अपराधी को गिरफ्तार करने पश्चिम बंगाल गई बिहार पुलिस पर ग्रामीणों ने किया हमला

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पांच पुलिसकर्मी घायल, बंगाल पुलिस ने कहा – हमें नहीं दी गई कोई जानकारी

श्रीनारद मीडिया, स्‍टेट डेस्‍क:

 

गुप्त सूचना के आधार पर पश्चिम बंगाल के विलायतीबारी में एक अपराधी को पकड़ने गई किशनगंज पुलिस पर उग्र भीड़ ने हमला कर दिया। जिसमें बुरी तरह से घिरे पुलिसकर्मियों की जान बचाने के लिए किशनगंज टाउन थाना अध्यक्ष संदीप कुमार ने बीच बचाव में पांच राउंड फायरिंग की। इस फायरिंग से दो लोग घायल हो गए। वहीं इस घटना से ग्रामीण और आक्रोशित हो गए और उन्होंने टाउन थाना अध्यक्ष समेत अन्य पुलिस कर्मियों पर हमला कर दिया। इस हमले में पांच पुलिसकर्मी घायल हुए है।हालांकि, टाउन थाना अध्यक्ष संदीप कुमार ने एक आरोपी अब्दुल तौब के बेटे नूर आलम को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस की फायरिंग में नूर आलम के दो भाई भी घायल हुए हैं। उनके नाम रिजवान और मिज्बाबुल हक है। दोनों घायलों को चकलिया अस्पताल ले जाया गया है। यहां उनका इलाज चल रहा है।

 

दोनों सुरक्षित बताए जा रहे हैं। बिहार पुलिस ने नहीं मांगी मदद वहीं इस पूरी घटना को लेकर पश्चिम बंगाल पुलिस ने सारा ठिकरा बिहार पुलिस पर फोड़ दिया है। मामले में दालकोला एसडीपीओ रतिन नाथ विश्वास ने बताया कि हम लोगों को सूचना मिली थी कि चार-पांच बिहार के पुलिसकर्मी बंगाल के एक लड़के को पकड़ने आए हैं। लेकिन, बिहार पुलिस ने कार्रवाई के दौरान बंगाल पुलिस की मदद नहीं ली।

उन्होंने कहा कि यह गलत हुआ है। बंगाल पुलिस की ओर से कहा गया है कि उन्हें बिहार पुलिस की ओर से कोई सूचना नहीं दी गई और फायरिंग की गई है। विधायक ने बिहार पुलिस पर निकाली भड़ास वहीं इस पूरे मामले में स्थानीय विधायक मिनाज आलम ने बिहार पुलिस पर अपनी भड़ास निकाली और घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया। उन्होंने कहा कि बिहार पुलिस ने बिना बंगाल पुलिस को जानकारी दिए यहां रेड की।

 

एक स्थानीय नूर आलम को पकड़कर ले गए। उसका क्या कसूर है, पता नहीं। उन्होंने फायरिंग भी की, जिसमें 2-3 लोग घायल हुए हैं। उनका इलाज चल रहा है। यहां की पुलिस ने 3 खोखा बरामद किया हैं।मिनाज आलम ने आगे कहा कि हमलोग बिहार-बंगाल के बॉर्डर पर रहते हैं। हमें शांतिपूर्वक रहना होगा। लेकिन, बिहार पुलिस का यह काम तानाशाही वाला है। हम इसके खिलाफ डीएम-एसपी से शिकायत करेंगे। आगे सरकार से भी बात करेंगे। इस क्रम में खुद को नूर आलम का भाई बताने वाले अबुजाउद्दीन ने कहा कि मेरा छोटा भाई गाड़ी चलाता है। आज मेरा छोटा भाई दालकोला से भुट्टा (मकई) खाली करके आ रहा था। किसी ने बताया कि आपकी गाड़ी पुलिस ने पकड़ ली है।

 

हमने सोचा कि बिहार नंबर गाड़ी देख बंगाल पुलिस ने पकड़ा होगा।जाकर देखा तो पता चला कि किशनगंज पुलिस की गाड़ी है। मेरे भाई को पकड़कर बैठा लिया है। वो लोग मेरे भाई और गाड़ी को लेकर चले गए। हमने कहा कि मेरे पास गाड़ी का कागज है। आप बंगाल पुलिस को बुलाइए। फिर हमलोगों ने गुस्से में विरोध किया तो वो लोग फायरिंग करने लगे। किशनगंज पुलिस ने जारी किया बयान मामले में किशनगंज पुलिस ने प्रेस रिलीज जारी किया है।

 

पुलिस का कहना है कि आरोपी नूर आलम, जो पश्चिम बंगाल के विलायती बाड़ी का रहने वाला है, उसे किशनगंज थाना के दौला पंचायत के ईदगाह के पास से अरेस्ट किया गया है। 15 मई को मक्का से लदी गाड़ी की लूट के मामले में शामिल था।इसी क्रम में स्थानीय लोगों ने पुलिस पर हमला कर दिया। पथराव किया, गाड़ी को नुकसान पहुंचाया। सिपाही की पिस्टल छीनने की कोशिश की। इसमें 5 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। इसके बाद हमने आत्मरक्षा में फायरिंग की। इसमें किसी तरह के नुकसान की जानकारी नहीं है।घटना को लेकर किशनगंज SDPO-1 के नेतृत्व में एक टीम बनाई गई है, जो पूरे मामले की जांच करेगी। साथ ही बंगाल पुलिस के कॉर्डिनेशन बनाकर सरकारी काम में बाधा पहुंचाने वालों की पहचान कर कार्रवाई की जा रही है।

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