चिंता का सबब बने हैं वायरस के ये वैरिएंट.
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
पूरी दुनिया में बीते डेढ़ वर्ष से जारी कोरोना महामारी को लेकर वैज्ञानिकों और वैश्विक एजेंसियों ने समय-समय पर कई तरह की जानकारियां साझा की है। इन जानकारियों के मुताबिक वायरस महामारी की शुरुआत से लेकर अब तक कई बार बदल चुका है। पिछले वर्ष इसके कुछ दूसरे रूप सामने आए थे और इस वर्ष इसके कुछ दूसरे रूप हमारे सामने मौजूद हैं।
पूरी दुनिया में अब इस वायरस के जिस वैरिएंट की चर्चा जोरेां पर है उसमें सबसे ऊपर डेल्टा प्लस (AY.1/B.1.617.2.1) वैरिएंट आता है। ये डेल्टा (B.1.617.2) वैरिएंट में आए बदलाव से सामने आया है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने डेल्टा प्लस वैरिएंट को वैरिएंट ऑफ कंसर्न की सूची में शामिल किया है। दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति ने डेल्टा वैरिएंट को बेहद गंभीर बताते हुए चिंता व्यक्त की है।
B.1.1.318 में ही अब तक 14 बार बदलाव हो चुके हैं। इसके बदलाव के बाद सामने आए लाम्ब्डा (C.37)वैरिएंट भी कुछ देशों में सामने आ चुका है। इसमें दक्षिण अफ्रीका भी एक है। इसको विश्व स्वास्थ्य संगठन ने वैरिएंट अंडर इंवेस्टिगेशन में शामिल किया है। इसी तरह से डेल्टा वैरिएंट का ही एक और रूप कप्पा (B.1.617.1) भी सामने आ चुका है। इस पर भी संगठन की तरफ से पूरी निगाह रखी जा रही है। हालांकि इसको डेल्टा और डेल्टा प्लस वैरिएंट से से कम प्रभावशाली बताया गया है।
भारत की ही बात करें तो यहां पर कप्पा (B.1.617.3) और B.1.1.318 वैरिएंट पहले ही सामने आ चुके हैं। वहीं लाम्ब्डा वैरिएंट की भी मौजूदगी को लेकर चर्चा हो रही है। दुनिया के कुछ देशों में ये काफी तेजी से फैल रहा है। विशेषज्ञों इस बात को लेकर काफी चिंतित हैं कि यदि हवाई यात्रा को शुरू कर दिया गया तो कई तरह के नए वैरिएंट सामने आ सकते हैं।
विश्व स्वास्थ्य संगठन ने वैरिएंट ऑफ कंसर्न की सूची में इन्हें शामिल किया है।
एल्फा (B.1.1.7), बीटा (B.1.351), गामा (P.1), एप्सीलॉन (B.1.427 और B.1.429), डेल्टा (B.1.617.2)
B.1.526.1, कप्पा डेल्टा (B.1.617),
इनमें से एल्फा का पहला मामला ब्रिटेन में, बीटा का पहला मामला दक्षिण अफ्रीका में, एप्सीलॉन का पहला मामला अमेरिका के केलीफॉर्निया में, डेल्टा का पहला मामला भारत में, गामा का पहला मामला जापान और ब्राजील में, सामने आया था।
संगठन के वैरिएंट ऑफ इंट्रेस्ट की लिस्ट में शामिल
B.1.525 ईटा, जिसका पहला मामला ब्रिटेन और नाइजीरिया में दिसंबर 2020 में सामने आया था।
इओटा (B.1.526),जिसका पहला मामला अमेरिका के न्यूयॉर्क में नवंबर 2020 में सामने आया था।
B.1.526.1, जिसका पहला मामला अमेरिका के न्यूयॉर्क में अक्टूबर 2020 में सामने आया था।
B.1.617, जिसका पहला मामला भारत में फरवरी 2021 में सामने आया था।
कप्पा B.1.617.1, जिसका पहला मामला दिसंबर 2020 में भारत में सामने आया था।
B.1.617.3 का पहला मामला भारत में अक्टूबर 2020 में सामने आया था।
जीटा (P.2), जिसका पहला मामला ब्राजील में अप्रैल में 2020 में सामने आया था।
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