टीबी मरीज़ों को दवा सेवन के साथ ही संतुलित आहार का सेवन करना जरूरी: सीडीओ

 

टीबी मरीज़ों को दवा सेवन के साथ ही संतुलित आहार का सेवन करना जरूरी: सीडीओ

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कसबा सीएचसी में टीबी मरीज़ों में बांटी गई तीसरे क़िस्त की फूड पैकेट:

जिले में सबसे अधिक टीबी मरीजों को युवा नेता नवीन यादव ने लिया गोद: सिविल सर्जन

निक्षय मित्र बनाने को लेकर किया जाता है जागरूक: एमओआईसी

श्रीनारद मीडिया,  पूर्णिया, (बिहार):


देश में टीबी उन्मूलन के लिए आगामी वर्ष- 2025 तक का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। इसको लेकर प्रधानमंत्री टीबी मुक्त भारत अभियान की शुरुआत की गई है। इस अभियान के तहत टीबी के मरीजों को गोद लेने के लिए अपील की जा रही है। सिविल सर्जन डॉ अभय प्रकाश चौधरी ने कहा कि कसबा सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के अंतर्गत आने वाले युवा राजद के जिलाध्यक्ष नवीन यादव के द्वारा जिले में सबसे अधिक मरीजों को गोद लेने का रिकॉर्ड बनाया गया है। राजद नेता ने बताया कि सामाजिक कार्यों का निर्वहन करते हुए मेरे द्वारा 20 निक्षय मित्र बनाया गया है ताकि टीबी जैसी बीमारी को जड़ से मिटाने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकें। विगत तीन महीने पहले ही मरीज़ों को गोद लिया गया था। इसके बाद निक्षय मित्र बनने में लोगों की दिलचस्पी बढ़ी है। कसबा सीएचसी परिसर में 30 निक्षय मित्र के द्वारा 105 लाभार्थियों को फूड बास्केट का वितरण किया गया।

इस अवसर पर सीएस डॉ अभय प्रकाश चौधरी, सीडीओ डॉ मिहिरकान्त झा, एमओआईसी डॉ एके सिंह, युवा राजद के जिलाध्यक्ष नवीन कुमार यादव, बीएचएम अपराजिता, बीसीएम उमेश पंडित, एसटीएस राकेश कुमार, एसटीएलएस अखिलेश कुमार झा, यक्ष्मा सेवक संजय कुमार, टीबी चैंपियन मनेंद्र कुमार सहित कई अन्य कर्मी उपस्थित थे।

 

टीबी मरीज़ों को दवा सेवन के साथ ही संतुलित आहार का सेवन करना जरूरी: सीडीओ
जिला संचारी रोग पदाधिकारी डॉ मिहिरकान्त झा ने बताया कि टीबी की बीमारी कुछ वर्ष पहले तक खतरनाक मानी जाती थी। लेकिन अब इसका इलाज आसानी से हो रहा है। सबसे अहम बात यह है कि सरकारी अस्‍पतालों में इस बीमारी से संबंधित उचित परामर्श, जांच, इलाज के साथ ही दवा का वितरण पूरी तरह से निःशुल्क किया जाता है। टीबी एक संक्रामक बीमारी है जो माइक्रोबैक्टेरियम ट्यूबरक्लोसिस जीवाणु की वजह से होती है। जिस कारण बीमारी से ग्रसित व्यक्तियों की इम्यून सिस्टम काफी कमजोर हो जाती है। इससे सुरक्षित रहने के लिए दवा सेवन के साथ ही संतुलित आहार का सेवन जरूरी होता है।
निक्षय मित्र बनने के लिए communitysupport.nikshay.in पर लॉगिन करें। उसके बाद प्रधानमंत्री टीबी मुक्त अभियान पर क्लिक करें। इसके बाद निक्षय मित्र के आवेदन पत्र पर क्लिक कर अपनी पूरी जानकारी देकर इस अभियान से जुड़ा जा सकता है।

 

निक्षय मित्र बनाने को लेकर किया जाता है जागरूक: एमओआईसी
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कसबा के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ अशोक कुमार सिंह ने बताया कि टीबी से ग्रसित मरीजों के लिए सामान्य नागरिक, गैर सरकारी संस्थान एवं ज़िले के जनप्रतिनिधियों सहित अन्य लोगों को निक्षय मित्र बनने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। निक्षय मित्र बन कर टीबी मरीजों की सहायता करने के लिए स्वास्थ्य विभाग अपील कर रहा है। निक्षय मित्र टीबी मरीजों को पोषण के साथ-साथ रोजगार के लिए अवसर उपलब्ध कराने में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। टीबी जैसी बीमारी का इलाज जिला से लेकर स्थानीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में विभागीय स्तर पर किया जाता है। वैसे हमलोग भी क्षेत्र भ्रमण के दौरान टीबी मरीजों सहित कई अन्य बीमारियों से पीड़ित रोगियों से मिलकर दुःख दर्द से वाकिफ होते हैं।

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