कब विदा होगा मानसून? अगले दो दिन में कहां-कहां होगी बारिश
श्रीनारद मीडिया सेंट्रल डेस्क
देश में जाता हुआ मानसून ने तबाही मचा रखी है। कई राज्यों में आसमान से आफत का सैलाब बरस रहा है। भारी बारिश के चलते उत्तर प्रदेश, बिहार, महाराष्ट्र, गोवा और गुजरात के कई जिलों जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। पहाड़ी क्षेत्रों में लैंडस्लाइड हो रही है तो निचले इलाके डूब गए। भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने शुक्रवार यानी 27 सितंबर से 29 सितंबर तक के लिए उत्तर प्रदेश, बिहार, राजस्थान, ओडिशा और मध्य प्रदेश में भारी बारिश का अलर्ट जारी किया है।
भारतीय मौसम विभाग ने 27 से 29 सितंबर के बीच किन राज्यों के लिए रेड अलर्ट जारी किया है तो किसके लिए ऑरेंज अलर्ट? किस राज्य में बाढ़ ने मचा रखी है तबाही तो कहां मंडरा रहा है बाढ़ का खतरा?
उत्तर प्रदेश: कई जिलों में रेड अलर्ट जारी
उत्तर प्रदेश में बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों की स्थिति पहले से ही गंभीर बनी हुई है। प्रमुख नदियां उफान पर हैं। आईएमडी ने 27 से 29 सितंबर के बीच भारी बारिश का अनुमान लगाया है।
IMD ने लखीमपुर खीरी, बहराइच, श्रावस्ती, सीतापुर, बाराबंकी और गोंडा के लिए रेड अलर्ट जारी किया है तो वहीं हारदोई, बस्ती, लखनऊ और सिद्धार्थनगर में ऑरेंज अलर्ट लागू है। अन्य जिलों में भी बारिश के आसार हैं। इन जिलों में राहत और बचाव कार्य के लिए NDRF और SDRF की टीमों को तैनात किया गया है।
बिहार: कई गांवों से संपर्क टूटा
बिहार में बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों की स्थिति में कोई विशेष सुधार नहीं हुआ है। कई गांवों से संपर्क टूट गया है। यहां लोगों का जनजीवन अस्त-व्यस्त है। कुछ नदियों विशेषकर गंगा और इसकी सहायक नदियों के का जलस्तर अभी भी खतरे के निशान से ऊपर है। 14 जिलों में मूसलाधार बारिश का अलर्ट जारी किया है,जिससे हालत और गंभीर होने का खतरा है।
आईएमडी के मुताबिक, 2 अक्टूबर तक पटना समेत पूरे राज्य में बारिश के आसार हैं। प्रशासन द्वारा बाढ़ से प्रभावित क्षेत्रों में राहत कार्य चलाया जा रहा है। बावजूद इसके हालात चिंताजनक हैं।
राज्य में चार जिलों में सीतामढ़ी, शिवहर, पूर्वी व पश्चिमी चंपारण के लिए गरज-तड़क के साथ भारी बारिश को लेकर ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। वहीं 10 जिलों- गोपालगंज, मधुबनी, मुजफ्फरपुर, दरभंगा, सिवान, सारण, बक्सर, भोजपुर, जमुई और बांका जिले के लिए यलो अलर्ट जारी किया गया है।
महाराष्ट्र: पटरी पर लौट रही मायानगरी
बीते दिन मुंबई में सब कुछ ठप हो गया। यहां चेंबूर, घाटकोपर, नवी मुंबई, नेहरुनगर, कुर्ला, दहिसर ईस्ट, बेलापुर और चुनाभट्टी में भारी जलभराव हो गया था, जिसके चलते लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा। स्कूल और कुछ दफ्तर बंद कर दिए गए थे। आज हालात सामान्य होते नजर आए हैं। हालांकि, IMD के मुताबिक, मुंबई पर अभी भी संकट के बादल मंडरा रहे हैं।
ओडिशा: कोणार्क सूर्य मंदिर में पहुंचा पानी
गुरुवार को पुरी और पारादीप में 24 घंटों में 1.5 इंच बारिश दर्ज की गई, जबकि भुवनेश्वर में 1 इंच बारिश हुई। कोणार्क सूर्य मंदिर का प्रांगण जलमग्न हो गया, जिससे श्रद्धालुओं भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। आईएमडी के वरिष्ठ वैज्ञानिक नरेश कुमार ने कहा कि पश्चिम दिशा में बन रहे दबाव के कारण इन तीन राज्यों में अगले 24 घंटों तक भारी बारिश जारी रहेगी। वहीं, बंगाल की खाड़ी में दबाव के कारण ओडिशा में भी भारी बारिश जारी है।
गुजरात: उत्तरी हिस्सों में बाढ़ का खतरा
गुजरात में पोरबंदर समेत कई जिलों में तेज बारिश का अनुमान है। उत्तरी हिस्सों में भारी बारिश से बाढ़ का खतरा बढ़ गया है। बनासकांठा और आसपास के क्षेत्रों में बाढ़ जैसी स्थिति बनी हुई है, जिसके चलते राज्य में रेड अलर्ट जारी किया गया है। अधिकारियों के अनुसार, नदियों का जलस्तर खतरनाक स्तर तक पहुंच चुका है और राहत कार्य के लिए टीमों को तैनात किया गया है।
हिमाचल और उत्तराखंड में भी बारिश
देश के उत्तरी राज्यों में हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड में भी तेज बारिश की चेतावनी दी गई है। वहीं, पश्चिम बंगाल और झारखंड के कुछ इलाकों में 27 सितंबर को भारी बारिश का अनुमान है। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के मौसम में बदलाव महसूस किया गया। यहां बादल छाए रहेंगे। हल्की बारिश भी हो सकती है।
जम्मू-कश्मीर में ओलावृष्टि
जम्मू-कश्मीर में बारिश के साथ कुलगाम और कुपवाड़ा समेत राज्य के कई हिस्सों में ओलावृष्टि हुई।
सिक्किम: लैंडस्लाइड से उत्तरी हिस्से में आवाजाही बंद
सिक्किम में पिछले तीन दिनों से लगातार भारी बारिश हो रही है, जिससे कई इलाकों में भूस्खलन हुआ है। राज्य के उत्तरी हिस्से से जोड़ने वाला पुल क्षतिग्रस्त हो गया है, जिससे मंगन जिला मुख्यालय राज्य के बाकी हिस्सों से कट गया है।
पिछले साल सांखालंग पुल के क्षतिग्रस्त होने के कारण जोंगु के माध्यम से वैकल्पिक मार्ग भी अवरुद्ध है। जिला प्रशासन ने बताया कि नुकसान का आकलन कर जल्द कनेक्टिविटी बहाल करने के लिए काम किया जा रहा है। बता दें कि आईएमडी ने आगामी दो दिनों के लिए भी रेड अलर्ट जारी किया है।
बिहार की राजधानी पटना समेत प्रदेश में मानसून के सक्रिय होते ही वर्षा में तेजी आई है। बीते दो दिनों से पटना सहित अलग-अलग स्थानों पर रूक-रूक कर वर्षा होने से मौसम सामान्य बना हुआ है। इसके प्रभाव से अधिकतम तापमान भी सामान्य से नीचे आया है। गुरुवार को पटना के अधिकतम तापमान में 4.2 डिग्री गिरावट के साथ 27.8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। 30.4 डिग्री सेल्सियस के साथ वाल्मीकि नगर (पश्चिम चंपारण) में सर्वाधिक तापमान दर्ज किया गया।
14 जिलों में मूसलाधार बारिश का अलर्ट
मौसम विभाग के अनुसार दो अक्टूबर तक पटना सहित प्रदेश में छिटपुट वर्षा की संभावना है। अगले 24 घंटों के दौरान पटना सहित प्रदेश के अलग-अलग जिलों में वर्षा के आसार है। चार जिलों के सीतामढ़ी, शिवहर, पूर्वी व पश्विम चंपारण जिले के एक या दो स्थानों पर गरज-तड़क के साथ बहुत भारी वर्षा को लेकर औरेंज अलर्ट जारी किया गया है। वहीं, 10 जिलों के गोपालगंज, मधुबनी, मुजफ्फरपुर, दरभंगा, सिवान, सारण, बक्सर, भोजपुर, जमुई और बांका जिले में भारी वर्षा को लेकर यलो अलर्ट जारी किया गया है।
बीते 24 घंटे में कैसा रहा हाल
बीते 24 घंटों के दौरान मधेपुरा के उदयी किशनगंज में सर्वाधिक वर्षा 80.2 मिमी दर्ज किया गया जबकि राजधानी में 34.1 मिमी वर्षा दर्ज की गई। गुरुवार को पटना सहित आसपास इलाकों में रूक-रूक कर बूंदाबांदी होने से मौसम सामान्य बना रहा। लेकिन अब अगला 72 घंटा लोगों पर भारी पड़ने वाला है।
बाढ़ प्रभावित इलाकों पर मंडराया खतरा
भारी बारिश के चलते एक बार फिर से नदियों में उफान आ सकता है। लोगों को सुरक्षित जगहों पर पहुंचने की अपील की गई है। बता दें कि बिहार में बाढ़ से कई जिलों में बुरा हाल बना हुआ है। कई लोगों के घर नदी में बह गए हैं। कुछ लोगों को अब खाने के लिए सरकारी मदद के भरोसे रहना पड़ रहा है।