने की आवश्यकता है। ताकि राजयोगिनी जानकी दादी को जिस उद्देश्यों की पूर्ति के लिए भारत सरकार ने “स्वच्छ भारत मिशन” की ब्रांड एंबेसडर बनाया था। उसको लेकर हम सभी को समाज में जागरूकता अभियान चलाने की जरूरत है। इस अवसर पर ब्रह्मकुमारी (बीके) कोमल बहन, बीके मीरा बहन, बीके इंदु बहन, बीके कमलावती बहन, बीके वीना बहन, पूर्व मुखिया बीके राजकुमारी बहन, बीके प्रतिमा बहन, बीके मीनाक्षी बहन, बीके नेहा बहन, बीके नीतू बहन, बीके अंजू बहन, बीके शिवपरी बहन, बीके मनोज भाई, बीके रजनीश भाई, बीके उदय भाई, बीके अविनाश भाई, बीके प्रहलाद भाई, बीके ललन भाई सहित कई उपस्थित थे। जबकि बीके वीणा, प्रियांशु, शालिनी, खुशबू, दामिनी, प्रिया, रश्मि और पूजा बहन सहित कई अन्य के द्वारा सहयोग किया गया।

आध्यात्मिक उड़ान में शिखर को छूने वाली राजयोगिनी दादी जानकी दीदी के आदर्शो पर चलने की जरूरत: बीके अनामिका दीदी
ईश्वरीय विश्वविद्यालय छपरा शाखा की संचालिका ब्रह्मकुमारी अनामिका बहन ने स्वच्छ भारत मिशन की ब्रांड एंबेसडर रही राजयोगिनी जानकी दादी की चौथी स्मृति दिवस के अवसर कहा कि
नारी शक्ति की प्रेरणास्रोत राजयोगिनी जानकी दीदी का जन्म 01 जनवरी, 1916 को हैदराबाद के सिंध (पाकिस्तान) में हुआ था। जो 21 वर्ष की अल्प आयु में ब्रह्माकुमारीज संस्थान के आध्यात्मिक पथ को अपनाने के साथ ही पूर्णरुप से समर्पित हो गयी थी। हालांकि आध्यात्मिक उड़ान में शिखर को छूने वाली राजयोगिनी जानकी दादी केवल साक्षर थी। लेकिन आध्यात्मिक आभा से भरपूर भारतीय दर्शन, राजयोग और मानवीय मूल्यों की स्थापना के लिए 1970 में पश्चिमी देशों का रुख करते हुए दुनिया के लगभग 140 देशों में मनवीय मूल्यों के बीजारोपण कर हजारों सेवा केन्द्रों की स्थापना कर लाखों लोगों को नयी ज़िंदगी देने वाली राजयोगिनी जानकी दादी की चौथी स्मृति दिवस मना रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि रायजोगिनी जानकी दादी के द्वारा पूरे विश्व में आत्मा की स्वच्छता के साथ- साथ बाहरी स्वच्छता के लिए भी अनोखा कार्य किया गया। जिसके लिए भारत सरकार ने “स्वच्छ भारत मिशन” का ब्रांड एंबेसडर बनाया गया था।

यह भी पढ़े

भाभी के भाई पर आया दिल, परिवार से बगावत, भागकर की शादी, लव स्‍टोरी  का हुआ खौफनाक अंत

बेखौफ तीन अपराधियों ने गोली मारकर पशु व्यवसायी को लूटा

माफिया अतीक के बेटे अली पर जेल से 10 लाख की रंगदारी मांगने का आरोप, बालू व्यापारी ने दर्ज कराई एफआईआर

बेगूसराय में दारोगा की पिटाई मामले में दो गिरफ्तार:शराब के नशे में किया था हमला 

ऑनलाइन WFH के नाम पर करते थे ठगी, दिल्ली की साइबर पुलिस ने ऐसे किया गैंग का पर्दाफाश

Leave a Reply

error: Content is protected !!