राष्ट्र के प्रति समर्पण का भाव ही होगी रामविलास बाबू के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि: ललितेश्वर कुमार
सकारात्मक आलेखों से राष्ट्रीयता का अलख जगाने के लिए शिक्षाविद् श्री गणेश दत्त पाठक को किया गया सम्मानित
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
रामविलास बाबू के पावन स्मृति में राष्ट्र सृजन अभियान परिवार द्वारा इस अवसर पर पौधारोपण भी किया गया
गया समाहरणालय पर से ब्रिटिश झंडा उतार कर तिरंगा फहराने वाले महान स्वतंत्रता सेनानी श्री रामविलास सिंह जी की पुण्यतिथि पर तितिरा के किशोर कुंज में श्रद्धांजलि सभा और परिचर्चा का हुआ आयोजन
आज हमारे देश की मजबूती के लिए जरूरी है कि हम सभी में राष्ट्र के प्रति प्रेम की भावना का विकास हो। रामविलास बाबू आदि असंख्य स्वतंत्रता सेनानियों ने बलिदान और त्याग से हमारे लिए स्वतंत्रता को संजोया। यदि हम राष्ट्र के प्रति समर्पण का भाव रखें तो यहीं महान स्वतंत्रता सेनानी रामविलास बाबू के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी। ये बाते राष्ट्र सृजन अभियान के महासचिव श्री ललितेश्वर कुमार राय ने महान स्वतंत्रता सेनानी सह राष्ट्र सृजन अभियान के संस्थापक रामबिलास बाबू को श्रद्धासुमन अर्पित करते हुए कही।
रामविलास बाबू की पुण्यतिथि पर तितिरा के किशोर कुंज में श्रद्धांजलि सभा और विशेष परिचर्चा का आयोजन रखा गया था। इस अवसर पर अपने सकारात्मक आलेखों से राष्ट्रीयता का अलख जगाने के लिए शिक्षाविद् श्री गणेश दत्त पाठक को सम्मानित किया गया।रामविलास बाबू के पावन स्मृति में राष्ट्र सृजन अभियान परिवार द्वारा इस अवसर पर पौधारोपण भी किया गया।
इस अवसर पर श्री ललितेश्वर कुमार सहित शिक्षाविद् गणेश दत्त पाठक, प्रधानाचार्य श्री कृष्णकुमार सिंह, अंकित मिश्रा, सुबोध सिंह, राजन तिवारी, चित्तरंजन कुमार राय, डॉक्टर प्रेम शर्मा, विवेक कुमार, विनय तिवारी, धर्मनाथ साह, नमन कुमार,अजय राय,मनोज कुमार,जय प्रकाश पटवा आदि प्रबुद्धजन उपस्थित रहे।
परिचर्चा में भाग लेते हुए शिक्षाविद् श्री गणेश दत्त पाठक ने कहा कि असंख्य गुमनाम महान स्वतंत्रता सेनानियों ने अपने प्रयासों से फिरंगी दास्तां से हमें आजादी दिलाई। आज जब हम आजादी का अमृत महोत्सव मना रहे हैं तो हमारा कर्तव्य बनता है कि हम रामविलास बाबू सहित अन्य गुमनाम आजादी के नायकों की पावन स्मृति को नमन करें और भावी पीढ़ी को उनके बारे में बताएं।
परिचर्चा में भाग लेते हुए प्रधानाचार्य श्री कृष्ण कुमार सिंह ने कहा कि रामविलास बाबू का व्यक्तित्व और कृतित्व हमारे देश के युवाओं का सटीक मार्गदर्शन करता है। राष्ट्र का अस्तित्व ही हमारे अस्तित्व का आधार है।उन्होंने कहा कि राष्ट्र के प्रति सकारात्मक और समर्पित दृष्टिकोण समय की मांग है।
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