रोहतास की सलोनी एक दिन के लिए बनी डीईओ
नशा विरोधी गीत गा कर हुई थी वायरल, सम्मानित भी किया गया
श्रीनारद मीडिया, स्टेट डेस्क:
रोहतास में एक स्कूली छात्रा सलोनी का नशा के विरोध में गाया गया गीत वायरल हुआ था। नशा में डर है, नशा जहर है, गीत को राज्य के शिक्षा मंत्री ने भी री-ट्वीट किया था। सलोनी के इस उपलब्धि पर शनिवार को जिला प्रशासन द्वारा सम्मानित किया गया। डीएम ने अपने कार्यालय में उसे बुला सम्मानित और पुरस्कृत किया। साथ ही जिला शिक्षा पदाधिकारी ने उसे एक दिन के लिए डीईओ बना, अपनी कुर्सी सौंप दी।
डीएम ने सलोनी के साथ आए उसके माता-पिता को सममानित किया तथा उन्हें यह आश्वस्त किया कि सलोनी का नामांकन कस्तूरबा गांधी व्द्यिालय में कराया जाएगा, ताकि उसकी अच्छी पढ़ाई हो सके। उन्होंने कहा कि सलोनी के माता-पिता को आवास योजना का भी लाभ दिया जाएगा।
जिला शिक्षा पदाधिकारी ने संजीव कुमार ने भी अपने कार्यालय बुलाकर सलोनी को सम्मानित किया, तथा उसे अपनी कुर्सी सौंपते हुए एक दिन के लिए प्रतिकात्मक रूप से डीईओ का प्रभार दिया। डीईओ के रूप में सलोनी ने कहा कि शिक्षक समय से आए स्कूल आए और बच्चों की पढ़ाई पर पूरी तरह ध्यान दे। कहा कि पढ़ाई के साथ खेल, गीत-संगीत पर भी ध्यान दें।
नशा जहर है, जीते जी है मर जाना गीत से चर्चा में आई सलोनी
सलोनी तिलौथू प्रखण्ड के मध्य विद्यालय, पतलुका की छात्रा है। स्ूकल के प्रार्थना सभा के बाद उसके द्वारा गाया गीत वायरल हो गया था। गीत में छात्रा द्वारा अपने भाई से यह अनुरोध किया जा रहा है कि भईया कभी नशा मत करना। गीत के बोल हैं. नशा में डर है, नशा जहर है, जीते जी है मर जानाए है। गीत में कहा गया है कि नशा से रूप बीगड़ जाता है, बच्चे रोते-कलपते हैं।
गीत में बार-बार अपने भाई से नशा छोड़ने के लिए अनुरोध किया गया है। ज्ञात हो कि सलोनी के पिता नेद किशोर सिंह मजदूर हैं और मां मंजू देवी गृहणी है। डीएम ने उसके माता-पिता को सम्मानित करते हुए कहा कि उनके सारी समस्याओं का समाधान किया जाएगा।
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