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विश्व स्वास्थ्य संगठन ने 5G टेस्टिंग से कोरोना संक्रमण प्रसार को बताया अफवाह - श्रीनारद मीडिया

विश्व स्वास्थ्य संगठन ने 5G टेस्टिंग से कोरोना संक्रमण प्रसार को बताया अफवाह

विश्व स्वास्थ्य संगठन ने 5G टेस्टिंग से कोरोना संक्रमण प्रसार को बताया अफवाह

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•अफवाहों से बचें, संक्रमण से बचाव के लिए कोविड अनुरूप व्यवहार जरूरी

श्री नारद मीडिया, प्रतीक कु सिंह, मोतिहारी, बिहार

 

कोरोना संक्रमण की रोकथाम को लेकर जहां लोग सजग हैं वहीं कई लोग संक्रमण के प्रसार से जुड़े अफवाहों का सामना भी कर रहे हैं। कोरोना संक्रमण को लेकर सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल हो रहा है जिसमें कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर का कारण 5जी टेस्टिंग को माना जा रहा है। ऐसे पोस्ट वायरल होने से लोगों में भय है। वहीं स्वास्थ्य विशेषज्ञ ऐसे दावे को सिरे से खारिज कर रहे हैं।

क्या है वायरल पोस्ट:
यदि ऐसी कोई बात या पोस्ट आप तक पहुंचता है जिसमें कोरोना संक्रमण के बढ़ने का कारण 5जी टेस्टिंग बताया गया हो तो ऐसे अफवाह को खारिज करें। वायरल पोस्ट में कहा गया है कि दूसरी बार आयी इस कोविड महामारी की वजह 5जी टेस्टिंग है। टावर से निकलने वाला रेडिएशन हवा को जहरीला बना रही है और इसलिए लोगों को सांस लेने में दिक्कत हो रही है। नेटवर्क रेडिएशन के कारण घर में हर जगह हल्का सा करंट महसूस हो रहा है। गला कुछ ज्यादा ही सूख रहा है। प्यास अधिक लग रही है। नाक में पपड़ी जम रहा या खून आ रहा है। साथ ही 4जी रेडिएशन से पंक्षियों की संख्या में कमी आने की बात भी कही जा रही है।

डब्ल्यूएचओ ने दी जानकारी:
कोविड संक्रमण के लिए 5जी टेस्टिंग के दावे को विश्व स्वास्थ्य संगठन ने अफवाह बताया है। डब्ल्यूएचओ का कहना है 5जी मोबाइल नेटवर्क से कोरोना संक्रमण का प्रसार नहीं होता है। कोरोना संक्रमण के लिए जिम्मेदार वायरस रेडियो वेव या मोबाइल नेटवर्क से यात्रा नहीं कर सकता है। यानि यह साफ है कि ऐसे में वायरस का एक स्थान से दूसरे स्थान तक जाना संभव नहीं है। संगठन ने कहा है कोरोना संक्रमण उन देशों में भी फैला है जहां 5जी मोबाइल नेटवर्क नहीं है।

संक्रमण की ये है वजह:
कोविड संक्रमण का प्रसार कोविड संक्रमित व्यक्ति के बोलने, खांसने व छींकने से निकली ड्रॉपलेट्स के संपर्क में आने से होता है। संक्रमित व्यक्ति द्वारा स्पर्श किए गए सतहों को छूने तथा गंदे हाथ के नाक व मुंह के संपर्क में आने से कोरोना संक्रमण फैलता है।

संक्रमण से करें ऐसे बचाव:
कोविड अनुरूप व्यवहार का कड़ाई से पालन कर संक्रमण से बचाव किया जाना चाहिए। इनमें साबुन पानी से नियमित हाथ धोने या अल्कोहल युक्त सैनिटाइजर का इस्तेमाल करने, बाहर जाने पर मास्क का इस्तेमाल तथा शारीरिक दूरी के नियम का पालन महत्वपूर्ण है। इन व्यवहारों के अनुपालन में किसी प्रकार की शिथिलता नहीं बरतनी चाहिए।

इन बारीकियों का रखें ध्यान:
यह भी देखा गया है कि लोग कोविड अनुरूप व्यवहार का पालन तो कर रहे होते हैं लेकिन उसकी बारीकियों को नजर अंदाज कर दिया जाता है। जैसे गंदे मास्क का इस्तेमाल या मास्क का नाक व मुंह पर ढ़ीला बंधा होना व सही से साबुन पानी से हाथ नहीं धोना आदि। ध्यान रहे कि मुंह व नाक पर मास्क सही से हों| साबुन पानी से उंगलियों के बीच की जगहों व हथेली को अच्छी तरह धोंये।

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