बिहार में अब नहीं रहेगा कोई गरीब- CM नीतीश कुमार
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
बिहार सरकार के द्वारा गरीबों के कल्याण और उत्थान के लिए अलग-अलग योजनाएं चलायी जा रही हैं. सरकार की कोशिश है कि जरूरतमंदों को आर्थिक मदद देकर उन्हें उद्योग से जोड़ा जाए और राज्य से पलायन को रोका जाए. ऐसे में राज्य सरकार ने एक नयी योजना शुरू की है. इसके तहत, लोगों को आर्थिक मदद देकर घर में उद्योग स्थापित करने की कोशिश की जा रही है.
राज्य सरकार के द्वारा गरीबों को अपना काम शुरू करने के लिए दो-दो लाख रुपये दिया जाएगा. लाभुक को ये राशि तीन किश्तों में दी जाएगी. बिहार उद्योग विभाग के द्वारा विभिन्न वर्ग के गरीब परिवारों की आर्थिक मदद के लिए बिहार लघु उद्यमी योजना शुरू किया गया है. इसी के तहत बीपीएल परिवारों को पैसा दिया जाना है. योजना का लाभ योग्य लाभुक 26 जनवरी के बाद ले सकते हैं.
कैसे मिलेगा पैसा
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के द्वारा शुरू की गयी इस योजना का लाभ करीब 94 लाख लोगों को मिलने की संभावना है. योजना के तहत परिवार के एक व्यक्ति को स्वरोजगार के लिए अधिकतम दो लाख की राशि तीन किस्तों में दी जायेगी. पहली किस्त में परियोजना लागत की 25 प्रतिशत, दूसरी किस्त में परियोजना लागत की 50 प्रतिशत और तीसरी किस्त के रूप में परियोजना लागत की 25 प्रतिशत राशि दी जायेगी.
राज्य सरकार के द्वारा जाति आधारित गणना के अनुसार विभिन्न वर्ग के गरीब परिवारों को चिह्नित किया गया है. इसमें सामान्य वर्ग के 10 लाख 85 हजार 913 परिवार (25.09 प्रतिशत), पिछड़ा वर्ग के परिवारों की संख्या 24 लाख 77 हजार 970 (33.16 प्रतिशत), अत्यंत पिछड़ा वर्ग के परिवारों की संख्या 33 लाख 19 हजार 509 (33.58 प्रतिशत), अनुसूचित जाति के परिवारों की संख्या 23 लाख 49 हजार 111 (42.93 प्रतिशत) और अनुसूचित जनजाति के परिवारों की संख्या दो लाख 809 (42.70 प्रतिशत) है.
कैसे करें आवेदन
योजना का लाभ लेने के लिए ऑनलाइन आवेदन करना होगा. आवेदक की उम्र 18-50 वर्ष के बीच होनी चाहिए. इसके साथ ही, उसका बिहार का निवासी होना जरूरी है. लाभान्वितों का चयन कंपूटरीकृत रैंडमाइजेशन यानी लॉट्री के माध्यम से किया जायेगा. इसके लिए उस वर्ष के लिए निर्धारित लक्ष्य के अनुसार आवेदकों का चयन किया जायेगा. इसमें 20 प्रतिशत आवेदकों को प्रतीक्षा सूची में रखा जायेगा. आवेदन करने वाले परिवार के पास बीपीएल का सर्टिफिकेट होना चाहिए. इसके साथ ही, आधार कार्ड, पैन कार्ड और राशन कार्ड होना जरूरी है.
इन उद्योगों के लिए मिलेगा अनुदान
आटा,सत्तू, बेसन उत्पादन, मसाला उत्पादन, नमकीन, जैम,जेली व सॉस, नूडल्स, पापड़, आचार, मुरब्बा, फलों का जूस, मिठाई, बढ़इगिरी, नाव निर्माण, लकड़ी का फर्निचर, बेंत का फर्निचर, सीमेंट का जाली,दरवाजा एवं खिड़की, प्लास्टर ऑफ पेरिस का समान, डिटर्जेंट पाउडर, साबून, सैंपू, बिंदी एवं मेंहदी उत्पादन, मोमबत्ती उत्पादन, कृषि यंत्र निर्माण, गेटग्रिल एवं वेल्डिंग, मधुमक्खी का बक्खा, आभूषण निर्माण, स्टील का बॉक्स, आलमीरा, बिजली पंखा एसेंबलिंग, स्टेबिलाइजर, इनवर्टर, यूपीएस, सीसीटीवी एसैंबलिंग, आटी बिजनेस केंद्र,
मोबाइल एवं चार्जर रिपेयरिंग. ऑटो गैरेज, एयर कंडिसन रिपेयरिंग, टू ह्वीलर रिपेयरिंग, टायर रिट्रेडिंग, डीजल इंजन एवं पंप रिपेयरिंग, ताला-चाभी की मरम्मति, सैलून, ब्यूटी पार्लर, ढ़ाबा,होटल, रेस्टूरेंट, लौंड्री, राजमिस्त्री, सोना-चांदी जेवर निर्माण, केला रेशा का निर्माण, फूल का माला, सजावटी माला का निर्माण, रेडिमेड वस्त्र, कसीदाकारी, मच्छरदानी, बेडसीट, तकिया कवर, पत्थर मूर्ति निर्माण, लाह चूड़ी का निर्माण और कुम्हार के लिए राशि दी जायेगी.