राष्ट्रव्यापी सप्ताहिक कार्यक्रम के तहत तीसरे दिन एआईएसएफ ने की शैक्षणिक कैंपसों को अन्य क्षेत्रों की तरह शर्तों के साथ खोलने की मांग
पूरे देश में है समान स्कूल प्रणाली लागू करने की जरूरत; अमित नयन
श्रीनारद मीडिया, पंकज मिश्रा, छपरा, सारण (बिहार):
एआईएसएफ के राष्ट्रीय सप्ताहिक प्रतिरोध मार्च के तीसरे दिन शैक्षणिक कैंपसों को अन्य क्षेत्रों की तरह कुछ शर्तों पर शीघ्र खोलने की मांग, सामान स्कूल प्रणाली पूरे देश में लागू करने, सभी को समान शिक्षा मुफ्त में मुहाल कराने इत्यादि विभिन्न मांगों को लेकर एआईएसएफ सारण जिला परिषद ने छपरा के दहियावां टोला मुहल्ले में हस्तलिखित तख्तियों एवं कार्डबोर्ड के माध्यम से केंद्र सरकार का ध्यान आकृष्ट कर सप्ताहिक प्रतिरोध दिवस मनाया।
प्रतिरोध मार्च में एआईएसएफ के जिला सचिव अमित नयन ने कहा कि जब तक हिंदुस्तान के प्रत्येक नागरिकों को शिक्षा के समान अवसर प्राप्त नहीं होगी तब तक देश के नागरिकों के साथ प्रजातांत्रिक न्याय की कल्पना की वकालत बेमानी है। इसे प्राप्त करने के लिए पूरे देश में सामान स्कूल प्रणाली लागू करनी होगी। जिला सचिव ने कहा कि केंद्र और राज्य सरकार जिस तरह अन्य क्षेत्रों जैसे औद्योगिक प्रतिष्ठानों, कारखानों, दुकानों समेत विभिन्न आवश्यक प्रतिष्ठानों को कुछ शर्तों के साथ खोल रही है उसी तर्ज पर सरकार शैक्षणिक प्रतिष्ठानों को को कोविड गाईलाइन को फॉलो कराते हुए कुछ शर्तों के साथ शिक्षा रूपी ट्रेन का परिचालन करे। ताकि छात्रों की पाठन क्रिया निरंतर जारी रहे। साथ ही साथ शिक्षकों के जीवन यापन का स्रोत बंद न हो । नहीं तो उनके साथ उनका पूरा परिवार आर्थिक तंगी के कारण खुदकुशी को मजबूर ना हो।
आज के आक्रोश मार्च में मुख्य रूप से रोहन कुमार, रौनक कुमार, सामर्थ्य कृष्ण,राहुल , निखिल आदि उपस्थित थे।
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